Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    हवाला डीलर नरेश जैन ने अर्जित किया 565 करोड़ का काला धन

    By Shashank PandeyEdited By:
    Updated: Wed, 04 Nov 2020 09:00 AM (IST)

    मनी लांड्रिंग की जांच के तहत ईडी ने सितंबर में जैन को किया था गिरफ्तारजांच एजेंसी ने कहा कि उसने जैन और अन्य के खिलाफ 28 अक्टूबर को विशेष अदालत के समक्ष मनी लांड्रिंग रोकथाम कानून (पीएमएलए) की आपराधिक धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया था।

    अब तक अपने वैश्विक नेटवर्क से 565 करोड़ रुपये का काला धन अíजत किया है।

    नई दिल्ली, प्रेट्र, प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने मंगलवार को दावा किया कि हवाला डीलर नरेश जैन और उसके सहयोगियों ने अब तक अपने वैश्विक नेटवर्क से 565 करोड़ रुपये का काला धन अíजत किया है। जांच एजेंसी ने कहा कि उसने जैन और अन्य के खिलाफ 28 अक्टूबर को विशेष अदालत के समक्ष मनी लांड्रिंग रोकथाम कानून (पीएमएलए) की आपराधिक धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया था। ईडी ने एक बयान में कहा, अदालत ने दो नवंबर को आरोपपत्र का संज्ञान लिया और इस मामले में फरार चार आरोपितों के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    पिछले कुछ वर्षो में 550 से ज्यादा मुखौटा कंपनियों के जरिये एक लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का संदिग्ध लेन-देन करने से जुड़ी मनी लांड्रिंग की जांच के तहत ईडी ने सितंबर में जैन को गिरफ्तार किया था। ईडी ने दावा किया, जांच में पाया गया कि जैन ने अवैध विदेशी लेन-देन समेत लाभार्थियों के बारे में प्रविष्टियां देकर अपने सहयोगियों के साथ सरकारी खजाने और बैंकों को नुकसान पहुंचाने के लिए आपराधिक साजिश की।

    ईडी ने कहा कि जैन, उसके सहयोगियों ने हवाला और इस लेन-देन के बदले में धन से अब तक 565 करोड़ रुपये अíजत किए हैं। दिल्ली पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा द्वारा 2018 में दर्ज प्राथमिकी और नार्कोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो की 2009 में आपराधिक शिकायत के आधार पर एजेंसी जैन और उसके सहयोगियों की भूमिका की जांच कर रही है।

    बैंक धोखाधड़ी मामले में छापेमारी

    प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शनिवार को 488 करोड़ रुपये के बैंक धोखाधड़ी मामले में छापेमारी कर छह करोड़ रुपये जब्त किए। यही नहीं, उसने विदेशी मुद्रा भी बरामद की। ईडी ने कहा कि यह छापेमारी कंसल्टेंसी और बिल्डर समूह-ट्रू वैल्यू ग्रुप, विपुल और मनीष एसोसिएट्स के ठिकानों पर की गई। ईडी ने बैंक फर्जीवाड़ा मामले में मनीलांड्रिग एक्ट के तहत अहमदाबाद की आर्डोर गु्रप ऑफ कंपनीज के खिलाफ मामला दर्ज किया था। बाद में इन कंपनियों के माध्यम से आर्डोर गु्रप को पैसे ट्रांसफर किए गए।