'दुश्मन की परख में ये तरीका हमेशा कारगर साबित हुआ', पाकिस्तान की सीमा पर बसे गावों में क्यों पहुंचे हर्ष सांघवी?
गुजरात के उपमुख्यमंत्री हर्ष संघवी ने पाकिस्तान सीमा से सटे कच्छ के गांवों का दौरा किया। उन्होंने सुरक्षा बलों और ग्रामीणों से बातचीत कर सुरक्षा व्यवस्था और सरकारी सेवाओं का जायजा लिया। संघवी ने कहा कि ग्रामीणों की बहादुरी से सीमाएं सुरक्षित हैं। उन्होंने 40 अलग-अलग सरकारी सुविधाओं की जानकारी ली और विकास पर रिपोर्ट तैयार करने की बात कही।

हर्ष सांघवी ने सीमा से सटे गांवों के लोगों से की मुलाकात।
शत्रुघ्न शर्मा, अहमदाबाद। गुजरात के उपमुख्यमंत्री बनने के बाद पहली बार हर्ष संघवी पाक से लगती सीमा पर बसे कच्छ के गांवों में सुरक्षा व सुविधाओं का जायजा लेने कच्छ के गांवों में पहुंचे। सेना के अधिकारी, ग्रामीण, सरपंच, महिलाओं व युवाओं से संवाद कर संघवी गांवों में सुरक्षा व सरकारी सेवाओं की समीक्षा कर रहे हैं।
उपमुख्यमंत्री संघवी गुजरात के वरिष्ठ 30 आईपीएस अधिकारियों को साथ लेकर कच्छ के लखपत में स्थित पुनराजपर गांव पहुंचे यहां उन्होंने सीमा सुरक्षा बल के अधिकारियों व जवानों से मिलकर गांवों की सुरक्षा तथा उनको यहां होने वाली परेशानियों पर चर्चा की। संघवी ने गांव के सरपंच, ग्रामीण, महिलाओं व युवाओं से भी गांवों में आवश्यक सुविधाओं तथा सेवाओं को लेकर संवाद किया।
भारत के प्रवेश द्वार पहुंचे सांघवी
संघवी ने कहा कि ग्रामीणों की बहादुरी तथा देश सेवा की भावना के कारण ही हमारी सीमायें सुरक्षित है। उन्होंने कहा कि दुश्मन की परख करने में ग्रामीणों का पारंपरिक ज्ञान हमेशा कारगर साबित हुआ है और यह पीढ़ी दर पीढ़ी राष्ट्रीय सुरक्षा मजबूत करने में योगदान करता है। पुनराजपर पाक सीमा पर बसा करीबी गांव है तथा इसे भारत का प्रवेश द्वार भी कहा जाता है।
संघवी ने ली इन बातों की जानकारी
संघवी ने गांव के लोगों से सरकार की ओर से दी जा रही 40 अलग अलग सुविधा व सेवाओं को लेकर जानकारी ली। उनके साथ आये भारतीय पुलिस सेवा के 30 वरिष्ठ अधिकारी भी गांव गांव घूमकर लोगों से सुरक्षा, सुविधा व सेवाओं को लेकर रिपोर्ट तैयार करेंगे। संघवी ने उपमुख्यमंत्री बनने के बाद राजधानी गांधीनगर से बाहर पहली बार जाने के लिए सीमावर्ती कच्छ के गांव को चुना है। इसके बहाने सीमा पर होने वाली हलचल के साथ ग्रामीणों व सुरक्षाकर्मियों के सहजीवन का भी अनुभव किया।
संघवी ने ग्रामीण परिवेश से जुड़ने के लिए होटल या सरकारी अतिथि ग्रह के बजाये मिट्टी व घास से निर्मित गोल आकार के भूंगा को चुना। इस दौरान उन्होंने कच्छ लखपत के गुरुद्वारे में पहुंचकर शबद कीर्तन में भाग लिया और पंजाबी समाज के लोगों से मिलकर चर्चा की। साथ ही आशापुरा माताजी के मंदिर जाकर आरती व दर्शन किया।
ग्रामीणों ने किया जोरदार स्वागत
ग्रामीणों ने भारत माता की जय के साथ संघवी का पुरजोश में स्वागत किया। संघवी ने कहा कि गांवों में शिक्षा, स्वास्थ्य, सामाजिक व आर्थिक हालत, आधारभूत विकास सहित जनसुविधा व सुरक्षा से जुडे 40 मुद्दों पर एक रिपोर्ट तैयार की जायेगी।

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