चार अक्टूबर से बैंकों से कुछ ही घंटों में क्लियर हो जाएंगे चेक, RBI करने जा रहा नया सिस्टम लागू
चार अक्टूबर से बैंक में जमा किए जाने के कुछ ही घंटों के भीतर चेक क्लियर हो जाएगा।आरबीआइ की ओर से दी गई जानकारी में बताया गया कि नए सिस्टम को दो चरणों में लागू किया जाएगा। पहला चरण चार अक्टूबर 2025 से तीन जनवरी 2026 के बीच लागू होगाजबकि दूसरा चरण तीन जनवरी के बाद से लागू होगा। बैंक को चेक को स्कैन करके क्लिरिंग हाउस को भेजना होगा।

पीटीआई, मुंबई। चार अक्टूबर से बैंक में जमा किए जाने के कुछ ही घंटों के भीतर चेक क्लियर हो जाएगा। आरबीआइ ने चेक ट्रंकेशन सिस्टम (सीटीएस) को कंटीन्युअस क्लिरिंग एंड सेटलमेंट ऑन रियलाइजेशन में परिवर्तित करने का एलान किया। इससे बैंक में चेक क्लियर होने की अवधि दो दिन से घटकर केवल कुछ ही घंटे रह जाएगी।
नए सिस्टम को दो चरणों में लागू किया जाएगा
आरबीआइ की ओर से दी गई जानकारी में बताया गया कि नए सिस्टम को दो चरणों में लागू किया जाएगा। पहला चरण चार अक्टूबर, 2025 से तीन जनवरी, 2026 के बीच लागू होगा, जबकि दूसरा चरण तीन जनवरी के बाद से लागू होगा।
आरबीआई ने नए सिस्टम पर कही ये बात
आरबीआई ने नए सिस्टम के काम करने के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि इसमें केवल एक प्रेजेंटेशन सेशन होगा, जिसमें चेक को सुबह 10 बजे से लेकर शाम चार बजे तक पेश करना होगा। इसके तहत चेक प्राप्त करने वाली बैंक को चेक को स्कैन करके क्लिरिंग हाउस को भेजना होगा।
इसके बाद क्लिरिंग हाउस उस चेक की इमेज को राशि अदा करने वाले बैंक के पास भेजेगा। इसके बाद उस चेक पर सकारात्मक या नकारात्मक टिप्पणी के लिए सुबह 10 बजे से लेकर शाम सात बजे तक का समय होगा।
इसमें राशि अदा करने वाले बैंक को उस चेक पर सकारात्मक या नकारात्मक टिप्पणी देनी होगी। यहां बड़ी बात यह है कि हर चेक का एक 'आइटम एक्सपायरी टाइम' होगा, जिस समय तक टिप्पणी देनी आवश्यक है।
पहला चार अक्टूबर से तो दूसरा चरण तीन जनवरी के बाद से होगा लागू
आरबीआई ने बताया कि कंटीन्युअस क्लिरिंग एंड सेटलमेंट आन रियलाइजेशन के पहले चरण में सभी बैंक के लिए चेक के क्लियर करने का 'आइटम एक्सपायरी टाइम' शाम सात बजे निर्धारित किया गया है।
निर्धारित समय तक अगर बैंक अपनी टिप्पणी नहीं देते हैं तो चेक को स्वीकृत माना जाएगा और निपटान के लिए शामिल कर लिया जाएगा। दूसरे चरण में यह घटकर तीन घंटे का रह जाएगा। इसका मतलब यह है कि बैंक को चेक पेश होने के तीन घंटे के अंदर उसे क्लियर करना होगा।
उदाहरण देते हुए आरबीआई ने कहा कि आहर्ता बैंकों द्वारा सुबह 10:00 बजे से 11:00 बजे के बीच प्राप्त चेकों की पुष्टि उन्हें दोपहर 2:00 बजे (सुबह 11:00 बजे से 3 घंटे) तक सकारात्मक या नकारात्मक रूप से करनी होगी। जिन चेकों की पुष्टि आहर्ता बैंक द्वारा निर्धारित तीन घंटों में नहीं की जाती है, उन्हें दोपहर 2:00 बजे स्वीकृत माना जाएगा और निपटान के लिए शामिल किया जाएगा।
आरबीआई ने आगे कहा कि निपटान पूरा होने पर, क्लियरिंग हाउस सकारात्मक और नकारात्मक पुष्टियों की जानकारी प्रस्तुतकर्ता बैंक को जारी करेगा। प्रस्तुतकर्ता बैंक इसे संसाधित करेगा और ग्राहकों को तुरंत भुगतान जारी करेगा।
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