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    '2008 के मुंबई हमले के बाद भारत को करनी चाहिए थी एयरस्ट्राइक', पूर्व राजनयिक ने कहा- PAK पर शुरू से होनी चाहिए थी कड़ी कार्रवाई

    By Jagran News Edited By: Abhinav Atrey
    Updated: Tue, 09 Jan 2024 10:51 PM (IST)

    Ajay Bisaria New Book पूर्व राजनयिक अजय बिसारिया ने कहा कि मुंबई पर 2008 में हुए भीषण आतंकी हमले के बाद भारत सरकार को पाकिस्तान पर कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए थी। तब ही केंद्र की यूपीए सरकार को भी 2016 में हुई बालाकोट जैसी ही एयरस्ट्राइक करनी चाहिए थी। अगर सरकार तभी सख्त संदेश देती तो पंजाब व कश्मीर के हालात बेहतर होते।

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    2008 के मुंबई हमले के बाद भारत को करनी चाहिए थी एयरस्ट्राइक- पूर्व राजनयिक (फाइल फोटो)

    पीटीआई, नई दिल्ली। पूर्व राजनयिक अजय बिसारिया ने कहा कि मुंबई पर 2008 में हुए भीषण आतंकी हमले के बाद भारत सरकार को पाकिस्तान पर कड़ी कार्रवाई करनी चाहिए थी। तब ही केंद्र की यूपीए सरकार को भी 2016 में हुई बालाकोट जैसी ही एयरस्ट्राइक करनी चाहिए थी। अगर सरकार तभी सख्त संदेश देती तो पंजाब व कश्मीर के हालात बेहतर होते।

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    बिसारिया ने मंगलवार को एक इंटरव्यू में बताया कि सदी के आठवें और नौवें दशक की शुरुआत में पंजाब में आतंकवाद के जरिये भारत ने बहुत मुसीबतें उठाई हैं। लेकिन आतंकियों को तभी सबक मिल गया होता अगर तभी भारत ने कोई कड़ी कार्रवाई की होती। इसके बाद कश्मीर में भारत ने बहुत नुकसान उठाया है। अगर सरकार ने तब भी पाकिस्तान को सख्त संदेश दे दिया होता तो इनमें से किसी भी राज्य में आतंकवाद ने कोहराम न मचाया होता।

    किसी भी घटना के बहुत सारे पहलु होते हैं

    मुंबई में 2008 में हुए आतंकी हमले के बाद भारत के रवैये पर बिसारिया ने कहा कि किसी भी घटना के बहुत सारे पहलु होते हैं, और यह कहना उचित नहीं की कि उस समय पर क्या किया जाना उचित होता या उन परिस्थितियों में कौन सी सूचना और क्या विकल्प उपलब्ध थे। लेकिन इस पर गहराई से गौर किया जाए तो आज ये समझा जा सकता है कि 2008 में अगर भारत सरकार ने पाकिस्तान के खिलाफ वैसे ही 2016 व 2019 की तरह क्रमश: सर्जिकल स्ट्राइक और एयर स्ट्राइक की होती तो हालात बहुत बेहतर होते।

    भारत में छोटे-बड़े आतंकी हमले होते रहे

    अगर तब यह कार्रवाइयां हुई होतीं तो वर्ष 2000 और उसके बाद आतंकी हमलों पर लगाम लग गई होती। ऐसा नहीं होने की सूरत में इस अवधि में पूरे भारत में छोटे-बड़े आतंकी हमले होते रहे थे। भारत के पूर्व राजदूत बिसारिया ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में भारत के पाकिस्तान के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक और एयर स्ट्राइक करने से देश को आतंकवाद के खिलाफ सटीक जवाब मिल गया है।

    26 सितंबर, 2016 को सेना ने पीओके में हमला किया था

    26 सितंबर, 2016 को भारतीय सेना ने नियंत्रण रेखा पार करके पाकिस्तान के कब्जे वाले गुलाम जम्मू-कश्मीर में आतंकी शिविरों पर हमला करके उन्हें नेस्तनाबूद कर दिया था। उसके बाद पुलवामा हमले के बाद भारतीय सेनाओं ने 14 फरवरी, 2019 को हवाई हमले करके पाकिस्तान को मुंहतोड़ जवाब दिया था।

    अजय बिसारिया ने प्रकरणों का विस्तार से उल्लेख किया

    अजय बिसारिया ने अपनी आने वाली किताब 'एंगर मैनेजमेंट : द ट्रबुल्ड डिप्लोमैटिक रिलेशनशिप बिटवीन इंडिया एंड पाकिस्तान' में इन प्रकरणों का विस्तार से उल्लेख किया है। इसी किताब में बिसारिया ने बताया कि जम्मू-कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाने के बाद से भारत ने बाजी ही पलट दी थी।

    पाकिस्तान चौंक गया था और उसे पहली बार लगा कि भारत की कश्मीर नीति उसकी पाकिस्तान नीति से अलग है। इससे तिलमिलाए पाकिस्तानी पीएम इमरान खान ने सोशल मीडिया साइटों पर भारत के खिलाफ अभियान चलाने का खुला एलान कर दिया था।

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