आक्सीजन की आपूर्ति में अहम भूमिका निभाने वाले DPIIT सचिव गुरुप्रसाद के निधन पर राष्ट्रपति और पीएम ने दी श्रद्धांजलि
उद्योग संवर्धन और आंतरिक व्यापार विभाग (डीपीआइआइटी) के सचिव गुरुप्रसाद महापात्रा का शनिवार को कोविड-19 की वजह से निधन हो गया। 59 वर्षीय महापात्रा को 19 अप्रैल को एम्स में भर्ती कराया गया था। वह भारत सरकार के पहले सचिव हैं जिनकी कोविड से मौत हुई है।

नई दिल्ली, प्रेट्र। उद्योग संवर्धन और आंतरिक व्यापार विभाग (डीपीआइआइटी) के सचिव गुरुप्रसाद महापात्रा का शनिवार को कोविड-19 की वजह से निधन हो गया। 59 वर्षीय महापात्रा को 19 अप्रैल को एम्स में भर्ती कराया गया था। वह भारत सरकार के पहले सचिव हैं, जिनकी कोविड से मौत हुई है। कोरोना की दूसरी लहर के दौरान वह देशभर में तरल आक्सीजन गैस की आपूर्ति की निगरानी कर रहे थे।
कोरोना की दूसरी लहर के दौरान देशभर में आक्सीजन की आपूर्ति सुनिश्चित कराने में निभाई अहम भूमिका
राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आदि ने उनके निधन पर दुख जताते हुए श्रद्धांजलि अर्पित की है।1986 बैच (गुजरात कैडर) के भारतीय प्रशासनिक सेवा (आइएएस) अधिकारी महापात्रा को वर्ष 2019 में डीपीआइआइटी सचिव की जिम्मेदारी सौंपी गई थी। वह मूलरूप से ओडिशा के रहने वाले थे और वाणिज्य विभाग के संयुक्त सचिव व भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण के चेयरमैन भी रह चुके थे।
राष्ट्रपति कोविन्द ने ट्वीट किया, 'डीपीआइआइटी सचिव गुरुप्रसाद के असमय निधन से दुखी हूं। वह उत्कृष्ट अधिकारी थे। उनका काम करने का तरीका और लोकसेवा के प्रति समर्पण अनुकरणीय है।' पीएम मोदी ने ट्विटर पर लिखा, 'डा. गुरुप्रसाद के निधन से स्तब्ध हूं। हमने गुजरात व केंद्र में लंबे समय तक उनके साथ काम किया है। उनकी प्रशासनिक समझ अद्भुत थी। उनके परिवार व मित्रों के प्रति संवेदना व्यक्त करता हूं। ऊं शांति..।'
गृहमंत्री अमित शाह, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, विदेश मंत्री एस. जयशंकर, वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल, पेट्रोलियम मंत्री धर्मेद्र प्रधान, कैबिनेट सचिव राजीव गौबा, रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास, विप्रो चेयरमैन रिशद प्रेमजी, आइएएस एसोसिएशन तथा औद्योगिक इकाई सीआइआइ आदि ने भी महापात्रा के निधन पर शोक जताया है।
डीपीआइआइटी के अतिरिक्त सचिव ने कहा, 'डा. महापात्रा ने अधिकार प्राप्त समूह-2 के चेयरमैन के रूप में देश के विभिन्न प्रांतों और केंद्रशासित प्रदेशों में आक्सीजन की उपलब्धता सुनिश्चित कराने की न सिर्फ योजना बनाई, बल्कि कोविड पीडि़त होने के बाद भी फोन व वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये हम लोगों का मार्गदर्शन करते रहे।'
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