गुरुग्राम के कॉल सेंटर से चल रहा था इंटरनेशनल साइबर क्राइम नेटवर्क, CBI ने FBI और इंटरपोल के साथ मिलकर किया पर्दाफाश
Cyber Crime Network सीबीआई ने एक इंटरनेशनल साइबर क्राइम नेटवर्क का पर्दाफाश किया है जोकि गुरुग्राम की साइबर सिटी के एक कॉल सेंटर से चलाया जा रहा था। फ्रॉड के तार कई देशों से जुड़े हैं और इसके पैसे हांगकांग तक पहुंचाए गए। सीबीआई ने एफबीआई इंटरपोल और कई देशों की एजेंसियों की ओर से संयुक्त रूप से चलाए जा रहे ऑपरेश के तहत इसका पर्दाफाश किया है।

जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय वित्तीय धोखाधड़ी के खिलाफ अभियान ऑपरेशन चक्र-तीन के तहत सीबीआई ने गरूग्राम स्थित एक बड़े नेटवर्क का पर्दाफाश किया। इंटरपोल और अमेरिकी जांच एजेंसी एफबीआई की मदद से डीएलएफ साइबर सिटी फेज दो में चल रहे काल सेंटर पर छापा मार कर 63 आरोपियों को गिरफ्तार किया है।
इसके साथ ही सीबीआई ने दिल्ली, गुरूग्राम और नोएडा में सात स्थानों पर छापा मारकर बड़ी मात्रा में सबूत भी जब्त किया है। सीबीआई के वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार इन्नोसेंट टेक्नोलाजी प्राइवेट लिमिटेड के नाम से चल रहा काल सेंटर 2022 से कई देशों में वित्तीय धोखाधड़ी को अंजाम दे रहा था। निर्दोष लोगों को शिकार बनाने के लिए नेटवर्क के लोग कंप्यूटर पर पॉप अप्स भेजते थे। पॉपअप्स पर क्लिक करते ही कंप्यूटर में एक ऐसा सॉफ्टवेयर चला जाता था, जिससे कंप्यूटर का सिस्टम काम करना बंद कर देता था।
हांगकांग पहुंचाया गया पैसा
कंप्यूटर के सिस्टम को रिस्टोर करने के नाम पर आरोपी मोटी रकम वसूलते थे। विभिन्न देशों में वसूली गई रकम के अंत में हांगकांग पहुंचा दिया जाता था। इंटरपोल और एफबीआई से मिली शुरूआती जानकारी के आधार सीबीआई ने 22 जुलाई को भारतीय दंड संहिता और सूचना तकनीक कानून की विभिन्न धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की।
गुरुग्राम से चलता था नेटवर्क
इस नेटवर्क में शामिल लोग आपसी तालमेल से काम करते थे और डीएलएफ साइबर सिटी स्थित काल सेंटर इनके बीच समन्वय का काम करता था। छापे के दौरान आरोपियों को लोगों के साथ धोखाधड़ी करते हुए लाइव पकड़ा गया। सीबीआई ने आरोपियों के पास से 130 कंप्यूटर डिस्क, 65 मोबाइल फोन और पांच लैपटाप बरामद किया है। इसके साथ ही उनके पास से वित्तीय लेन-देन, काल रिकार्डिंग और धोखाधड़ी के शिकार बने लोगों से जुड़ी जानकारी भी मिली है।
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