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    Bengaluru Stampede: 'लाखों फैन पहुंचेंगे, बंदोबस्त करना होगा मुश्किल', पुलिस की चेतावनी के बावजूद नहीं मानी कर्नाटक सरकार

    Updated: Sun, 08 Jun 2025 01:02 PM (IST)

    Bengaluru Stampede बेंगलुरु में RCB की IPL फाइनल जीत के जश्न के दौरान चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर भगदड़ मचने से 11 लोगों की जान चली गई। एक पुलिस अफसर ने पहले ही इस खतरे की चेतावनी दी थी जिसमें विधान सौधा पर भी खतरा बताया गया था लेकिन कार्यक्रम को मंजूरी दे दी गई। विपक्ष ने हादसे के लिए सरकार को जिम्मेदार ठहराया है और जांच की मांग की है।

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    पुलिस अफसर ने चिट्ठी लिखकर चेतावनी दर्ज की थी।

    डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। बेंगलुरु में रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर (RCB) की IPL फाइनल जीत के बाद हुए जश्न का माहौल उस वक्त मातम में बदल गया, जब M चिन्नास्वामी स्टेडियम के बाहर भीड़ में भगदड़ मच गई और 11 लोगों की जान चली गई।

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    ये हादसा 4 जून को हुआ, लेकिन अब खुलासा हुआ है कि एक सीनियर पुलिस अफसर ने इसके खतरे को पहले ही भांप लिया था और लिखित में अधिकारियों को आगाह भी किया था।

    'विधान सौधा पर भी खतरा था', पुलिस अफसर ने दी थी चेतावनी

    टाइम्स ऑफ इंडिया के खबर के मुताबिक, पुलिस अधिकारी एम.एन. करिबसवाना गौड़ा विधान सौधा की सिक्योरिटी इंचार्ज हैं। उन्होंने 4 जून को ही डिपार्टमेंट ऑफ पर्सनल एंड एडमिनिस्ट्रेटिव रिफॉर्म्स की सचिव जी. सत्यवती को चिट्ठी लिखकर इस पूरे कार्यक्रम की सुरक्षा पर सवाल उठाए थे।

    उन्होंने लिखा था, "लाखों क्रिकेट फैन विधान सौधा पहुंच सकते हैं और सुरक्षा कर्मियों की कमी के चलते बंदोबस्त करना मुश्किल होगा।"

    गौड़ा ने न सिर्फ भीड़ के खतरे की बात कही, बल्कि इस बात का भी जिक्र किया कि विधान सौधा संवेदनशील इलाका है और वहां CCTV कवरेज भी पूरा नहीं है। बावजूद इसके कार्यक्रम को मंजूरी दे दी गई।

    भीड़ को स्टेडियम भेजने की अपील भी हुई बेअसर

    हादसे से कुछ ही घंटे पहले सचिव सत्यवती ने जनता से अपील की थी कि वो विधान सौधा की बजाय स्टेडियम पहुंचे। हालांकि, टीम को पहले विधान सौधा में सम्मानित किया गया और फिर समारोह स्टेडियम में जारी रहा। इस बीच, भीड़ बढ़ती रही और हालात बेकाबू हो गए।

    भगदड़ को लेकर सियासी बवाल जारी

    इस हादसे ने राजनीतिक बवाल भी खड़ा कर दिया है। केंद्रीय मंत्री और जेडीएस नेता एच.डी. कुमारस्वामी ने आरोप लगाया कि कार्यक्रम की योजना पहले से ही बना ली गई थी, भले ही टीम ने जीत दर्ज की हो या नहीं।

    उन्होंने पूछा, “FIR में लिखा है कि 4 जून के कार्यक्रम के लिए 3 जून शाम 6 बजे अनुमति मांगी गई। जब मैच 7:30 बजे शुरू हुआ, तो क्या उन्हें पहले ही जीत का सपना आ गया था?”

    बीजेपी सांसद शोभा करंदलाजे ने भी तीखा हमला बोला और कहा, “विधान सौधा की सीढ़ियां अब तक सिर्फ शपथ ग्रहण या राज्य समारोह के लिए इस्तेमाल होती थीं। आपने इसे एक निजी टीम के जश्न के लिए इस्तेमाल किया, ये सरकार की जगह का दुरुपयोग है।”

    'कांग्रेस नेताओं के हाथ खून से रंगे हैं', विपक्ष का आरोप

    करंदलाजे ने कांग्रेस पर सीधे निशाना साधते हुए कहा, “सिद्धारमैया और डीके शिवकुमार के हाथ खून से रंगे हैं। अब वो इस खून को पुलिस अधिकारियों पर मढ़ना चाहते हैं। कांग्रेस के बड़े नेता केसी वेणुगोपाल और रणदीप सुरजेवाला अब कहां छिपे हैं?”

    हादसे की जिम्मेदारी को लेकर विपक्ष ने मुख्यमंत्री सिद्धारमैया, उपमुख्यमंत्री शिवकुमार और गृहमंत्री परमेश्वर से जवाब मांगा है। 

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