जेटली का 'आप' पर हमला, अपनी नाकामी छुपाने के लिए प्रदर्शन
आम आदमी पार्टी (आप) ने कांग्रेस और भाजपा पर अरविंद केजरीवाल की अगुवाई वाली दिल्ली सरकार को अस्थिर करने का आरोप लगाते हुए मंगलवार से 'पोल खोल अभियान' की शुरुआत की। इसके तहत आप के कार्यकर्ताओं ने भाजपा नेता अरुण जेटली के आवास के बाहर प्रदर्शन किया। वहीं दूसरी ओर भाजपा कार्यकर्ता भी वहां आकर डट गए और केजरीवाल के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। आप के कुछ कार्यकर्ताओं ने बैरिकेड को तोड़ने की कोशिश की जिसे पुलिस ने नाकाम कर दिया और कईकार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया।
नई दिल्ली। आम आदमी पार्टी (आप) ने कांग्रेस और भाजपा पर अरविंद केजरीवाल की अगुवाई वाली दिल्ली सरकार को अस्थिर करने का आरोप लगाते हुए मंगलवार से 'पोल खोल अभियान' की शुरुआत की। इसके तहत आप के कार्यकर्ताओं ने भाजपा नेता अरुण जेटली के आवास के बाहर प्रदर्शन किया। वहीं, दूसरी ओर भाजपा कार्यकर्ता भी वहां आकर डट गए और केजरीवाल के खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी। आप के कुछ कार्यकर्ताओं ने बैरिकेड को तोड़ने की कोशिश की जिसे पुलिस ने नाकाम कर दिया और कईकार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया।
उधर, आप के प्रदर्शन पर अरुण जेटली ने पलटवार करते हुए कहा कि केजरीवाल सरकार की नाकामी छुपाने के लिए प्रदर्शन किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि झूठ और फरेब आम आदमी पार्टी का हथकंडा है जिसे अब जनता समझ चुकी है। जेटली ने कहा कि
मैं और मोदी आप विधायक को नहीं जानते, अगर उनके पास कोई सबूत है तो उसे वे सार्वजनिक करें। उन्होंने कहा कि इससे पहले भी उन्होंने कई लोगों पर आधारहीन आरोप लगाए हैं। जेटली ने कहा कि आप में शासन चलाने की क्षमता नहीं है। उन्हें आरोप लगाने के बजाए जनकल्याण पर ध्यान देना चाहिए।
गौरतलब है कि सोमवार को आप के वरिष्ठ नेता संजय सिंह ने एक प्रेस कांफ्रेंस में भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी और वरिष्ठ नेता अरुण जेटली पर केजरीवाल सरकार को अस्थिर करने की साजिश रचने का आरोप लगाया था। उन्होंने दावा किया था कि गत सात दिसंबर को कस्तूरबा नगर से आप विधायक मदनलाल को मोदी के एक करीबी ने आइएसडी नंबर से फोन कर ऑफर दिया कि अगर वे पार्टी के नौ विधायक तोड़ लें तो एक नया दल बनाकर उन्हें मुख्यमंत्री और उनके साथियों को कैबिनेट मंत्री व अन्य पद दे सकते हैं। इसमें भाजपा उनकी पूरी मदद करेगी। उन्हें यह सब करने के लिए 20 करोड़ भी दिए जाएंगे। उस व्यक्ति ने विधायक को अरुण जेटली से मुलाकात कराने की भी पेशकश की। हालांकि इस संबंध में संजय सिंह और मदनलाल कोई सुबूत नहीं पेश कर पाए।
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संजय सिंह ने कहा कि भाजपा ने मदनलाल के अतिरिक्त कुछ अन्य विधायकों से भी संपर्क कर उन्हें पद और पैसे देने की पेशकश की है। जिस दिन से सरकार बनी है, तब से उसे बदनाम करने और गिराने की कोशिश जारी है। विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष डॉ. हर्षवर्धन भी इसमें शामिल हैं।
इस दौरान विधायक मदनलाल ने बताया कि 'दो दिन पहले फिर मेरे पास एक फोन आया, जिसमें कहा गया कि क्या मैं अब बिकने के लिए तैयार हूं क्योंकि वे लोग अब बागी विधायक विनोद कुमार बिन्नी को मुख्यमंत्री बनाने पर विचार कर रहे हैं।' वहीं बिजली के मुद्दे पर संजय सिंह ने कहा कि दो दिन पहले मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल कहते हैं कि बिजली कंपनियों का लाइसेंस रद होगा, तो तुरंत मोदी का बयान आ जाता है। इससे स्पष्ट है कि यह सारा खेल अदानी व अंबानी को फायदा पहुंचाने के लिए किया जा रहा है।
पोल खुलने से हताश आप : भाजपा
इस बीच भाजपा ने आप के आरोपों का करारा जवाब दिया है। वरिष्ठ नेता डॉ. हर्षवर्धन ने कहा कि लोकप्रियता में भारी गिरावट की खीझ का ठीकरा भाजपा केसिर पर फोड़कर संजय सिंह जनता का ध्यान बटाना चाहते हैं। हकीकत यह है कि आप ने जनता का विश्वास खो दिया है। इस पार्टी में सत्ता की भूख इतनी ज्यादा थी कि जिस कांग्रेस को गाली देकर उसे 28 सीटें मिलीं, उसी के बल पर केजरीवाल मुख्यमंत्री बन बैठे। हर्षवर्धन ने विधायक मदनलाल के पास फोन आने के आरोप को झूठा करार दिया। कहा कि दिल्ली में चुनाव परिणाम आठ दिसंबर 2013 को घोषित हुए थे और सात दिसंबर को तो मदनलाल विधायक भी नहीं बने थे।
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