भोपाल गैस पीड़ितों को भी नहीं छोड़ा, अल फलाह यूनिवर्सिटी के फाउंडर जवाद के भाई हमूद ने लोगों से की थी धोखाधड़ी
दिल्ली धमाका करने वाले आतंकियों से जुड़ी फरीदाबाद के अल फलाह यूनिवर्सिटी के संस्थापक जवाद अहमद सिद्दीकी और उसका भाई हमूद सिद्दीकी का आपराधिक इतिहास भोपाल से भी जुड़ा है। आतंकी हमले के बाद जांच एजेंसियों ने नकेल कसना शुरू किया तो दोनों भाइयों के दशकों पुराने करोड़ों की धोखाधड़ी के मामले फिर प्रकाश में आ गए।

अल फलाह यूनिवर्सिटी के फाउंडर जवाद के भाई हमूद ने भोपाल गैस पीड़ितों से की थी धोखाधड़ी (सांकेतिक तस्वीर)
जेएनएन, भोपाल। दिल्ली धमाका करने वाले आतंकियों से जुड़ी फरीदाबाद के अल फलाह यूनिवर्सिटी के संस्थापक जवाद अहमद सिद्दीकी और उसका भाई हमूद सिद्दीकी का आपराधिक इतिहास भोपाल से भी जुड़ा है।
आतंकी हमले के बाद जांच एजेंसियों ने नकेल कसना शुरू किया तो दोनों भाइयों के दशकों पुराने करोड़ों की धोखाधड़ी के मामले फिर प्रकाश में आ गए। जवाद के विरुद्ध जहां तलैया थाने में वर्ष 2001 में धोखाधड़ी का केस दर्ज किया गया था, वहीं उसके भाई हमूद पर शाहजहांनाबाद थाने में वर्ष 1999 में।
आरोप है कि दोनों भाइयों ने तब भोपाल गैस पीडि़तों से ठगी की थी। हालांकि, जवाद को बाद में कोर्ट से राहत मिली थी, लेकिन शाहजहांनाबाद थाने में हमूद के विरुद्ध अब भी केस दर्ज है।
दिल्ली धमाके के बाद महू पुलिस ने धोखाधड़ी के मामले में हमूद, जोकि वर्तमान में हैदराबाद के गचीबोवली में शेयर बाजार में निवेश की एक फर्म संचालित कर रहा था, उसे गिरफ्तार कर लिया और महू जेल में भेज दिया है। जब उसके रिकॉर्ड में भोपाल का आपराधिक रिकार्ड मिला तो शाहजहांनाबाद थाने को सूचना दी गई। अब पुलिस ने वारंट को महू जेल में भेजकर वारंट तामील करवाया है।
वर्ष 1999 में निवेश के नाम पर लाखों रुपये गंवाने वाले बुधवारा निवासी पीड़ित अख्तर अली ने बताया कि वर्ष 1998 में उनकी भतीजी को गैस कांड में मुआवजा के रूप में 20 हजार रुपये मिले थे।
उन्हें जब जानकारी मिली कि मसूद के व्यापार में निवेश करने पर उन्हें बेहतर लाभ मिलेगा तो वे रॉयल मार्केट स्थित आफिस गए, जहां उन्हें अल फैज नामक युवक मिला था और उसके पास राशि जमा की थी, लेकिन एक महीने बाद ही आफिस बंद हो गया और सभी आरोपित भाग निकले।

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