Teachers Day 2025: शिक्षक दिवस पर 10 लाइन, भाषण, निबंध को रोचक बनाने में मिलेगी मदद
हमारे देश में प्रतिवर्ष 5 सितंबर का दिन बेहद महत्वपूर्ण होता है। इस दिन को टीचर्स डे के रूप में सेलिब्रेट किया जाता है। इस दिन को पहली बार भारत के दूसरे राष्ट्रपति के साथ ही एक महान शिक्षक दार्शनिक डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के जन्मदिन पर मनाया गया था। तबसे लेकर लगातार यह परंपरा जारी है।

एजुकेशन डेस्क, नई दिल्ली। देशभर में प्रतिवर्ष 5 सितंबर के दिन को टीचर्स डे यानी कि शिक्षक दिवस के रूप में मनाया जाता है। इस दिन को पूरे देश में ही खासकर स्कूल और कॉलेजों में बड़े ही धूम-धाम के साथ सेलिब्रेट किया जाता है। इस दिन स्टूडेंट्स अपने शिक्षकों को विभिन्न प्रकार के तोहफे इत्यादि देकर उनका आदर सत्कार करते हैं। इस इन पर कई स्कूलों और कॉलेजों में निबंध, भाषण एवं कविताओं की प्रतियोगिताएं का आयोजन किया जाता है।
निबंध, भाषण के लिए महत्वपूर्ण 10 लाइंस
अगर आप भी इस दिन पर स्कूल या कॉलेज में निबंध या भाषण प्रतियोगिता में भाग लेने जा रहे हैं तो यह पेज आपके लिए उपयोगी है। हम यहां पर शिक्षक दिवस से जुड़ी 10 महत्वपूर्ण लाइंस (तथ्य) दे रहे हैं जिनका उपयोग आप निबंध या भाषण के लिए करके उसको इफेक्टिव बना सकते हैं।
10 lines on Teachers Day: टीचर्स डे पर 10 लाइंस
- अंतरराष्ट्रीय स्तर पर शिक्षक दिवस हर साल 5 सितंबर को मनाया जाता है जबकि भारत में टीचर्स डे को 5 सितंबर को प्रतिवर्ष सेलिब्रेट किया जाता है।
- भारत के दूसरे राष्ट्रपति के साथ ही एक महान शिक्षक, दार्शनिक डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन का जन्म 5 सितंबर को हुआ था। उन्हीं की जयंती के उपलक्ष्य में इस दिन को भारत में शिक्षक दिवस के रूप में मनाया जाने लगा।
- पहली बार शिक्षा दिवस वर्ष 1962 में डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के जन्मदिन के रूप में मनाया गया। तबसे लेकर यह परंपरा लगातार जारी है।
- डॉ. राधाकृष्णन के अनुयायियों ने एक बार उनके जन्मदिन को मनाने की गुजारिश की। लेकिन उन्होंने इसे शिक्षक दिवस के रूप में मनाये जाने का आग्रह किया। उन्होंने अपना जन्मदिन व्यक्तिगत रूप से मनाने के बजाय शिक्षकों के सम्मान के लिए समर्पित किया।
- शिक्षक दिवस का उद्देश्य शिक्षकों के ज्ञान, नेतृत्व और समाज सेवा का सम्मान करना है।
- इस दिन स्कूल-कॉलेजों में सांस्कृतिक कार्यक्रम, भाषण, एवं सम्मान समारोह आयोजित किए जाते हैं।
- भारत में गुरु को बहुत ऊंचा दर्जा दिया गया है। भगवान से भी ऊपर शिक्षक को माना जाता है। इस पर एक दोहा- "गुरु गोविंद दोउ खड़े, काके लागूं पांय। बलिहारी गुरु आप की, गोविंद दियौ बताय" काफी प्रचलित है।
- शिक्षक दिवस से बच्चों को अपनी शिक्षकों के प्रति आभार जताने और सम्मान करने की प्रेरणा मिलती है।
- शिक्षक हमारे जीवन के निर्माण में अत्यंत महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। माता-पिता हमें जीवन देते हैं, परंतु जीवन को सही दिशा देने का कार्य शिक्षक करते हैं। वे न केवल हमें पुस्तकों का ज्ञान प्रदान करते हैं बल्कि अच्छे संस्कार, अनुशासन और चरित्र निर्माण की शिक्षा भी देते हैं।
- यह दिन हमें याद दिलाता है कि हम अपने शिक्षकों का सदैव सम्मान करें और उनके मार्गदर्शन को जीवनभर याद रखें। सच्चे अर्थों में हमारा प्रयास होना चाहिए कि हम उनकी अपेक्षाओं पर खरे उतरें और समाज में सकारात्मक योगदान दें।
(Image-freepik)
मां के बाद पहली पाठशाला होते हैं शिक्षक
शिक्षक मां के बाद हमारी पहली पाठशाला माने जाते हैं और हमारे अंधेरे जीवन को उजाले की ओर ले जाने का काम करते हैं। वे हमें ज्ञान देने के साथ ही जीवन को जीने की कला सिखाते हैं, भविष्य में आने वाली चुनौतियों से लड़ने की कला सिखाते हैं और बेहतर भविष्य के निर्माण की प्रेरणा देते हैं।
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