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    Career in Optometry: आप्टोमेट्री में है शानदार करियर, जानें योग्यता और सैलरी सहित फुल डिटेल

    Career in Optometry आप्टोमेट्री का कोर्स करने के लिए 50 प्रतिशत अंकों के साथ बारहवीं भौतिक विज्ञान रसायन विज्ञान गणित या जीव विज्ञान तथा अंग्रेजी विषय से होना चाहिए। साथ ही आप्टोमेट्री कोर्स में प्रवेश पाने के लिए एक केंद्रीकृत संयुक्त प्रवेश परीक्षा आइसेट आयोजित होती है

    By Nandini DubeyEdited By: Nandini DubeyUpdated: Wed, 01 Feb 2023 04:56 PM (IST)
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    आप्टोमेट्री आंखों की देखरेख और इलाज से संबंधित एक ऐसा करियर है, जिसमें करियर की अपार संभावनाएं हैं।

    Career in Optometry: आप्टोमेट्री आंखों की देखरेख और इलाज से संबंधित एक ऐसा करियर है, जिसमें करियर की अपार संभावनाएं हैं। यदि आप दूसरों की आंखों की रोशनी बचाने के साथ अपने करियर को भी संवारना चाहते हैं, तो समुचित कोर्स करके इस दिशा में कदम आगे बढ़ा सकते हैं…

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    मेडिकल साइंस की दूसरी विधाओं की तरह आप्टोमेट्री भी एक प्रकार का विज्ञान है, जो मनुष्य की आंखों की कार्यप्रणाली के साथ-साथ आंखों का सही परीक्षण, रोगों की सही पहचान और सही इलाज से संबंधित है। इस विषय के तहत आप्टिकल सिस्टम, आप्टिकल लेंस के इस्तेमाल, रिफ्रेक्टिव एरर इत्यादि क्षेत्रों का अध्‍ययन किया जाता है। आप्टोमेट्री की प्रैक्टिस करने वाले डाक्‍टर आप्टोमेट्रिस्ट कहलाते हैं, जो आंखों की देखभाल और दृष्टि संबंधी प्राथमिक स्वास्थ्य सेवा प्रदाता हैं। यही चश्मे या कांटक्ट लेंस पहनने के बारे में सुझाव भी देते हैं। इसके अलावा, आम बीमारियों और समस्याओं के लिए दवा भी सुझाते हैं। यही प्रोफेशनल मोतियाबिंद आदि के मरीजों को आपरेशन के पूर्व और उसके पश्‍चात आवश्‍यक सहायता प्रदान करते हैं।

    कोर्स एवं योग्यता: आप्टोमेट्री का कोर्स करने के लिए 50 प्रतिशत अंकों के साथ बारहवीं भौतिक विज्ञान, रसायन विज्ञान, गणित या जीव विज्ञान तथा अंग्रेजी विषय से होना चाहिए। साथ ही आप्टोमेट्री कोर्स में प्रवेश पाने के लिए एक केंद्रीकृत संयुक्त प्रवेश परीक्षा आइसेट आयोजित होती है, जो पूरे देश में मान्य है। यह चार वर्षीय पाठ्यक्रम है, जिसके पहले तीन वर्षों में सैद्धांतिक शिक्षा दी जाती है और अंतिम वर्ष में इंटर्नशिप कराई जाती है, जो कि क्लिनिकल और ट्रेड एक्सपीरियंस के तहत होती है। आप चाहें तो आप्टोमेट्री में डिप्लोमा भी कर सकते हैं, जो दो वर्ष का होता है। इसके लिए भी पीसीएम से 12वीं पास होना चाहिए। कोर्स के दौरान आप्टिकल उपकरणों की जानकारी, फिजिकल आप्टिक्स, फिजियोलाजी, जनरल एनाटामी, आंखों की असमानता, दृष्टि दोष मापने, सुधारने की विधि आदि सिखाई जाती है।

    करियर के मौके : हेल्थकेयर सेक्टर के इस क्षेत्र में करियर की काफी अच्छी संभावनाएं हैं। सबसे अच्‍छी बात यह है कि आप्टोमेट्रिक की प्रैक्टिस करने वालों के लिए देश और विदेश दोनों जगहों पर नौकरी के अवसर हैं। बतौर आप्टोमेट्रिस्ट आप अस्पतालों और क्‍लिनिक्‍स में अपनी सेवाएं दे सकते हैं, जहां नेत्ररोग चिकित्सकों की सहायता करनी होती है। चाहें तो स्वयं की आप्टिकल्स शाप भी खोल सकते हैं। इसके अलावा, प्रोडक्ट एग्‍जीक्‍यूटिव के रूप में चश्‍मा या लेंस निर्माता कंपनियों के साथ जुड़ सकते हैं। किसी एनजीओं में अपनी सेवाएं दे सकते हैं।

    आवश्यक कौशल : पढ़ाई के अलावा अगर आपमें व्‍यावहारिक गुण और कुछ जरूरी मूल्यवान कौशल भी होंगे, तो इस दिशा में तेजी से करियर की सीढि़यां चढ़ सकते हैं। अगर आवश्‍यक गुणों की बात करें, तो इसमें ग्राहकों की बातों को धैयपूर्वक सुनने, सेवाभावी दृष्टिकोण, अनुशासन, मिलनसार, टीम भावना, समस्‍या समाधान में कुशलता जैसी खूबियां होनी चाहिए।

    मासिक वेतन : एक पेशेवर आप्टोमेट्रिस्ट को शुरुआत में 15 से 20 हजार रुपये तक मासिक वेतन आसानी से मिल जाता है। अनुभव और स्किल के बल पर इस क्षेत्र में आय भी लगातार बढ़ती रहती है।

    वाई के गुप्‍ता

    प्रो चांसलर, शारदा यूनिवर्सिटी