Shiv Sena Dussehra Rally: मुंबई के शिवाजी पार्क में दशहरा रैली से शिवसेना का रहा है विशेष नाता
Shiv Sena Dussehra Rally मुंबई के शिवाजी पार्क में दशहरा पर होने वाली रैली से शिवसेना का विशेष नाता रहा है। शिवसेना संस्थापक बाला साहब ठाकरे ने 1966 में इस रैली की शुरुआत की थी। तब से शिवसैनिकों को हमेशा दशहरा रैली का इंतजार रहता है।
मुंबई, जेएनएन। Shiv Sena Dussehra Rally: महाराष्ट्र की राजधानाी मुंबई (Mumbai) के शिवाजी पार्क (Shivaji Park) में दशहरा (Dussehra) पर होने वाली रैली से शिवसेना (Shiv Sena) का विशेष नाता रहा है। शिवसेना संस्थापक बाला साहब ठाकरे (Bala Saheb Thakreay) ने 1966 में इस रैली की शुरुआत की थी। तब से शिवसैनिकों को हमेशा दशहरा रैली का इंतजार रहता है। चूंकि अब शिवसेना को पहली बार एक बड़ी टूट का सामना करना पड़ा है, इसलिए लोगों को इंतजार है कि उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) इस रैली में क्या बोलेंगे और बगावत करने वाले मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) क्या जवाब देंगे। दोनों की रैलियों का समय एक ही है। मुंबई पुलिस भी इन दोनों रैलियों को लेकर सतर्क है। कई मार्गों पर आवाजाही बुधवार को सुबह से ही बंद रहेगी।
उद्धव और शिंदे गुट की रैली के जरिए शक्ति प्रदर्शन की तैयारी
उद्धव ठाकरे गुट मुंबई के दादर स्थित शिवाजी पार्क में अपनी रैली कर रहा है, जबकि मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे गुट वहां से करीब साढ़े छह किलोमीटर दूर बीकेसी मैदान में। दोनों गुट रैलियों के जरिये शक्ति प्रदर्शन करेंगे। दोनों गुटों ने राज्य के कोने-कोने से कार्यकर्ताओं को मुंबई पहुंचने का आह्वान किया है। इसके लिए कार्यकर्ताओं को मुंबई लाने के लिए बसों की व्यवस्था की गई है।
रैली को लेकर पवार ने दोनों गुटों से संयम बरतने को कहा
महाराष्ट्र के सबसे वरिष्ठ नेता शरद पवार ने दशहरा रैली को लेकर शिवसेना के दोनों गुटों से संयम बरतने की अपील की है। उन्होंने कहा कि ऐसा करने में ही राज्य का भला है। दशहरा रैली को लेकर शिवसेना का उद्धव ठाकरे और मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे गुट काफी आक्रामक है। हालांकि, उद्धव गुट की रैली दादर स्थित शिवाजी पार्क में और शिंदे गुट की रैली वहां से करीब साढ़ छह किमी दूर बीकेसी मैदान में होनी है। इसके बावजूद दोनों गुट अपनी रैलियों में बड़ी संख्या में राज्यभर से अपने समर्थकों को जुटा रहे हैं। राज्य में सत्ता परिवर्तन के बाद दोनों गुटों के लिए मुंबई में शक्ति प्रदर्शन का यह पहला अवसर होगा। चूंकि राज्यभर से आ रहे दोनों गुटों के समर्थकों का मार्ग एक ही होगा, इसलिए उनमें टकराव की आशंका भी जताई जा रही है। इसी आशंका को ध्यान में रखते हुए शरद पवार ने दोनों गुटों को संयम बरतने की सलाह दी है। पवार ने कहा कि राजनीति में यह कोई नई बात नहीं है, लेकिन इन दोनों गुटों को अपनी सीमा में रहना चाहिए। अभी असली शिवसेना का निर्णय हालांकि चुनाव आयोग के सामने लंबित है, लेकिन उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना ही असली शिवसेना है।
आयोजन स्थल से कहीं अधिक महत्वपूर्ण सिद्धांत हैं: एकनाथ शिंदे
महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ ¨शदे ने उद्धव ठाकरे पर निशाना साधते हुए कहा कि आयोजन स्थल से कहीं अधिक महत्वपूर्ण सिद्धांत हैं। उनका यह बयान दशहरा रैली किये जाने से पहले आया है। उन्होंने कहा कि मैंने आयोजन स्थल का दौरा किया है। लाखों लोग रैली में आएंगे। यह सुनिश्चित किया जा रहा है कि इस दौरान लोगों को कोई असुविधा न हो। हमारी तैयारियां मंगलवार को पूरी हो जाएंगी। यह रैली सफल रहेगी। मेरा खेमा पार्टी के संस्थापक बाल ठाकरे द्वारा सुझाए गए विचारों को आगे ले जा रहा है।
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