'महाराष्ट्र सरकार को ठाकरे परिवार के दबाव में नहीं आना चाहिए', भाषा विवाद पर बोले आठवले
केंद्रीय मंत्री रामदास आठवले ने गुरुवार को कहा कि महाराष्ट्र में भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार को राज्य में चल रहे भाषा विवाद को लेकर उद्धव और राज ठाकरे के दबाव में नहीं आना चाहिए। आठवले ने भाषा के मुद्दे का राजनीतिकरण करने के लिए दोनों चचेरे भाइयों को दोषी ठहराया। उन्होंने हिंदी के प्रति उनके विरोध को असंवैधानिक करार दिया।
महाराष्ट्र सरकार को ठाकरे परिवार के दबाव में नहीं आना चाहिए- भाषा विवाद पर बोले आठवले (सांकेतिक तस्वीर)
पीटीआई, मुंबई। केंद्रीय मंत्री रामदास आठवले ने गुरुवार को कहा कि महाराष्ट्र में भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार को राज्य में चल रहे भाषा विवाद को लेकर उद्धव और राज ठाकरे के दबाव में नहीं आना चाहिए।
ठाकरे भाईयों पर साधा निशाना
वह उद्धव ठाकरे की शिवसेना (यूबीटी) और राज ठाकरे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (एमएनएस) द्वारा स्कूलों में राज्य सरकार की तीन-भाषा नीति के खिलाफ पांच और सात जुलाई को अलग-अलग विरोध प्रदर्शन की घोषणा के बाद मीडिया से बात कर रहे थे।
आठवले ने भाषा के मुद्दे का राजनीतिकरण करने के लिए दोनों चचेरे भाइयों को दोषी ठहराया। उन्होंने हिंदी के प्रति उनके विरोध को असंवैधानिक करार दिया। उन्होंने महाराष्ट्र सरकार से राजनीतिक दबाव के आगे न झुकने का आग्रह किया।
हिंदी हमारी राष्ट्रीय भाषा है- आठवले
आगे कहा कि अन्य लोगों की तरह ठाकरे परिवार को भी विरोध करने का अधिकार है। लेकिन हिंदी हमारी राष्ट्रीय भाषा है। हिंदी का विरोध करना संविधान का विरोध करने जैसा है।
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