Chaitra Navratri 2022: नवरात्रि के पहले दिन मुंबा देवी मंदिर में हुई मां की खास आरती, देखें तस्वीरें
Chaitra Navratri 2022 चैत्र नवरात्रि के पहले दिन मुंबई स्थित मुंबा देवी मंदिर में सुबह से ही भक्तों की भीड़ लगी थी। मां की खास आरती को देखने के लिए लोगों में खास उत्साह दिख रहा था। बीते दो साल के बाद आज नवरात्रि पर रौनक नजर आ रही है।
मुंबई, एएनआइ। चैत्र नवरात्रि शुरू हो गए हैं। आज से नौ दिन तक मंदिरों और घर-घर में मां दुर्गा के नौ अलग-अलग शक्ति स्वरूपों की पूजा की जाएगी। मुंबई के प्रसिद्ध मुंबा देवी मंदिर में भी नवरात्रि के पहले दिन माता की विशेष आरती की गई। बता दें कि इस बार नवरात्रि को लेकर लोगों में काफी उत्साह नजर आ रहा है दरअसल कोरोना महामारी के चलते बीते दो साल मंदिरों में भक्तों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा हुआ था। लेकिन आज सुबह से ही मंदिरों के बाहर माता के दर्शन करने वालों की कतारें लगी हुई हैं।
मन्नत पूरी करती हैं मुंबा देवी
दक्षिण मुंबई के भुलेश्वर इलाके को मुंबई का काशी कहा जाता है। ऐसी मान्यता है कि श्रद्धा से अगर मां से कुछ मांगा जाये तो मां जरूर पूरा करती हैं। मुंबा देवी के दर्शन के लिए देश के हर कोने से लोग यहां आते हैं। रोजगा की तलाश में मुंबई आये लोग भी मुंबा देवी के दर्शन कर उनका आशीर्वाद जरूर लेते हैं। लोगों की मान्यता है कि मां सबको रोजगार देती हैं जो भी मुंबई आता है वो कभी खाली हाथ नहीं लौटता।
अद्भुत हैं मुंबा देवी के दर्शन
जो यहां आता है वह नारंगी मुख वाले चांदी के मुकुट से सुशोभित सिंह पर विराजमान मुंबादेवी की प्रतिमा को निहारता रहता है। मंदिर के गर्भगृह के मुख्य द्वार पर गणेश जी की मूर्ति है। इसके अलावा मंदिर के अंदर जिस स्थान पर देवी विराजमान हैं वह स्थान चांदी का बना है। भक्तों के लिए मंदिर के कपाट खुलने से पहले देवता को सजाया जाता है। मुकुट के अलावा, देवी की मूर्ति ने नाक में लौंग और सोने का हार पहना हुआ है। मंदिर के बाईं ओर जगदम्बा और अन्नपूर्णा देवी की मूर्तियां स्थापित की गई हैं।
धन और ऐश्वर्य की देवी
मुंबा देवी को धन और ऐश्वर्य की देवी लक्ष्मी का रूप माना जाता है। ऐसी मान्यता है कि उनकी कृपा से ही मुंबई देश की आर्थिक राजधानी बन गई है। मां मुंबा देवी को मुंबई की ग्राम देवी के रूप में पूजा जाता है। यहां हर शुभ कार्य से पहले मां की पूजा कर आशीर्वाद लिया जाता है।
मंदिर के रसोई में बनता है भोग
मंदिर के प्रशासनिक अधिकारी हेमंत जाधव का कहना है कि मंदिर में 6 बार आरती की जाती है। मंदिर के ऊपरी तल पर रसोई में देवी को भोजन अर्पित करने के लिए एक पकवान तैयार किया जाता है। भोग में नियमित रूप से पूरी भाजी, दो सब्जियां, दाल, चावल और एक मिठाई होती है। मंदिर में 16 पुजारी कार्यरत हैं, लेकिन मंदिर में रहने की मनाही है। मंदिर बंद करने के बाद पुजारी अपने घर चले जाते हैं, सुबह चार बजे आ जाते हैं। मंदिर के ऊपर की पताका हर माह बदली जाती है।
देवी के नाम पर रखा गया शहर का नाम
देश की आर्थिक राजधानी मुंबई का नाम मुंबा देवी के नाम पर रखा गया है। मुंबा देवी की कृपा है कि भुलेश्वर में उनके निवास ने उस क्षेत्र को देश का सबसे समृद्ध क्षेत्र बना दिया है। स्थानीय लोगों के अनुसार व्यावसायिक प्रतिष्ठान और क्षेत्र के निवासी भवनों की सुरक्षा करते हैं। इसलिए इतना समृद्ध और भीड़भाड़ वाला इलाका होने के बावजूद इस इलाके में कोई लूटपाट और बड़ी दुर्घटनाएं नहीं होती हैं।