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Maharashtra: शिंदे और उद्धव गुट के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प, विधायक पर फायरिंग का आरोप; पांच गिरफ्तार

Maharashtra दादर इलाके में इंटरनेट मीडिया पोस्ट को लेकर एकनाथ शिंदे गुट और उद्धव ठाकरे गुट के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प हो गई। पुलिस ने इस मामले में उद्धव ठाकरे गुट के पांच कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर लिया है।

By Sachin Kumar MishraEdited By: Published: Sun, 11 Sep 2022 03:18 PM (IST)Updated: Sun, 11 Sep 2022 03:40 PM (IST)
Maharashtra: शिंदे और उद्धव गुट के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प, विधायक पर फायरिंग का आरोप; पांच गिरफ्तार
शिंदे और उद्धव गुट के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प, विधायक पर फायरिंग का आऱोप; पांच गिरफ्तार। फाइल फोटो

मुंबई, एजेंसी। Maharashtra News: महाराष्ट्र के दादर इलाके में इंटरनेट मीडिया पोस्ट को लेकर सीएम एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) गुट और पूर्व सीएम उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) गुट के कार्यकर्ताओं के बीच झड़प हो गई। दोनों गुटों की शिकायतों के बाद मुंबई पुलिस ने स्थानीय विधायक सदा सरवनकर सहित दोनों गुटों के 10 से 20 सदस्यों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की। दादर पुलिस ने शिवसेना के पांच कार्यकर्ताओं को भी गिरफ्तार किया, जिन्हें बाद में जमानत पर रिहा कर दिया गया।

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संतोष तलावने पर महेश सावंत ने किया हमला

पुलिस ने बताया कि यह घटना न्यू प्रभादेवी इलाके में तड़के करीब साढ़े बारह बजे हुई। शिवसेना के पदाधिकारी संतोष तलावने पर महेश सावंत और 30 अन्य लोगों ने कथित तौर पर हमला किया। तलवणे शिंदे गुट का हैं, जबकि महेश सावंत ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना से है। शिवसेना सांसद अरविंद सावंत, जो पूर्व मुख्यमंत्री ठाकरे का समर्थन करते हैं, ने शिंदे गुट के विधायक सदा सरवनकर के खिलाफ शस्त्र अधिनियम के तहत कथित तौर पर झड़प स्थल पर सार्वजनिक रूप से गोलीबारी करने के लिए कार्रवाई की मांग की।

दोनों गुटों के कार्यकर्ता आपस में भिड़े

उद्धव ठाकरे गुट के कार्यकर्ताओं की गिरफ्तारी के बाद दादर पुलिस थाने में अधिकारियों से मुलाकात के बाद सांसद अरविंद सावंत ने कहा कि अगर गिरफ्तार लोगों को रिहा नहीं किया गया और कार्रवाई सरवनकर के खिलाफ नहीं हुई तो उनकी पार्टी सड़कों पर उतरेगी और लोगों को पता चलेगा कि असली शिवसेना कौन है।गणेश विसर्जन के बाद कहासुनी हुई और आधी रात के करीब शिवसेना के दोनों गुटों के कार्यकर्ता आपस में भिड़ गए। सरवनकर ने प्रतिद्वंद्वी समूह को मौखिक रूप से गाली दी और सार्वजनिक रूप से दो बार गोली चलाई। शिवसेना प्रवक्ता ने यह भी दावा किया कि पुलिस इसकी गवाह है। जब हमारे कार्यकर्ता दादर पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराने गए तो उसे स्वीकार नहीं किया गया।

विधायक ने गोली चलाने से किया इनकार

दादर थाने में अरविंद सावंत के साथ मौजूद राज्य विधान परिषद में विपक्ष के नेता अंबादास दानवे ने संवाददाताओं से कहा कि पुलिस की एकतरफा कार्रवाई बर्दाश्त नहीं की जा सकती। अगर दोनों पक्षों की गलती है, तो दोनों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। हम शिकायत दर्ज करते हैं, इसे नजरअंदाज कर दिया जाता है। लेकिन जब दूसरा पक्ष शिकायत करता है, तो हमारे लोगों को रात में गिरफ्तार कर लिया जाता है। हालांकि, विधायक सरवनकर ने गोली चलाने से इनकार किया और दावा किया कि उनके प्रतिद्वंद्वी उन्हें बदनाम करने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने यह भी कहा कि अगर पुलिस उन्हें पूछताछ के लिए बुलाती है, तो वह उनका सहयोग करेंगे। शिंदे समूह की प्रवक्ता किरण पावस्कर ने भी सरवनकर के खिलाफ लगे आरोपों को खारिज किया।

पावस्कर ने कहा कि सरवनकर के पास वाई श्रेणी की सुरक्षा है और यह असंभव है कि वह सार्वजनिक रूप से गोली चलाएंगे। इस तरह के आरोप "बचकाना" है।

दो मामले हुए दर्ज

एक अधिकारी ने बताया कि इस बीच, प्रतिद्वंद्वी समूहों की शिकायतों के आधार पर दादर पुलिस ने दो प्राथमिकी दर्ज कीं, जिनमें से एक सरवनकर के खिलाफ है। दादर में तड़के दो गुटों में हाथापाई हो गई। शुरुआत में एक प्राथमिकी दर्ज की गई थी। पुलिस उपायुक्त प्रणय अशोक ने कहा कि अब दंगा और शस्त्र अधिनियम की धाराओं के तहत एक और प्राथमिकी दर्ज की गई है। पुलिस हाथापाई में शामिल लोगों का पता लगा रही है और उनके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है। संतोष तलवणे की शिकायत के आधार पर दादर पुलिस ने महेश सावंत सहित शिवसेना के पांच कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया और बाद में उन्हें जमानत पर रिहा कर दिया गया। उनके खिलाफ 323 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाना), 324 (स्वेच्छा से खतरनाक हथियारों या साधनों से चोट पहुंचाना), 504 (शांति भंग करने के इरादे से जानबूझकर अपमान) और 506 (आपराधिक धमकी) सहित विभिन्न भारतीय दंड संहिता की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया। दादर पुलिस ने सरवनकर और अन्य के खिलाफ शस्त्र अधिनियम सहित विभिन्न धाराओं के तहत एक और प्राथमिकी दर्ज की है। मारपीट के दौरान एक राउंड फायरिंग भी हुई। उन्होंने बताया कि पुलिस इस बात की जांच कर रही है कि आग किसने लगाई। मुंबई पुलिस के मुताबिक, आइपीसी की धारा 395 सहित विभिन्न धाराओं के तहत गिरफ्तार किए गए शिवसेना के पांच कार्यकर्ताओं को प्राथमिकी से धारा 395 हटाकर राहत दी गई है। अन्य सभी धाराएं जमानती हैं। 

विधायक सदा सरवनकर व उनके बेटे पर मामला दर्ज

मुंबई (Mumbai) में विधायक सदा सरवनकर व उनके बेटे सहित छह अन्य पर पुलिस ने दंगा और हथियार अधिनियम की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया। पुलिस के मुताबिक, विधायक पर थाने के बाहर फायरिंग का आरोप है। पुलिस इस मामले के हर पहलू की जांच कर रही है। दोनों ही गुटों के नेताओं और कार्यकर्ताओं से पूछताछ भी की जा रही है।

एकनाथ शिंदे और उद्धव ठाकरे के समर्थकों में झड़प

गणपति विसर्जन के दौरान गत दिनों अहमदनगर के तोपखाना क्षेत्र में मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे व पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के समर्थकों के बीच झड़प हुई है। जबकि, जलगांव, पुणे और चंद्रपुर में भी दो अलग-अलग समूहों के बीच झड़प हुई है। 

गौरतलब है कि महाराष्ट्र में एकनाथ शिंदे और उद्धव गुट के बीच पहले भी कई जगहों पर झड़प हो चुकी हैं। पिछले कई माह से दोनों ही गुट एक-दूसरे पर हमलावर हैं। दोनों ही गुटों के नेता एक-दूसरे को अक्सर कोसते नजर आते हैं।  


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