नक्सली मुठभेड़ में शहीद इंस्पेक्टर पंचतत्व में विलीन, सीएम ने दिया कंधा, छोटे भाई को मिलेगी SI की नौकरी
बालाघाट नक्सली मुठभेड़ में शहीद इंस्पेक्टर आशीष शर्मा का उनके गृहग्राम बोहानी में राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। मुख्यमंत्री मोहन यादव और मंत्री प्रहलाद पटेल ने उन्हें कंधा दिया। मुख्यमंत्री ने शहीद के भाई को सब-इंस्पेक्टर बनाने और परिवार को एक करोड़ रुपये की सम्मान निधि देने की घोषणा की। गांव में शहीद के नाम पर पार्क और स्टेडियम भी बनेगा। उनकी अंतिम यात्रा में हजारों लोग शामिल हुए, जिन्होंने भारत माता की जय के नारे लगाए।

शहीद इंस्पेक्टर का गृहग्राम में अंतिम संस्कार किया गया।
डिजिटल डेस्क, जबलपुर। बालाघाट में नक्सली मुठभेड़ में वीरगति प्राप्त करने वाले इंस्पेक्टर आशीष शर्मा का आज उनके गृहग्राम बोहानी (नरसिंहपुर) में राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। परिजनों ने उनकी पार्थिव देह को मुखाग्नि दी। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव और कैबिनेट मंत्री प्रहलाद पटेल ने शहीद को कंधा दिया, जो उनकी वीरता के प्रति सर्वोच्च सम्मान को दर्शाता है।
मुख्यमंत्री ने इस दौरान बड़ा ऐलान करते हुए कहा कि शहीद इंस्पेक्टर के छोटे भाई को सारे नियमों को शिथिल करते हुए सब इंस्पेक्टर बनाया जाएगा। इसके अलावा, परिवार को एक करोड़ रुपए की सम्मान निधि दी जाएगी। मुख्यमंत्री ने यह भी घोषणा की कि आशीष शर्मा के नाम पर गांव में एक पार्क और एक स्टेडियम बनाया जाएगा।
राजकीय सम्मान के साथ विदाई
इससे पहले गुरुवार दोपहर को शहीद का पार्थिव शरीर उनके गृहग्राम बोहानी लाया गया, जहां घर पर उन्हें गॉर्ड ऑफ ऑनर दिया गया। इसके बाद जब उनकी अंतिम यात्रा मुक्तिधाम के लिए निकली तो लोगों ने घरों की छतों पर खड़े होकर शहीद पर फूल बरसाए। अंतिम विदाई में 5000 से ज्यादा लोग शामिल हुए, जिन्होंने भारत माता की जय और अमर रहे के नारे लगाए।

इस दौरान कैबिनेट मंत्री उदय प्रताप सिंह, मप्र कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष जीतू पटवारी और नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने भी शहीद जवान को श्रद्धांजलि दी।
एंटी नक्सल ऑपरेशन डीजी पंकज श्रीवास्तव ने बताया कि बुधवार को मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र और छत्तीसगढ़ पुलिस ने सीमावर्ती क्षेत्र बोर तालाब के पास एक जॉइंट ऑपरेशन चलाया था, जहाँ नक्सलियों से मुठभेड़ में तीनों टीम को लीड कर रहे इंस्पेक्टर आशीष शर्मा को गोली लग गई थी। उन्हें घायल अवस्था में अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टर ने चेक करने के बाद उन्हें मृत घोषित कर दिया।

करियर शौर्य से भरा रहा
आशीष शर्मा वर्ष 2016 में मध्यप्रदेश पुलिस में भर्ती हुए और 2018 में हॉक फोर्स बालाघाट में पदस्थापना पाई। उन्होंने 18 दिसंबर 2022 को 14 लाख के इनामी नक्सली गोडी को मार गिराया। 22 अप्रैल 2023 को 28 लाख की इनामी एसीएम सुनीता और सरिता को ढेर किया। उनकी वीरता के कारण उन्हें 21 फरवरी 2023 को उपनिरीक्षक से निरीक्षक पद पर आउट ऑफ टर्न प्रमोशन मिला था। उनका अंतिम शौर्य 19 फरवरी 2025 को रौंदा टोला मुठभेड़ में दिखा, जहां उन्होंने 62 लाख की इनामी नक्सली कमांडर आशा सहित चार नक्सलियों को मार गिराया था।

कमेंट्स
सभी कमेंट्स (0)
बातचीत में शामिल हों
कृपया धैर्य रखें।