मध्य प्रदेश राज्य सेवा परीक्षा 2022 का अंतिम परिणाम जारी, टॉप टेन में छह लड़कियां
मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग (एमपीपीएससी) ने शनिवार को राज्य सेवा परीक्षा 2022 का अंतिम परिणाम जारी कर दिया। परीक्षा में टॉप-10 में छह लड़कियों ने जगह बनाई है। देवास की दीपिका 902.75 अंक प्राप्त कर पहले स्थान पर रहीं। दूसरा स्थान 897.50 अंक लाकर आदित्य नारायण तिवारी ने और तीसरा स्थान 893 अंक लाकर सुरभि जैन ने हासिल किया है।

जेएनएन, इंदौर। मध्य प्रदेश लोक सेवा आयोग (एमपीपीएससी) ने शनिवार को राज्य सेवा परीक्षा 2022 का अंतिम परिणाम जारी कर दिया। परीक्षा में टॉप-10 में छह लड़कियों ने जगह बनाई है। देवास की दीपिका 902.75 अंक प्राप्त कर पहले स्थान पर रहीं।
दूसरा स्थान 897.50 अंक लाकर आदित्य नारायण तिवारी ने और तीसरा स्थान 893 अंक लाकर सुरभि जैन ने हासिल किया है। आयोग के मुताबिक, इन अभ्यर्थियों का डिप्टी कलेक्टर के लिए चयन हुआ है, जिनमें 24 पदों में से 11 पर महिलाएं चयनित हुई हैं।
ओबीसी आरक्षण के चलते यह परिणाम दो भागों में तैयार किया
बता दें कि आयोग ने ओबीसी आरक्षण के चलते यह परिणाम दो भागों में तैयार किया। इसमें मुख्य भाग 87 प्रतिशत यानी 405 पदों के लिए और प्रावधिक 13 प्रतिशत यानी 52 पदों को निर्धारित किया गया था। वैसे, 13 फीसद वाला प्रावधिक परिणाम रोक रखा है।
उल्लेखनीय है कि आयोग ने फरवरी 2022 में परीक्षा को लेकर अधिसूचना निकाली थी। सात जून 2024 को मुख्य परीक्षा का परिणाम आया था। 457 पदों के लिए 1599 अभ्यर्थियों का चयन किया गया, जिसमें 1286 मुख्य भाग और 313 प्रावधिक भाग में शामिल थे। आयोग ने अभ्यर्थियों का परिणाम वेबसाइट पर जारी कर दिया है।
मध्य प्रदेश सरकारी स्कूलों की संख्या में देश में दूसरे स्थान पर
मध्य प्रदेश सरकारी स्कूलों की संख्या में देश में दूसरा स्थान है।केंद्र सरकार द्वारा हाल में जारी यूनिफाइड डिस्ट्रिक्ट इंफारमेशन सिस्टम (यूडीआई) फार एजुकेशन प्लस रिपोर्ट में देश के सरकारी स्कूलों की अधोसंरचना पर जारी रिपोर्ट में यह तथ्य सामने आया है।
रिपोर्ट में सरकारी, सरकारी सहायता प्राप्त, निजी और अन्य स्कूलों में 2014 की स्थिति और वर्तमान स्थिति का तुलनात्मक आकलन किया गया है। यह आंकड़ा रिपोर्ट के अनुसार मध्यप्रदेश में सरकारी, निजी और सरकारी सहायता प्राप्त 1,23,412 स्कूल हैं। इसमें एक करोड़ 53 लाख 61 हजार 543 विद्यार्थी पढ़ रहे हैं।
इन स्कूलों में शिक्षकों की संख्या 6 लाख 39 हजार 525 है। इनमें सरकारी स्कूल 92,439 हैं और सरकारी सहायता प्राप्त 581 और निजी 28,910 और अन्य 1482 हैं। इनमें से 39.4 प्रतिशत स्कूल फाउंडेशनल है, जबकि 35.7 प्रतिशत मिडिल स्कूल और 14.9 प्रतिशत हायर सेकेंडरी स्कूल हैं। इस रिपोर्ट का स्कूल शिक्षा विभाग ने आकलन किया है।
कई स्तरों पर आंकड़ों की शुद्धता का परीक्षण किया जाता है
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने स्कूल शिक्षा के क्षेत्र में मध्यप्रदेश को उत्कृष्ट राज्य बनाने के लिए विभिन्न स्तरों पर कार्ययोजना और रणनीतियां बनाने के निर्देश दिए हैं।बता दें, कि स्कूलों के इस डाटाबेस प्रबंधन के लिए केंद्र सरकार ने यूनिफाइड डिस्ट्रिक्ट इंफारमेशन सिस्टम फार एजुकेशन प्लस बनाया है। इसमें स्कूलों से संबंधित आंकड़ों को आनलाइन अपलोड किया जाता है। कई स्तरों पर आंकड़ों की शुद्धता का परीक्षण किया जाता है।
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