MP: इंदौर-देवास हाईवे पर 36 घंटे जाम का मामला पहुंचा हाई कोर्ट, NHAI ने कहा- लोग बगैर काम के निकलते हैं, इसलिए लगता है जाम
इंदौर-देवास हाईवे पर फ्लाईओवर निर्माण के चलते लगे 36 घंटे के जाम का मामला हाई कोर्ट पहुंचा। कोर्ट ने एनएचएआइ से पुल निर्माण में देरी का कारण पूछा। एनएचएआइ के वकील ने कहा कि लोग बिना काम के निकलते हैं इसलिए जाम लगता है। कोर्ट ने संबंधित पक्षों को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। याचिकाकर्ता ने समस्या का स्थाई हल निकालने की मांग की है।
जेएनएन, इंदौर। इंदौर-देवास हाईवे पर फ्लाईओवर निर्माण को लेकर गुरुवार से शनिवार तक लगे 36 घंटे जाम का मामला मध्य प्रदेश हाई कोर्ट पहुंच गया है। इसे लेकर इंदौर खंडपीठ में दायर जनहित याचिका पर सोमवार को युगलपीठ ने सुनवाई की।
सुनवाई के दौरान कोर्ट ने एनएचएआइ से पूछा कि आखिर पुल का काम कब पूरा होगा, इतनी देरी क्यों लग रही है? जाम की वजह से लोग परेशान हो रहे हैं। इस पर एनएचएआइ की ओर से वकील ने कह दिया कि बगैर काम के लोग निकलते हैं, उन्हें जल्दी रहती है, जाम तो लगेगा ही।
वकील ने क्या तर्क दिया?
इलाके के एक अन्य स्थल जाम गेट का हवाला देते वकील ने तर्क दिया कि शनिवार-रविवार को वहां भी जाम लगता है, जबकि वहां तो कोई सड़क नहीं बन रही है। छुट्टी के दिन लोग घूमने निकल जाते हैं।
कोर्ट ने संबंधित पक्षकारों को नोटिस जारी कर एक सप्ताह में जवाब मांगा है। सात जुलाई को फिर सुनवाई होगी। याचिकाकर्ता आनंद अधिकारी ने हाई कोर्ट से समस्या का स्थाई हल तलाशने की मांग की है।
सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ता की ओर से कहा गया कि इंदौर-देवास हाईवे का काम लंबे समय से चल रहा है। जाम की वजह से लोग परेशान हो रहे हैं। पिछले दिनों 36 घंटे लंबा जाम लग गया।
कार्य में क्यों हो रही है देरी?
एनएचएआइ के अधिकारी अब यातायात की व्यवस्था सुधारने के लिए काम कर रहे हैं। एनएचएआइ की ओर से बताया गया कि क्रशर वालों की हड़ताल की वजह से सड़क बनाने का मटेरियल उपलब्ध नहीं हो पा रहा था, इसलिए देरी हो रही है। हड़ताल समाप्त हो गई है। रात 12 से सुबह सात बजे तक यातायात रोककर निर्माण चल रहा है।
बता दें कि इंदौर-देवास मार्ग पर लगे महाजाम की वजह से दो लोगों की मौत भी हो गई थी। हालांकि, एनएचएआइ इससे इन्कार कर रहा है।
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