तीन शिक्षकों को सेवा समाप्ति का नोटिस, बगैर सूचना के गैरहाजिर रहने के आरोप में निलंबित

जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी राकेश सिंह ने सोमवार को तीन अध्यापकों को सेवा समाप्त करने का नोटिस दिया है।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Publish:Tue, 16 Jun 2020 08:40 AM (IST) Updated:Tue, 16 Jun 2020 09:30 AM (IST)
तीन शिक्षकों को सेवा समाप्ति का नोटिस, बगैर सूचना के गैरहाजिर रहने के आरोप में निलंबित
तीन शिक्षकों को सेवा समाप्ति का नोटिस, बगैर सूचना के गैरहाजिर रहने के आरोप में निलंबित

वाराणसी, जेएनएन। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी राकेश सिंह ने सोमवार को तीन अध्यापकों को सेवा समाप्त करने का नोटिस दिया है। ये अध्यापक विभिन्न कारणों से लंबे समय से निलंबित हैैं। इन पर जांच टीम का सहयोग नहीं करने का भी आरोप है। तीनों सहायक अध्यापकों को 15 दिन में स्पष्टीकरण नहीं देने पर सेवा समाप्ति की चेतावनी दी गई है।

बगैर सूचना के गायब रहने के आरोप में प्राथमिक विद्यालय (रामनगर) के सहायक अध्यापक उमाकांत ङ्क्षसह गत 20 दिसंबर 2018 निलंबित हैं। उन पर जांच में भी  सहयोग नहीं करने का आरोप है। जारी नोटिस में कहा गया है कि प्रतीत होता है कि सेवा में उनकी कोई रुचि नहीं है। इसी प्रकार पूर्व माध्यमिक विद्यालय (चोलापुर) के सहायक अध्यापक विनोद कुमार खंड शिक्षा अधिकारी के संंग अभद्रता करने का आरोप में 20 मई 2019 से निलंबित हैं। उन पर भी जांच की कार्रवाई में सहयोग न करने का आरोप है। वहीं सहायक अध्यापक ऋचा सिंह 28 दिसंबर 2019 से निलंबित चल रहीं हैं। मेडिकल प्रमाणपत्र के आधार पर उन्हें एक जनवरी 2020 में सेवापुरी बीआरसी पर कार्यभार ग्रहण कराया गया। साथ ही 14 जनवरी तक उन्हें लिखित पक्ष प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया। उनके खिलाफ अधिकारियों से अमर्यादित भाषा के प्रयोग व कर्तव्यों  के प्रति भी सतर्क नहीं रहने का आरोप है। उन्हें भी सेवा समाप्त करने का नोटिस जारी हुआ है।

सीएम के आदेश से शिक्षकों में मची खलबली

शिक्षक भर्ती में धांधली प्रकरण को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गंभीरता से लिया है। उन्होंने प्राथमिक, माध्यमिक व उच्च शिक्षा संस्थानों में नियुक्त सभी शिक्षकों के शैक्षिक अभिलेखों की नए सिरे से जांच के आदेेश दिए हैं। सीएम के आदेश को लेकर जनपद के शिक्षकों में भी खलबली मची हुई है।

मानव संपदा पोर्टल पर अपलोड होंगे विवरण

मानव संपदा पोर्टल पर अब विश्वविद्यालय व महाविद्यालयों के शिक्षकों व कर्मचारियों के अभिलेख अपलोड किए जाएंगे। शासन की ओर से इस आशय का एक परिपत्र गत दिनों महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ व संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय के कुलसचिव को मिला। दोनों विश्वविद्यालयों के कुलसचिव ने बताया कि शासन के निर्देश पर शिक्षकों व कर्मचारियों के विवरण पोर्टल पर अपलोड करने की कार्रवाई शुरू कर दी गई है। इसके तहत अध्यापकों व कर्मचारियों को मानव संपदा पोर्टल का एक फार्म भरने के लिए दिया गया है।

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