पंद्रह विषयों को मिला यूपी बोर्ड का फेयरवेल

मेरठ : माध्यमिक शिक्षा परिषद उत्तर प्रदेश के पाठ्यक्रम में विभिन्न भाषाओं व व्यवसायिक शिक्षा को काफी

By Edited By: Publish:Wed, 01 Apr 2015 07:46 PM (IST) Updated:Wed, 01 Apr 2015 07:46 PM (IST)
पंद्रह विषयों को मिला यूपी बोर्ड का फेयरवेल

मेरठ : माध्यमिक शिक्षा परिषद उत्तर प्रदेश के पाठ्यक्रम में विभिन्न भाषाओं व व्यवसायिक शिक्षा को काफी जोर दिया जाता रहा है। समय के साथ आधुनिक होती दुनिया व ग्लोबलाइजेशन के युग में जहां क्षेत्रीय भाषाओं को सीखने वालों में कमी आई वहीं युवाओं को आत्म निर्भर बनाने वाले रोजगार परक कुछ विषय भी बेरोजगारों की श्रेणी में पहुंच गए हैं। साल दर साल घटती छात्र संख्या को देखते हुए यूपी बोर्ड ने भी इस वर्ष नए सत्र के साथ ही 15 विषयों को अलविदा कह दिया है।

विदेशी भाषा के कोर्स बंद

शासन के निर्देश पर बोर्ड मुख्यालय की ओर से समाप्त किए गए 15 विषयों में से छह भाषा हैं। इनमें जर्मन, फ्रांसीसी, लैटिन, तिब्बती, रूसी व चीनी भाषा शामिल हैं। एक समय विदेशी कंपनियों में नौकरी पाने के लिए इन भाषाओं को सीखने के लिए युवाओं की लंबी कतार रहा करती थी। अब यही विषय विभिन्न संस्थानों में लाखों रुपये खर्च कर पढ़ने पड़ते हैं।

अब नहीं बनेंगे मूर्तिकार

मूर्ति बनाने के क्षेत्र में रुचि रखने वाले युवाओं के लिए मूर्तिकला विषय पढ़ाया जाता था, जो अब बंद कर दिया गया है। बंद होने वाले व्यवसायिक विषयों में मूर्तिकला के साथ ही रक्षा अध्ययन, चर्म शिल्प, वैद्युत अभियंत्रण के तत्व, औद्योगिक रसायन, व्यवसायिक कला, सांख्यिकी, यांत्रिक अभियंत्रण के तत्व व कुलाल विज्ञान विषय शामिल हैं।

समायोजित होंगे शिक्षक

बोर्ड मुख्यालय के अपर शिक्षा निदेशक रमेश ने संयुक्त शिक्षा निदेशक को बोर्ड के पाठ्यक्रम में समाप्त विषयों के सापेक्ष सृजित पद व कार्यरत शिक्षकों की सूची मांगी है। इन विषयों के शिक्षकों को अन्य विषयों के पाठ्यक्रम के साथ समायोजित किया जा सकता है।

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