यूपी में सरकारी विभागों की संख्या घटाने व पदों को खत्म करने की सिफारिश, सीएम योगी को सौंपी रिपोर्ट
पूर्व मुख्य सचिव व रेरा अध्यक्ष राजीव कुमार की अध्यक्षता में गठित समिति ने विभागों का पुनर्गठन कर 95 से 54 करने न्यूनतम छात्र संख्या न होने पर 10 हजार से अधिक परिषदीय प्राथमिक विद्यालय को बंद करने और अनुपयोगी पदों को खत्म या कम करने के सुझाव दिए हैं।
लखनऊ [राज्य ब्यूरो]। प्रशासनिक ढांचे को चुस्त-दुरुस्त बनाने के साथ सरकारी विभागों-उपक्रमों की कार्यदक्षता बढ़ाने के उपाय सुझाने और इसके जरिये फिजूलखर्ची रोकने के मकसद से पूर्व मुख्य सचिव व रेरा अध्यक्ष राजीव कुमार की अध्यक्षता में गठित समिति ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को सौंपी गई अपनी रिपोर्ट में कई अहम सिफारिशें की हैं। समिति ने विभागों का पुनर्गठन कर 95 से 54 करने, न्यूनतम छात्र संख्या न होने पर 10 हजार से अधिक परिषदीय प्राथमिक विद्यालय को बंद करने और अनुपयोगी पदों को खत्म या कम करने के सुझाव दिए हैं। घाटे वाले निगमों और उपक्रमों के बारे में भी जल्द निर्णय लेने का भी मशविरा दिया गया है।
राजीव कुमार की अध्यक्षता में गठित समिति ने 26 विभागों का आमेलन, 26 विभागों को यथावत बनाये रखने और दो के क्षेत्र में बदलाव की सिफारिश की है। समिति ने कृषि उत्पादन आयुक्त, अवस्थापना एवं औद्योगिक विकास आयुक्त, समाज कल्याण आयुक्त के अधिकार क्षेत्र में विभागों को बांटते हुए शिक्षा आयुक्त, स्वास्थ्य आयुक्त और राजस्व संसाधन आयुक्त के अधिकार क्षेत्र चिन्हित किए हैं। आठ मुख्य नदियों के लिए एक-एक बेसिन जल प्रबंधन प्राधिकरण गठन को भी कहा गया है।
इसी प्रकार सचिवालय की मौजूदा गतिविधियों का बड़ा हिस्सा विभागीय निदेशालयों को हस्तांतरित करने, सेवानिवृत्त डीजीपी सुलखान सिंह की अध्यक्षता में गठित उप्र पुलिस आधुनिकीकरण एवं सुदृढ़ीकरण आयोग की सिफारिशों को लागू करने, नतीजे देने और सरकारी तंत्र को अधिक जवाबदेह बनाने के लिए सुदृढ़ प्रबंधन एवं मूल्यांकन प्रणाली (पीएमईएस) को अपनाने की बात भी कही गई है।
पद खत्म या कम करने की सिफारिश
आइटी विभाग का पुनर्गठन, तमिलनाडु की तर्ज पर अलग कैडर : समिति ने आइटी एवं इलेक्ट्रॉनिक्स विभाग के अधीन यूपी डेस्को, उप्र इलेक्ट्रॉनिक्स कॉरपोरेशन, श्रीट्रॉन इंडिया लिमिटेड, अपट्रॉन पावरट्रॉनिक्स लिमिटेड, सेंटर फॉर ई-गवर्नेंस व ई-सुविधा जैसे निगमों/उपक्रमों का विलय कर एक नई संस्था बनाने की सिफारिश की है। वहीं तमिलनाडु की तर्ज पर मुख्यालय और क्षेत्र स्तर पर इस नई संस्था के लिए अलग आइटी काडर सृजित करने की सलाह दी है।
कार्मिकों के चयन, प्रशिक्षण और प्रमोशन के लिए सिफारिशें
बंद होने लायक उपक्रमों पर जल्दी निर्णय ले सरकार : प्रदेश के 103 सार्वजनिक उपक्रमों में से 43 बंद और 60 कार्यशील हैं। जो उपक्रम काम नहीं कर रहे और बंद होने योग्य हैं, उनके बारे में सरकार शीघ्र निर्णय ले।