सावधानी ही पेट्रोल पंपों पर मिलावट से निजात

गोरखपुर : पेट्रोल भरवाते समय कई बार आपके साथ भी ऐसा होता होगा। कई बार पता ही नहीं चलता कि आपके गाड़ी

By Edited By: Publish:Sat, 27 Aug 2016 02:21 AM (IST) Updated:Sat, 27 Aug 2016 02:21 AM (IST)
सावधानी ही पेट्रोल पंपों पर मिलावट से निजात

गोरखपुर : पेट्रोल भरवाते समय कई बार आपके साथ भी ऐसा होता होगा। कई बार पता ही नहीं चलता कि आपके गाड़ी में पेट्रोल कम डाला गया है। कुछ जरूरी ऐतिहात बरतने से घटतौली की समस्या से निजात मिल सकती है।

- पेट्रोल भरवाने से पहले गाड़ी का इंजन बंद कर दें।

- पंप का मीटर चेक कर लें कि वह जीरो पर है कि नहीं।

- मीटर पर पेट्रोल या डीजल का रेट भी डिस्प्ले किया जाता है। उसी के हिसाब से पेमेंट करें।

- चेक करें कि मीटर पर डिस्प्ले किया गया रेट, पंप के बोर्ड के रेट से मेल खाता है या नहीं।

- पेट्रोल भरवाने के बाद रसीद जरूर लें। याद रखें बिना रसीद के आपकी सुनवाई ठीक ढंग से नहीं हो पाएगी।

- पेट्रोल पंप पर अगर कोई कर्मचारी आपसे बदसलूकी करे, टैंक में पेट्रोल डालने वाले ट्यूब में लीकेज हो या फिर ऐसी ही कोई और दिक्कत हो तो मैनेजर से शिकायत जरूर करें। अगर मैनेजर मौजूद नहीं है तो शिकायती बुक में इंट्री करें।

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ये भी जानना है जरूरी

- किसी भी पेट्रोल पंप पर पीने का साफ पानी और टायर में हवा भरने के लिए प्रेशर पंप का होना जरूरी है। इन दोनों सुविधाओं के लिए कोई चार्ज नहीं लगता।

- ग्राहकों की सुविधा के लिए पेट्रोल पंप चलाने वाले खाने-पीने की दुकान, रिपेयर शाप या फिर फोन बूथ जैसी अतिरिक्त सुविधा दे सकते हैं।

- पेट्रोल पंप पर फ‌र्स्ट-एड बाक्स और शिकायत-सुझाव पुस्तिका का होना जरूरी है।

-सभी पेट्रोल पंप मालिकों के लिए जरूरी है कि वे उपलब्ध स्टाक की जानकारी के साथ-साथ उत्पाद की कीमतें भी डिस्प्ले करें।

- पंप में मिलने वाले उत्पादों की गुणवत्ता के लिए सिर्फ पंप मालिक ही नहीं, तेल कंपनी भी जिम्मेदार है।

- पेट्रोल पंप के कर्मचारी आपसे यह नहीं कह सकते कि हमारे यहा सिर्फ प्रीमियम पेट्रोल/डीजल ही है।

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कैसे करें मिलावट की जाच

- अगर पेट्रोल/डीजल में पानी की मिलावट का शक हो, तो पंप पर उपलब्ध 'वॉटर फाइंडिंग पेस्ट' यूज करें। वाटर फाइंडिंग पेस्ट का रंग हरा होता है। इस पेस्ट को टैंक से पेट्रोल/ डीजल नापने वाली राड के एक सिरे पर लगाकर टैंक की निचली सतह से टच करते हैं। चूंकि पानी पेट्रोल/ डीजल से भारी होता है इसलिए टैंक की निचली सतह पर ही जमा होता है। राड के एक सिरे पर लगा पेस्ट पानी के संपर्क में आते ही गुलाबी हो जाता है। अगर मिलावट कंफर्म हो जाए, तो पंप के मैनेजर और तेल कंपनी को सूचित करें।

- पेट्रोल में मिट्टी के तेल आदि की मिलावट चेक करने का सबसे आसान तरीका है फिल्टर पेपर टेस्ट। यह पेपर सभी पंपों पर होता है। फिल्टर पेपर पर एक बूंद पेट्रोल नाजल से डालें। अगर दो मिनट में पेट्रोल उड़ जाता है और कोई धब्बा नहीं उभरता, तो कोई मिलावट नहीं है। पेट्रोल उड़ने केबाद अगर गुलाबी रंग के अलावा कोई और धब्बा रह जाता है, तो मिलावट है।

- पेट्रोल/डीजल की मात्रा चेक करने के लिए पेट्रोल पंप पर पाच लीटर का यंत्र होना जरूरी है। इस पर राज्य सरकार के माप-तौल विभाग की सील लगी होनी चाहिए।

- शक होने पर आप पेट्रोल/डीजल की मात्रा चेक कराने के लिए कह सकते हैं।

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ऐसे चेक करें पेट्रोल पंप

जिस पेट्रोल पंप से आप पेट्रोल लेते हैं, उसे चेक करने का एक तरीका है। इसके लिए सबसे पहले ऐसा पंप चुनें, जहा 'आटो कट आफ नाजल' हो। अपनी गाड़ी का टैंक फुल कराएं और जैसे ही आटो कट आफ हो, सप्लाई रोक दें। टैंक में जबर्दस्ती तेल न डलवाएं। अब अपनी गाड़ी की मीटर रीडिंग नोट कर लें। कुछ दिन बाद फिर उसी पंप से आटो कट आफ टैंक फुल कराएं। मसलन पिछले समय आपकी मीटर रीडिंग 5000 थी और अब 5500 है। इस बार के आटो कट आफ में 30 लीटर तेल आया, तो 500 को 30 से भाग करें। इससे आपकी गाड़ी का एवरेज 16.66 किमी/ लीटर आता है। इस तरह यही प्रक्रिया दूसरे पंप पर भी आजमाएं। जिसका एवरेज बेहतर आए, वहीं से तेल डलवाएं।

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