Lockdown : पीएम नरेंद्र मोदी के आह्वान पर शाहजहांपुर के इस कार्टूनिस्ट कोरोना वायरस से बचाने के लिए अपनाया ये फार्मूला Shahjahanpur News

ड्राइंग कोरोना के प्रति जागरूक करती होगी जिसमें मॉस्क लगाना अच्छे से हाथ धोना या सैनेटाइज करना हाथ न मिलाना साफ-सफाई आदि विषय होंगे।

By Ravi MishraEdited By: Publish:Sat, 28 Mar 2020 12:07 PM (IST) Updated:Sat, 28 Mar 2020 12:07 PM (IST)
Lockdown : पीएम नरेंद्र मोदी के आह्वान पर शाहजहांपुर के इस कार्टूनिस्ट कोरोना वायरस से बचाने के लिए अपनाया ये फार्मूला Shahjahanpur News
Lockdown : पीएम नरेंद्र मोदी के आह्वान पर शाहजहांपुर के इस कार्टूनिस्ट कोरोना वायरस से बचाने के लिए अपनाया ये फार्मूला Shahjahanpur News

शाहजहांपुर, अंबुज मिश्रा ।  कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण घूमने-फिरने का प्लान तो पहले ही रद हो गया था। लॉकडाउन से बच्चे चहारदीवारी में ही कैद हो गए हैं। न दोस्तों के साथ खेल सकते हैं और न ही पार्क में झूला झूलने जा सकते हैं। टीवी व मोबाइल से भी ऊब चुके कुछ बच्चे गली में निकल जाते हैं, जो सही नहीं है। बच्चों की बोरियत को दूर करने के लिए कार्टूनिस्ट सैफ असलम खां ने क्रिएटिव लॉकडाउन शुरू किया है। इसके लिए फेसबुक व वाट्सएप का सहारा लिया है।

फेसबुक पर बनाया पेज, जारी किया वाटसएप नंबर 

दरअसल सैफ अब तक घर में मौजूद रिश्तेदारों के बच्चों को काटरून बनाना सीखा रहे थे। लॉकडाउन की वजह से बच्चों तक नहीं पहुंच सकते इसलिए उन्होंने कुछ दिन पहले शुरू किए अपने पेज @ShajahanpurSketch Stories पर अपना वाट्सएप नंबर जारी किया है। बच्चे घर में ड्राइंग बनाएंगे। जिन्हें अपने नाम पते के साथ उन्हें वाट्सएप करेंगे।

फ्रीलांस कर्टूनिस्ट ने ड्राइंग के लिए चुनी जागरुकता 

ड्राइंग कोरोना के प्रति जागरूक करती होगी, जिसमें मॉस्क लगाना, अच्छे से हाथ धोना या सैनेटाइज करना, हाथ न मिलाना, साफ-सफाई आदि विषय होंगे। इन ड्राइंग को सैफ पेज पर पोस्ट करेंगे। लॉकडाउन खत्म होने के बाद बच्चों को पुरस्कृत करने के साथ ही अच्छी ड्राइंग वाले बच्चों को फ्री वर्कशॉप के साथ आगे क्रिएटिव एक्टविटी भी करेंगे। शहर के मुहल्ला रंगीन चौपाल निवासी सैफ फ्रीलांस कार्टूनिस्ट हैं। दिल्ली में रहकर स्कूलों में बच्चों के लिए कार्टून व डूडल की वर्कशॉप करते हैं।

जब प्रधानमंत्री ने आह्वान किया है तो हमें घर में रहना ही है। कोरोना से बचने का एक अकेला यही रास्ता है। बड़े खुद को किसी न किसी काम में व्यस्त कर लेंगे, लेकिन दिक्कत बच्चों की है। इसलिए सोचा कुछ क्रिएटिव किया जाए।- सैफ असलम खां, कार्टूनिस्ट 

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