अधिकारियों की खींचतान में अटके 40 प्रोजेक्ट

जागरण संवाददाता, बरेली : अधिकारियों के बीच मची खींचतान का खामियाजा अब एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय

By Edited By: Publish:Fri, 19 Dec 2014 01:00 AM (IST) Updated:Fri, 19 Dec 2014 01:00 AM (IST)
अधिकारियों की खींचतान में अटके 40 प्रोजेक्ट

जागरण संवाददाता, बरेली : अधिकारियों के बीच मची खींचतान का खामियाजा अब एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों को चुकाना पड़ रहा है। विश्वविद्यालय के विकास के लिए बनी योजनाएं इसी के चलते अधर में लट गई हैं। करीब 40 प्रोजेक्ट के कार्य ठप पड़ गए हैं। इसमें पंचवर्षीय योजना के तहत शासन से मिलने वाला बजट भी है। जबकि यूजीसी तीन बार पत्र जारी कर इस संबंध में जवाब तलब कर चुका है। यही नहीं कैश काउंटर की रसीद तक नहीं छप पाई जिसके चलते सैकड़ों छात्रों को कैश काउंटर से मायूस होकर हर रोज वापस लौटना पड़ रहा है।

पूर्व वित्त अधिकारी एसपी श्रीवास्तव के बाद भानु प्रकाश ने वित्त अधिकारी का कार्यभार इसी साल संभाला है। कुछ कर्मचारियों की कार्यशैली ने उनको हर फाइल के लिए नियमों को देखने पर मजबूर कर दिया। लेकिन कुछ के चक्कर में अन्य योजनाओं पर भी ब्रेक लग गया। इतिहास विभाग का म्यूजियम, हाईटेक लाइब्रेरी की योजना, ई-बुक्स की खरीद, प्रशासनिक भवन का नवीनीकरण, विभागों के उपकरण, विद्युत उपकरण, वाईफाई, सेंटर फॉर एक्सीलेंस के तहत मिलने वाली ग्रांट, समेत 40 प्रोजेक्ट अटक गए हैं। यहां तक की कैश काउंटर की रसीद भी नहीं छप सकीं है। शिक्षकों से लेकर कर्मचारियों अब इससे परेशान हैं। उनका कहना है कि वित्त अधिकारी का यही रवैया रहा तो यूजीसी से मिलने वाली कई ग्रांट लैप्स हो जाएंगी। इतिहास विभाग के हेड डॉ. अभय सिंह का कहना है कि तीन बार वित्त अधिकारी से म्यूजियम के चक्कर में बात करनी चाही लेकिन वो नहीं मिले। अगर यही चलता रहा तो म्यूजियम के लिए मिली ग्रांट लैप्स होगी ही साथ ही नई ग्रांट भी नहीं मिलेगी। जब मामले में वित्त अधिकारी से जानना चाहा तो उनसे बात नहीं हो सकी।

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