सीएम से यूजीसी के मानक के अनुरूप वेतन देने की मांग

जागरण संवाददाता आजमगढ़ अशासकीय सहायता प्राप्त महाविद्यालय स्ववित्त पोषित अनुमोदित शिक्षक संघ्

By JagranEdited By: Publish:Sun, 17 Jan 2021 10:20 PM (IST) Updated:Sun, 17 Jan 2021 10:20 PM (IST)
सीएम से यूजीसी के मानक के अनुरूप वेतन देने की मांग
सीएम से यूजीसी के मानक के अनुरूप वेतन देने की मांग

जागरण संवाददाता, आजमगढ़ : अशासकीय सहायता प्राप्त महाविद्यालय स्ववित्त पोषित अनुमोदित शिक्षक संघ की बैठक रविवार को कुंवर सिंह उद्यान में हुई। इसमें प्रदेश में उच्च शिक्षा के बाजारीकरण के तहत शिक्षकों के महाविद्यालयों के प्रबंधकों द्वारा शासनादेश के अनुसार मासिक वेतन एवं सीएफसी ( कर्मचारी भविष्य निधि) की कटौती नहीं किए जाने से प्रदेश में बड़े आंदोलन की रूप-रेखा पर चर्चा की गई। साथ ही मुख्यमंत्री से उच्च न्यायालय के आदेश को लागू करते हुए समान कार्य, समान वेतन के तहत यूजीसी के मानक के अनुरूप न्यूनतम वेतन देने की मांग की गई।

अध्यक्षता कर रहे संघ के जिलाध्यक्ष डा. शैलेश पाठक ने कहा कि उच्च न्यायालय खंड पीठ द्वारा एक मार्च 2013 को अपने पारित आदेश में राज्य सरकार को हम शिक्षकों को यूजीसी मानक के अनुरूप 57,700 रुपये मासिक वेतन देने का कहा था, लेकिन सपा सरकार के रास्ते पर चलते हुए प्रदेश के उच्च शिक्षा मंत्री अधिकारियों से रोज नया बयानहल्फी अवमानना वाद में दाखिल कराकर हंसी के पात्र बन रहे हैं। संघ के जिला मंत्री डा. विनोद कुमार सिंह ने बताया कि राज्य सरकार 20 मार्च 2020 के शासनादेश में राज्य के विभिन्न विश्वविद्यालयों से संबद्ध महाविद्यालयों में स्ववित्तपोषित पाठ्यक्रम में कार्यरत शिक्षकों का वेतन अलग-अलग निर्धारित कर वेतन विसंगति पैदा कर दिया जिसे उच्च न्यायालय ने खारिज कर दिया है। बावजूद इसके सरकार महाविद्यालयों के प्राचार्य व प्रबंधकों में भ्रम फैलाने के लिए शासनादेश का हवाला देकर शिक्षकों का शोषण करने पर तुली है। बैठक में डा. अखिलेश तिवारी, डा.साधना राय, डा. सुलक्षणा पांडेय, डा. राजकुमार मिश्र, डा. प्रदीप कुमार राय, डा. अमरेश पाठक, डा.सदानंद मिश्र, डा. घनश्याम दुबे, डा. विरेंद्र यादव, डा. आरके मौर्या, डा. जेपी यादव थे।

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