मानवता शर्मसार: गुरुग्राम से लुधियाना की दूरी 350 KM, कोरोना मरीज से एंबुलेंस कंपनी ने वसूला 1.20 लाख रुपये किराया
मात्र 350 किलोमीटर तक एंबुलेंस के सफर का किराया 1.20 लाख रुपये। सुनने में शायद हैरानी लगे लेकिन बड़ी संख्या में कोविड मरीजों के साथ कुछ ऐसा ही हो रहा है। संकट की इस घड़ी में पैसों के लिए कुछ लोगों का जमीर मर गया है।
लुधियाना, जेएनएन। मात्र 350 किलोमीटर तक एंबुलेंस के सफर का किराया 1.20 लाख रुपये। सुनने में शायद हैरानी लगे, लेकिन कोविड मरीजों के साथ कुछ ऐसा ही हो रहा है। चारों तरफ लूट मची है। दिल्ली में अस्पताल में बेड व ऑक्सीजन न मिलने के कारण बड़ी संख्या में मरीज लुधियाना का रुख कर रहे हैं। अमनदीप कौर के अनुसार गुरुग्राम में रहने वाली अपनी मां सतिंदर कौर की तबियत खराब होने के बाद उसे लुधियाना में एक अस्पताल में बेड का इंतजाम किया।
अमनदीप कौर ने इसके लिए जब एंबुलेंस किराये पर देने वाली कंपनी के साथ बात की तो 1.40 लाख रुपये किराया मांगा गया। हालांकि उनके पास ऑक्सीजन का अपना सिलेंडर था, तो कंपनी ने 1.20 लाख रुपये किराया तय कर दिया। जब उनसे पूछा गया कि इतना किराया, तो उन्होंंने कहा कि जाना है तो इतना किराया लगेगा। बहरहाल, उनके पास कोई और विकल्प नहीं था तो उन्होंने मरीज की तकलीफ को देखते हुए 1.20 लाख रुपये अदा कर दिए।
गुरुग्राम से लुधियाना लाई गई मरीज के साथ उनकी बेटी अमनदीप कौर।
किराये की पर्ची इंटरनेट मीडिया में शेयर
मां को अस्पताल में भर्ती करवाने के बाद अमनदीप ने किराये की पर्ची और कंपनी के व्यवहार से संबंधित बातें इंटरनेट मीडिया में शेयर कर दी। यह सूचना दिल्ली पुलिस के ध्यान में आई और उन्होंने कंपनी के खिलाफ केस दर्ज कर लिया। इसके बाद कंपनी ने आनन-फानन में सारी राशि अमनदीप को लौटा दी।
वसूली गई रकम वापस मिली
हालांकि अमनदीप से वसूली गई भारी राशि वापस मिल गई है, लेकिन वह कहती हैं कि वह इसकाे जरूरतमंद कोविड मरीजों में खर्च कर देंगी। एक ओर एंबुलेंस वाले मरीजों की मजबूरी का फायदा उठा रहे हैं, वहीं महिला ने वापस मिली राशि को भी अन्य मरीजों पर खर्च करने की बात कह कर मानवता की मिसाल पेश की है।