...जब कांग्रेस विधायक ने पूछा- सांड को केला-मौसम्बी खिलाने में कितना खर्च हुए?

छत्तीसगढ़ विधासभा में हरियाणा के युवराज पर सवाल उठे। कांग्रेस विधायक ने मंत्री से पूछा- सांड को केला- मौसम्बी खिलाने में कितना खर्च किया गया?

By Mangal YadavEdited By: Publish:Thu, 14 Feb 2019 08:05 PM (IST) Updated:Thu, 14 Feb 2019 08:05 PM (IST)
...जब कांग्रेस विधायक ने पूछा- सांड को केला-मौसम्बी खिलाने में कितना खर्च हुए?
...जब कांग्रेस विधायक ने पूछा- सांड को केला-मौसम्बी खिलाने में कितना खर्च हुए?

रायपुर, राज्य ब्यूरो। हरियाणा के किसान का भैंसा जिसका नाम 'युवराज' है, को रायपुर में आयोजित कृषि मेले में लाने और उस पर लाखों रूपये खर्च करने को लेकर गुरुवार को छत्तीसगढ़ विधानसभा में सवाल उठे। कांग्रेस विधायक ने पूछा कि सांड को केला- मौसम्बी खिलाने में कितना खर्च किया गया और उसे यहां लाने का औचित्य क्या था? प्रश्नकाल के दौरान उठे इस मुद्दे पर सदन में जमकर नोकझोंक और हंसी-ठिठोली भी हुई।

5 लाख खर्च करके लाया गया 'युवराज' 

कांग्रेस विधायक दलेश्वर साहू ने मंत्री से पूछा कि मैंने सुना है मेले में हरियाणा से एक भैंसा युवराज को चार लाख रूपये खर्च करके लाया गया था। उसे खाने के लिए केला- मौसम्बी समेत कई फल दिए जाते थे। इस पर कितना खर्च हुआ। जवाब में मंत्री रविंद्र चौबे ने कहा कि 5 लाख खर्च कर युवराज को लाया गया। इस बीच विपक्ष की ओर से अजय चंद्राकर और धर्मजीत सिंह समेत कुछ और सदस्यों ने टिप्पणी की।

स्पीकर ने भी ली चुटकी

विधानसभा अध्यक्ष चरणदास महंत ने भी चुटकी, मुस्कुराते हुए पूछा-किसी काम के लिए लाया गया था या दिखाने के लिए। इसके तुरंत बाद धर्मजीत ने भी पूछा, वो 7-8 लाख खर्च कर जो सांड आया था, वो क्यों आया था, उसने क्या असर दिखाया। चंद्राकर बोले वो सांड नहीं था, भैंसा था। सुनते ही पूरे सदन में हंसी छूट गई।

कृषि मेले पर हुई खर्च के जांच के निर्देश

कांग्रेस विधायक दलेश्वर साहू की मांग पर कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने रायपुर में वर्ष 2018 में हुए कृषि मेले के आयोजन पर हुए खर्च की जांच कराने की घोषणा सदन में की। साहू ने पूछा था कि कृषि मेले में रोटरी क्लब को क्यों साझीदार बनाया गया? उसे 52 लाख रूपये का भुगतान क्यों किया? जवाब में मंत्री रविंद्र चौबे ने बताया कि मेले में नोडल एजेंसी मंडी बोर्ड को बनाया गया था, अब किस आधार पर रोटरी क्लब को जोड़ा गया और भुगतान किस तरह से किया गया, इस पर अगर सदस्य की मांग है तो मैं कृषि विभाग के संचालक को इसकी जांच करने के लिए कहूंगा।

10 करोड़ है कीमत
दस करोड़ के कीमत के इस युवराज की कद काठी और गुणों को देखकर 29 बार पशु मेलों में आल इंडिया बेस्ट एनिमल ऑफ शो जैसे कई खिताबों से नवाजा जा चुका है। बताया जा रहा है कि इस युवराज को रोजाना 20 लीटर दूध, 5 किलो फल, 5 किलो दाना और चारा, तूड़ी की खुराक दी जाती है। युवराज के पालन-पोषण पर करीब एक लाख रुपये प्रतिमाह का खर्च आता है।

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