Mission Cheetah: कूनो पालपुर नेशनल पार्क चीतों के खाने का रखा जाएगा खास ख्‍याल, विशेषज्ञ तय करेंगे कैसी हो डाइट

Mission Cheetah कुनो पालपुर राष्ट्रीय उद्यान (Kuno Palpur National Park) में चीतों के भोजन के लिए खास प्रबंध पहले से ही कर दिया गया है। अभी उन्‍हें 1500 वर्ग मीटर के घेरे में रखा जाएगा और खाने के लिए भैंसे का मांस दिया जाएगा और वो भी सीमित मात्रा में।

By Babita KashyapEdited By: Publish:Thu, 15 Sep 2022 03:03 PM (IST) Updated:Thu, 15 Sep 2022 03:06 PM (IST)
Mission Cheetah: कूनो पालपुर नेशनल पार्क चीतों के खाने का रखा जाएगा खास ख्‍याल, विशेषज्ञ तय करेंगे कैसी हो डाइट
चीतों को एक माह की क्वारंटाइन अवधि के दौरान सप्‍ताह में दो दिन भैंस का मांस दिया जाएगा।

भोपाल, जागरण आनलाइन डेस्‍क। कुनो पालपुर राष्ट्रीय उद्यान (Kuno Palpur National Park) में चीतों को एक माह की क्वारंटाइन अवधि के दौरान सप्‍ताह में दो दिन भैंस का मांस दिया जाएगा। दरअसल चीतों को एक महीने के लिए 1500 वर्ग मीटर के घेरे में रखा जाएगा। जिसमें उनकी फिजिकल एक्टिविटी कम हो जाएगी। ऐसे में अधिक मांस देने से पाचन संबंधी समस्याएं हो सकती हैं।

ऐसा इसलिए भी है क्योंकि चीतों के लिए मौसम भी बदल रहा है। उन्हें नई जगह पर बसने में भी कुछ समय लगेगा। साथ ही नामीबिया से चीतों के साथ आने वाले विशेषज्ञ प्रो. एड्रियन, डॉ. लैरी मार्कर और विन्सेंट तय करेंगे कि एक समय में कितना मांस दिया जाए।

नामीबिया से आए विशेषज्ञ रखेंगे खास ख्‍याल

पार्क में चीतों की देखभाल उन कर्मचारियों द्वारा की जाएगी जो मई-2022 में नामीबिया प्रशिक्षण से लौटे हैं। वह क्वारंटाइन बाड़े में मांस डालने और बाड़े की सफाई करेंगे। चीतों के सामने बार-बार आने से चीते उन्‍हें पहचानने लगेंगे। नामीबिया से आने वाले विशेषज्ञ इस पूरी गतिविधि और चीतों के स्वास्थ्य पर नजर रखेंगे। अगले एक माह तक ये विशेषज्ञ पार्क में रहेंगे। हालात बिगड़े तो एक महीने बाद भी इन्हें रोका जा सकता है।

बड़े बाड़े में पहुंचने के बाद मिलेगा शिकार का मौका

एक महीने के बाद चीतों को क्वारंटाइन बाड़े से बाहर निकालकर बड़े बाड़े में ले जाया जाएगा। फिर उनके सामने चीतल, सांभर, काला हिरण छोड़ा जाएगा और फिर वे शिकार कर सकेंगे। ढाई से साढ़े तीन महीने तक चीतों का इसी बाड़े में रखा जाएगा।

चीतों के सामने खाने से नहीं होती है दिक्कत

पार्क में चीतों के शिकार के लिए दो सौ चीतल दो महीने पहले ही छोड़े गए हैं और वहां पहले से ही सांभर, चीतल, हिरण, जंगली सूअर हैं। इस प्रकार पार्क में शाकाहारी वन्यजीवों की संख्या 1200 से अधिक है। ज्ञात हो कि नामीबिया में चीतल, काला हिरण, सांभर जैसे वन्य जीव हैं। जो चीतों को पसंद है।

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17 सितंबर मध्यप्रदेश के लिए ऐतिहासिक दिन है, इस माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी पधार रहे हैं। चीता जो न केवल भारत बल्कि एशिया महाद्वीप से विलुप्त हो गया था अब यहां उनका पुनर्स्थापन होगा। माननीय प्रधानमंत्री जी यह मानते हैं कि यह धरती सब के लिए है। पर्यावरण और वन कर्मियों की सुरक्षा उनके मिशन का एक अंग रहा है। चीतों को फिर से लाकर भारत में मध्यप्रदेश के पालपुर-कूनो अभ्यारण में बसाना उसी मिशन का एक भाग है। - Shivraj Singh Chouhan (@chouhanshivraj) 11 Sep 2022

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