पिघला मां का कलेजा, दोनों बेटियों को ले गई घर

आंगनबाड़ी वर्कर के साथ महिला संरक्षण एवं बाल विवाह निषेध अधिकारी के कार्यालय पहुंची महिला 4 सितंबर को अपनी दो नाबालिग बेटियों (उम्र 16 और 14 साल) को छोड़ गई थी। बाल कल्याण समिति ने मां और बेटियों की काउंसिलिग कराई तो तीनों साथ रहने को तैयार हो गई।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 14 Sep 2019 06:31 AM (IST) Updated:Sat, 14 Sep 2019 06:31 AM (IST)
पिघला मां का कलेजा, दोनों बेटियों को ले गई घर
पिघला मां का कलेजा, दोनों बेटियों को ले गई घर

जागरण संवाददाता, पानीपत : आंगनबाड़ी वर्कर के साथ महिला संरक्षण एवं बाल विवाह निषेध अधिकारी के कार्यालय पहुंची महिला 4 सितंबर को अपनी दो नाबालिग बेटियों (उम्र 16 और 14 साल) को छोड़ गई थी। बाल कल्याण समिति ने मां और बेटियों की काउंसिलिग कराई तो तीनों साथ रहने को तैयार हो गई।

आंगनबाड़ी वर्कर विजयलक्ष्मी ने बताया कि रजनी गुप्ता को बताया था कि महिला नाबालिग बेटियों का विवाह करने की तैयारी में है। पूछताछ में महिला ने बताया था कि पति घर छोड़कर जा चुका है। बेटियों के साथ किराए के घर में रह रही है। मजदूरी कर बेटियों का पेट भर रही है। वह काम पर चली जाती है। बेटियां रास्ते से भटक न जाएं, घर से भागकर शादी न कर लें इसकी चिता रहती है। इसलिए वह दोनों की शादी करना चाहती है। उसे बाल विवाह अधिनियम की जानकारी दी गई, इसके बाद उसने बेटियों को घर ले जाने से इन्कार कर दिया था। बेटियां भी घर जाने को तैयार नहीं थीं। दोनों को सीसीआइ रिसालू रोड भेजा गया था।

सीडब्ल्यूसी सदस्य डॉ. मुकेश आर्य ने बताया कि शुक्रवार को दोनों की पुन: काउंसिलिग कराई तो तीनों साथ रहने को राजी हो गई। इसके अलावा अंतरजातीय विवाह करने की जिद पर अड़ी किशोरी को भी उसके माता-पिता के सुपुर्द कर दिया गया है।

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