कोरोना महामारी से रेलवे की कमाई हुई प्रभावित, हुआ 36,000 करोड़ रुपये का नुकसान
दानवे ने कहा कि रेलवे ने वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर परियोजना शुरू की है जो नवी मुंबई को दिल्ली से जोड़ेगी। उन्होंने नांदेड़ और मनमाड स्टेशनों के बीच पटरियों के दोहरीकरण का आश्वासन दिया और कहा कि वह जांच करेंगे कि जालना-खामगांव रेलवे लाइन व्यवहार्य है या नहीं।
नई दिल्ली, पीटीआइ। कोरोनावायरस महामारी के दौरान रेलवे को 36,000 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है। केंद्रीय मंत्री रावसाहेब दानवे ने रविवार को यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि मालगाड़ियां वास्तविक रूप से राजस्व उपलब्ध कराने वाली हैं। रावसाहेब दानवे ने कहा कि मुंबई-नागपुर एक्सप्रेसवे के साथ एक बुलेट ट्रेन परियोजना को क्रियान्वित किया जाएगा, यह मौजूदा समय में निर्माणाधीन है। रेल राज्य मंत्री जालना रेलवे स्टेशन पर एक अंडरब्रिज के शिलान्यास समारोह में बोल रहे थे।
उन्होंने कहा, 'पैसेंजर ट्रेन सेगमेंट हमेशा घाटे में चलता है। चूंकि टिकट का किराया बढ़ने से यात्रियों पर असर पड़ता है, इसलिए हम ऐसा नहीं कर सकते। महामारी के दौरान, रेलवे को 36,000 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।'
मंत्री ने कहा, 'केवल मालगाड़ियां ही राजस्व देती हैं। महामारी के दौरान, इन ट्रेनों ने माल ढोने और लोगों को राहत देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।' बुलेट ट्रेन के बारे में बोलते हुए उन्होंने कहा कि यह परियोजना मुंबई-नागपुर एक्सप्रेसवे के साथ शुरू की जाएगी क्योंकि यह लोगों के लिए जरूरी है। दानवे ने कहा कि रेलवे ने वेस्टर्न डेडिकेटेड फ्रेट कॉरिडोर परियोजना शुरू की है, जो नवी मुंबई को दिल्ली से जोड़ेगी। उन्होंने नांदेड़ और मनमाड स्टेशनों के बीच पटरियों के दोहरीकरण का आश्वासन दिया और कहा कि वह जांच करेंगे कि जालना-खामगांव रेलवे लाइन व्यवहार्य है या नहीं।
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अपने विरोधियों पर निशाना साधते हुए दानवे ने कहा कि उन पर हर तरफ से हमले हो रहे हैं। लेकिन मैं आलोचना का सामना करने के बाद मजबूत हो जाता हूं। कार्यक्रम में मौजूद महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने कहा कि राज्य सरकार ने मानसिक बीमारियों से पीड़ित लोगों के इलाज के लिए जालना में एक अस्पताल को मंजूरी दी है। उन्होंने कहा कि इस सुविधा से मराठवाड़ा क्षेत्र को लाभ होगा।