Muzaffarpur News: जिले के अधिकारियों को High Court का अल्टीमेटम, चार महीने में शहर से अतिक्रमण हटाने का आदेश

Muzaffarpur News मुजफ्फरपुर के मुख्य बाजार एवं सड़कों पर अवैध एवं स्थाई दुकानें बनाई गई हैं। बड़ी संख्या में ठेला के कारण यातायात अवरुद्ध होता है। इससे जाम लग जाता है। ट्रैफिक व्यवस्था सामान्य सिपाही एवं होमगार्ड के जवानों के भरोसे होता है जो ट्रैफिक को नहीं संभाल पाते हैं।

By Jagran NewsEdited By: Publish:Fri, 02 Dec 2022 03:22 PM (IST) Updated:Fri, 02 Dec 2022 03:22 PM (IST)
Muzaffarpur News: जिले के अधिकारियों को High Court का अल्टीमेटम, चार महीने में शहर से अतिक्रमण हटाने का आदेश
जिले के अधिकारियों को चार महीने में शहर से अतिक्रमण हटाने का आदेश

मुजफ्फरपुर, जागरण संवाददाता। शहर में अतिक्रमण और उसके कारण लगने वाले जाम को लेकर दायर याचिका में पटना हाईकोर्ट ने आदेश जारी किया है। हाईकोर्ट ने चार माह में अतिक्रमण को हटाने को कहा है। बिहार सिविल सोसाइटी के अध्यक्ष चंद्र किशोर पाराशर ने इस संबंध में जनहित याचिका दायर की थी। इसमें कहा गया था कि मुजफ्फरपुर के मुख्य बाजार एवं सड़कों पर अवैध एवं स्थाई दुकानें बनाई गई हैं। बड़ी संख्या में ठेला के कारण यातायात अवरुद्ध होता है। इससे जाम लग जाता है। याचिका पर सुनवाई करते हुए मुख्य न्यायाधीश संजय करोल एवं न्यायाधीश पार्थ सारथी की पीठ ने उक्त आदेश जारी किया। इसमें राज्य सरकार के नगर विकास एवं आवास विभाग के अपर मुख्य सचिव, तिरहुत प्रमंडल के आयुक्त, मुजफ्फरपुर के जिलाधिकारी एवं एसएसपी तथा नगर आयुक्त को चार माह के अंदर कार्रवाई करते हुए इसकी जानकारी देने को कहा गया है। 

शिक्षित ट्रैफिक पुलिस नहीं

याचिकाकर्ता ने यह भी आरोप लगाया कि मुजफ्फरपुर नगर थाना, सिकंदरपुर ओपी, वरीय आरक्षी अधीक्षक का आवास एवं जिलाधिकारी का आवास तथा अन्य कई सरकारी एवं गैर सरकारी भवन भी सड़कों को अतिक्रमण कर बनाया गया है। इस कारण शहर की सड़कें संकरी हो गई हैं। इससे भी जाम लगता है। याचिकाकर्ता ने यह भी कहा था कि मुजफ्फरपुर में यातायात को सुचारू करने के लिए न तो प्रशिक्षित ट्रैफिक पुलिस है ना पदाधिकारी।

ट्रैफिक व्यवस्था को सामान्य सिपाही एवं होमगार्ड के जवानों के भरोसे छोड़ दिया जाता है। अप्रशिक्षित यातायात दल ट्रैफिक को नहीं संभाल पाते हैं। यातायात व्यवस्था को सुचारू रूप से चलाने हेतु प्रशिक्षित सिपाहियों को ट्रैफिक कंट्रोल के लिए लगाया जाए। याचिकाकर्ता ने बताया कि पटना उच्च न्यायालय के निर्णय से वह संतुष्ट हैं। यदि चार माह में सभी प्रकार के अतिक्रमण को हटाकर यातायात व्यवस्था को सुचारू नहीं किया जाएगा तो अवमानना दायर किया जाएगा।

अघोरिया बाजार से छाता चौक तक चला निगम का अभियान 

नगर निगम के धावा दल ने गुरुवार को अघोरिया बाजार से कलमबाग चौक होते हुए छाता चौक तक अतिक्रमण के खिलाफ अभियान चलाया। अभियान के दौरान दो दर्जन अवैध दुकानें ध्वस्त की गई। वहीं अतिक्रमण करने वाले आधा दर्जन स्थायी दुकानदारों से जुर्माना वसूल किया। अभियान के दौरान सड़क पर भवन सामग्री रखने वालों से भी जुर्माना वसूल किया गया। अभियान का नेतृत्व नगर प्रबंधक विष्णु प्रभाकर लाल, सफाई प्रभारी कौशल किशोर, अजय कुमार, नूर आलम, उमेश कुमार, नवीन कुमार ने किया।

अतिक्रमण से त्रस्त शहर के कई इलाके

शहर के कई इलाके अतिक्रमण से त्रस्त हैं। इन इलाकों में स्कूल, कालेज, पोखर एवं सड़कें शामिल हैं। नगर निगम द्वारा यहां से अतिक्रमण हटाने का प्रयास किया गया लेकिन सफलता नहीं मिली। इमलीचट्टी स्थित गुजराती मुहल्ला , महिला शिल्प कला भवन बालिका उच्च विद्यालय, सिकंदरपुर स्थित स्टेडियम का बाहरी परिसर, योगिठा मठ एवं महाराजी पोखर अतिक्रमणकारियों के कब्जे में है।

सड़कों की बात करें तो स्टेशन रोड, कंपनीबाग रोड, पोस्ट आफिस रोड, अखाड़ाघाट रोड, बनारस बैंक चौंक, कलमबाग रोड, आरडीएस कालेज रोड, संजय सिनेमा रोड, अमर सिनेमा रोड, बहलखाना रोड, पानी टंकी रोड, सिकंदरपुर रोड, कच्ची पक्की रोड, जेल रोड, तीन पोखरियां रोड, मोतीझील, सरैयागंज, जवाहर लाल रोड, कल्याणी चौक, धर्मशाला चौक भी अतिक्रमणकारियों के कब्जे में है जिससे जाम की समस्या उत्पन्न होती है।

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