Angioplasty ने बचाई Sushmita Sen की जिंदगी, जानें हार्ट अटैक के बाद होने वाली इस प्रक्रिया के बारे में
Sushmita Sen Angioplasty Procedure एक्टर सुष्मिता सेन ने बताया कि उन्हें कुछ दिन पहले हार्ट अटैक आया था जिसके बाद इमरजेंसी में उनकी एंजियोप्लास्टी की गई और स्टेन्ट भी लगाया गया। तो आइए जानें एंजियोप्लास्टी क्या होती है?
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। Sushmita Sen Angioplasty: बॉलीवुड एक्ट्रेस सुष्मिता सेन ने इंस्टाग्राम पोस्ट के जरिए बताया कि उन्हें हाल ही में दिल का दौरा पड़ा था। उन्होंने अपने पिता के साथ एक तस्वीर शेयर कर बताया कि हार्ट अटैक की वजह से इमरजेंसी में एंजियोप्लास्टी भी की गई।
सुष्मिता ने लिखा, "मुझे दो दिन पहले दिल का दौरा पड़ा था। जिसके बाद एंजियोप्लास्टी भी की गई। सबसे जरूरी बात यह है कि मेरे कार्डियोलॉजिस्ट ने बताया कि मेरा दिल वाकई में बड़ा है।"
ब्लड क्लॉट या फिर प्लाक जमने के कारण धमनियां ब्लॉक हो जाती हैं, जिसकी वजह से दिल तक पहुंचने वाले खून में रुकावट पैदा हो जाती है और इसलिए दिल का दौरा पड़ता है। इस दौरान सीने में दर्द उठता है, जिसे एंजिना कहते हैं। आमतौर पर यह तनाव या फिर शारीरिक गतिविधि के कारण होता है। सीने में दर्द का इलाज दवाइयों से ठीक किया जा सकता है, लेकिन हार्ट अटैक के बाद एंजियोप्लास्टी जरूर की जाती है, जो एक इमरजेंसी ट्रीटमेंट होता है।
क्या होती है एंजियोप्लास्टी?
एंजियोप्लास्टी को PCI (percutaneous coronary intervention) भी कहा जाता है। इस प्रक्रिया में कोरोनरी धमनियों में आई रुकावट को खोला जाता है, जो कोरोनरी धमनी रोग की वजह से बंद हो जाती हैं। ब्लॉक हो चुकी धमनियं को जब इस प्रोसीजर से खोला जाता है, तो इससे दिल की मांसपेशियों तक रक्त का प्रवाह बिना ओपन-हार्ट सर्जरी किए ठीक हो जाता है।
दिल का दौरा पड़ने पर इमरजेंसी की स्थिति में एंजियोप्लास्टी की जाती है। प्रक्रिया के दौरान, कैथेटर यानी एक लंबी, पतली ट्यूब को रक्त वाहिका में डाला जाता है और अवरुद्ध धमनी की ओर ले जाया जाता है।
कैथेटर की टिप पर एक छोटा-सा गुब्बारा होता है, जो ब्लॉक हो चुकी धमनी तक पहुंचने पर फूल जाता है। यह गुब्बारा प्लाक या ब्लड क्लॉट को धकेलता है, जिससे बंद हो चुकी धमनी खुल जाती है और खून के लिए जगह बन जाती है। एक्स-रे की मदद से सर्जन बंद हो चुकी धमनी का पता लगा लेते हैं।
स्टेन्ट क्या होता है?
सुष्मिता सेन ने बताया कि उनकी एंजियोप्लास्टी प्रक्रिया के दौरान, स्टेन्ट (stent) भी लगाया गया था, ताकि भविष्य में धमनी फिर आसानी से ब्लॉक न हो जाए। लगभग सभी एंजियोप्लास्टी प्रक्रिया के दौरान सर्जन कोरोनरी स्टेन्ट का इस्तेमाल करते हैं।
Disclaimer: लेख में उल्लिखित सलाह और सुझाव सिर्फ सामान्य सूचना के उद्देश्य के लिए हैं और इन्हें पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी सवाल या परेशानी हो तो हमेशा अपने डॉक्टर से सलाह लें।
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