Metastatic breast cancer: मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर के इन लक्षणों को न करें इग्नोर, जो बढ़ा सकते हैं परेशानी
Metastatic breast cancer symptoms ब्रेस्ट या स्तन कैंसर ऐसी ही एक बीमारी है जिसके होने पर बॉडी में कई तरह के बदलाव महसूस होते हैं। इन बदलावों को समझने से इसका शुरूआती अवस्था में पता लगाने में मदद मिल सकती है। ब्रेस्ट कैंसर की जर्नी में मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर एक डरावनी स्टेज होती है तो इसके लक्षणों को न करें इग्नोर करने की गलती।
नई दिल्ली, लाइफस्टाइल डेस्क। Metastatic Breast Cancer Symptoms: जब शरीर किसी तरह की बीमारी से ग्रस्त होता है, तो वो कई तरीकों से हमें इसका संकेत देता है, जिसमें सबसे कॉमन है फीवर आना, लेकिन इसके अलावा शरीर में किसी खास जगह पर लगातार दर्द रहना, सूजन, खुजली, गांठ जैसा महसूस हो, तो इसे भी नजरअंदाज करने की गलती न करें। ब्रेस्ट या स्तन कैंसर ऐसी ही एक बीमारी है, जिसके होने पर बॉडी में कई तरह के बदलाव महसूस होते हैं। इन बदलावों को समझने से इसका शुरूआती अवस्था में पता लगाने में मदद मिल सकती है। हालांकि फिर भी ऐसे मामले होते हैं, जब पहली बार डायग्नोस करने के समय ही कैंसर मेटास्टेसाइज़ हो चुका होता है और शरीर के दूसरे भागों में फैल चुका होता है, यानी अपने चौथे स्टेज में पहुंच चुका होता है।
दिल्ली के सर गंगाराम अस्पताल के वरिष्ठ मेडिकल ऑन्कोलॉजिस्ट डॉ. श्याम अग्रवाल के अनुसार “अपने अनुभव में मैंने लगभग 50 % महिलाओं को शुरूआती जांच में ही मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर का पीड़ित पाया है। लोगों का ब्रेस्ट कैंसर की चेतावनी और लक्षणों से परिचित होना महत्वपूर्ण है, जिससे संभावित खतरों को पहचाना जा सके। मेटास्टेटिक का पता चलना मरीजों के लिए बहुत मुश्किल हो सकता है। इसलिए मरीजों को डॉक्टरों के साथ विस्तृत बातचीत के लिये प्रोत्साहित
करना महत्वपूर्ण है, जिससे उपचार के लिए अवेलेबल ऑप्शन्स को समझा जा सके।”
ब्रेस्ट कैंसर की जर्नी में मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर एक डरावनी स्टेज होती है। जल्दी पता लगाने और तुरंत उपचार के लिए मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर की चेतावनी के संकेतों को पहचानना महत्वपूर्ण है। जानें इसके लक्षणों के बारे में...
1. लगातार ऐसा दर्द, जो समझाया न जा सके
मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर में अक्सर मरीजों को कुछ खास जगहों, जैसे- हड्डियों, जोड़ों, कमर या पेडू में असहजता या दर्द हो सकता है। लगातार दर्द बना रहे, तो डॉक्टर से दिखाने में देरी न करें।
2. असामान्य गांठें या सूजन
शरीर के कई हिस्सों पर गांठें महसूस हो सकती हैं या सूजन की प्रॉब्लम देखने को मिल सकती है। इसकी भी पूरी संभावना होती है कि यह स्तन तक ही सीमित न रहे, गर्दन, बगल, कॉलरबोन या दूसरी जगहों पर दिखे। तो अगर किसी भी जगह असामान्य वृद्धि हो या सूजन बनी रहे, तो इसे इग्नोर नहीं करना है, क्योंकि यह मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर का संभावित संकेत हो सकते हैं।
3. सांस लेने में कठिनाई और छाती में दर्द
सांस लेने में कठिनाई और छाती में दर्द भी मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर का लक्षण हो सकता है। सांस लगातार छोटी होना, जोर से सांस चलना या छाती में असहजता होने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।
4. अचानक वजन कम होना और भूख न लगना
अगर आपका वजन एकदम से कम होने लगे साथ ही भूख लगना भी बंद हो जाए, तो यह मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर समेत हेल्थ से जुड़ी किसी और दूसरी समस्या के भी संकेत हो सकते हैं।
5. लगातार थकान और कमजोरी
अच्छी तरह से रेस्ट करने के बावजूद लगातार थकान और कमजोरी रहना मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर की चेतावनी का संकेत हो सकता है। लेकिन अगर आप देर रात तक जगे रहते हैं, बहुत ज्यादा फिजिकल एक्टिविटी करते हैं और खानपान सही नहीं है, तो इससे भी थकान और कमजोरी का एहसास हो सकता है, तो इनकी बीच का अंतर समझें।
6. न्यूरोलॉजिकल लक्षण
ब्रेस्ट कैंसर की यह अवस्था मस्तिष्क तक फैल सकती है। इसके लक्षणों में बार-बार सिरदर्द, दौरे पड़ना, समन्वय या संतुलन में कठिनाई, याददाश्त की समस्याएं या देखने अथवा बोलने में बदलाव शामिल हो सकते हैं।
मेटास्टेटिक ब्रेस्ट कैंसर का पता चलने के बाद पेशेंट को परेशान होने की जगह धैर्य रखना होगा। बेशक स्टेज 4 के ब्रेस्ट कैंसर का पता चलना डिप्रेशिंग हो सकता है, लेकिन ऐसे उपचार अवेलेबल हैं, जो मरीज को लंबा और बेहतर जीवन जीने में मदद कर सकते हैं, तो उम्मीद न खोएं।
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