रानी के शाही शौक के लिए बनाई गई थी पहली Wrist Watch, दो साल में हुई थी तैयार; पढ़ें दिलचस्प कहानी
आजकल लोग मोबाइल से समय देखते हैं लेकिन कलाई में घड़ी पहनना अभी भी फैशन का हिस्सा है। सबसे पहले रानी Caroline Murat ने घड़ी निर्माता Abraham-Louis Breguet को कलाई में पहनने वाली घड़ी बनाने का ऑर्डर दिया। सोने की चेन से सजी यह घड़ी 1812 में बनकर तैयार हुई।
लाइफस्टाइल डेस्क, नई दिल्ली। आजकल लोगों के पास माेबाइल हाे गया है। ऐसे में लोग फोन से ही टाइम देख लेते हैं। पहले जमाने के लोगों की कलाई में आपने घड़ी जरूर देखी होगी। हालांकि अब ये फैशन का हिस्सा बन चुका है। लोग समय देखने के लिए नहीं, बल्कि फैशन ट्रेंड को फॉलो करने के लिए हाथ में घड़ी पहनते हैं। वहीं फिटनेस फ्रीक लोग स्मार्ट वॉच पहनते हैं।
इसे वे अपने वॉकिंग स्टेप्स का आसानी से पता लगा सकते हैं। इसे हाथ में पहनने पर लुक भी अच्छा आता है। ये सब तो फैशन की बात हो गई, लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि सबसे पहले Wrist Watch किसने पहना था, इसका इतिहास क्या है? अगर आपको नहीं मालूम तो हम आपको अपने इस लेख में कलाई वाली घड़ी का रोचक इतिहास बताने जा रहे हैं। आइए जानते हैं विस्तार से-
200 साल पुराना है इतिहास
कलाई वाले घड़ी की कहानी बहुत खास और रोचक है। इसकी शुरुआत करीब 200 साल पहले यानी कि 1810 में हुई थी। उस समय ज्यादातर लोग पॉकेट वॉच का इस्तेमाल करते थे। हालांकि एक रानी थीं, जिनका नाम था Caroline Murat, वह फ्रांस के मशहूर नेता नेपोलियन बोनापार्ट के भाई की पत्नी थीं। साथ ही नेपल्स की रानी थीं। उन्होंने ही सबसे पहले Wrist Watch पहना था।
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अनोखा और एकदम नया आइडिया था Wrist Watch
रानी कैरोलीन ने फेमस घड़ी निर्माता Abraham-Louis Breguet को एक खास घड़ी बनवाने का ऑर्डर दिया। उन्होंने इस बात पर खास जाेर दिया कि वे इसे कलाई में पहनना चाहती हैं। उस समय के लिए ये एक अनोखा और एकदम नया आइडिया था। इसे पहले एक ब्रेसलेट के रूप में जाना जाता था।
दो साल में बनकर तैयार हुई घड़ी
ब्रेगेट ने रानी का ऑर्डर स्वीकार किया और इसे बनाने का काम शुरू कर दिया। यह घड़ी बहुत सुंदर थी, जिसे सोने की चेन से सजाया गया था। इसे बारीकी से डिजाइन किया गया था। इस घड़ी को बनाने में दाे साल का समय लगा। यह घड़ी साल 1812 में बनकर तैयार हुई। यही कारण है कि इसे इतिहास की पहली कलाई घड़ी यानी कि Wrist Watch माना जाता है।
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फर्स्ट वर्ल्ड वॉर में पुरुषों ने पहना Smart Watch
शुरू में केवल महिलाएं ही कलाई वाली घड़ी पहना करतीं थीं, लेकिन जब पहला वर्ल्ड वॉर हुआ तब सैनिकों को युद्ध के मैदान में समय देखने के लिए जेब वाली घड़ी निकालना मुश्किल होता था। उस दौरान पुरुषों ने भी इसे पहनना शुरू कर दिया। तबसे धीरे-धीरे ये घड़ी आम लोगों के जीवन का हिस्सा बनती चली गई।
मोबाइल की तरह ही काम करता है स्मार्ट वॉच
समय के साथ-साथ कई बदलाव हुए। अब घड़ियों में सिर्फ समय ही नहीं, बल्कि तारीख, अलार्म, स्टॉपवॉच और स्मार्ट फीचर्स तक शामिल हो गए हैं। आज ज्यादातर लोग Smart Watch को एहमियत दे रहे हैं। ये एकदम मोबाइल की तरह ही काम करती है।
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