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    Cyber Fraud: आवाज वही, बोलने का अंदाज भी जाना पहचाना सा था, इस बार साइबर ठगी का शिकार बन गए कोल्हान विश्वविद्यालय के रजिस्टार

    Updated: Fri, 19 Sep 2025 03:42 PM (IST)

    कोल्हान विश्वविद्यालय के कुलानुशासक डा. राजेंद्र भारती को इस बार साइबर ठगों ने निशाना बनाया है। डा. भारती ने मुफस्सिल थाना में दो महिला समेत अन्य अज्ञात आरोपितों के खिलाफ ठगी का मामला दर्ज कराया है। डा. भारती के पास एक फोन आया। काल करने वाले की आवाज तथा बोलने का तरीका हूबहू उनके मित्र जैसा लग रहा था। इस कारण डा. भारती धोखा खा गए।

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    कोल्हान विश्वविद्यालय के कुलानुशासक से 1.75 लाख रुपये की साइबर ठगी कर ली गई।

    जागरण संवाददाता, चाईबासा । साइबर ठगों ने एक बार फिर अपनी चालबाजी से बड़ी घटना को अंजाम दिया है। इस बार शिकार बने कोल्हान विश्वविद्यालय के कुलानुशासक डा. राजेंद्र भारती।

    डा. भारती ने मुफस्सिल थाना में दो महिला समेत अन्य अज्ञात आरोपितों के खिलाफ ठगी का मामला दर्ज कराया है। दर्ज प्राथमिकी के अनुसार 10 सितंबर को दोपहर करीब 12 बजे डा. भारती के पास एक फोन आया।

    कॉल करने वाला ने खुद को उनके घनिष्ठ मित्र प्रो. संजीव कुमार शर्मा बताकर बातचीत की। आवाज तथा बोलने का तरीका हूबहू प्रो. शर्मा जैसा लग रहा था। इस कारण डा. भारती धोखे में आ गए।

    बातचीत के बाद रजिस्ट्रार ने 1.75 लाख रुपये भेज दिए

    बातचीत के दौरान कालर ने उन्हें दो मोबाइल नंबर भेजे और तत्काल उन पर रुपये डालने का आग्रह किया। डा. भारती ने भरोसा करते हुए विश्वविद्यालय के कुछ कर्मचारियों से भी रुपये एकत्र किए और गूगल पे व फोन पे के जरिए कुल 1 लाख 75 हजार रुपये भेज दिए।

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    जिन नंबरों पर पैसे भेजे गए, वे उषा परिहार और हसीना ओरांग के नाम से रजिस्टर्ड थे। पैसे भेजने के कुछ समय बाद ही उन्हें शक हुआ। जब उन्होंने वास्तविक प्रो. शर्मा से बात की, तो पूरी सच्चाई सामने आ गई और उ्हें पता चल गया कि वे साइबर ठगी के शिकार हुए  हैं।

    कुलानुशासक ने दर्ज कराया मामला, जांच में जुटी पुलिस 

    इस घटना से विश्वविद्यालय के शैक्षणिक व प्रशासनिक हलकों में सनसनी फैल गई है। डा. भारती ने तत्काल थाना में लिखित शिकायत की, जिसके आधार पर पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। पुलिस दोनों महिलाओं और उनके सहयोगियों की पहचान करने में जुटी है।

    अधिकारियों का कहना है कि प्रारंभिक जांच में यह संगठित साइबर ठगों का काम प्रतीत हो रहा है। वहीं, घटना के बाद पुलिस ने लोगों से अपील की है कि किसी भी फोन कॉल पर बिना सत्यापन के पैसे ट्रांसफर न करें।