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    गुमला में तीन उग्रवादी को मारने के बाद पुलिस का मनोबल हाई, डीजीपी बोले – 2026 का सूर्योदय नहीं देख पाएंगे झारखंड के उग्रवादी

    Updated: Thu, 25 Sep 2025 01:20 AM (IST)

    गुमला जिले के बिशुनपुर थाना क्षेत्र स्थित केचकी रोगरी टोली जंगल में तब घटी जब गुप्त सूचना पर छापेमारी को निकली गुमला जिला बल व झारखंड जगुआर की टीम पर अचानक माओवादियों ने हमला कर दिया। पुलिस ने तीन उग्रवादियों को ढेर कर दिया। मुठभेड़ में जेजेएमपी सुप्रीमो ब्रजेश यादव और सब-जोनल कमांडर विशाल भाग निकला।

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    अब गुमला में सुरक्षा बलों से मुठभेड़ में जेजेएमपी के तीन माओवादी ढेर।

    जागरण टीम, बिशुनपुर/घाघरा, गुमला । पलामू, हजारीबाग के बाद अब गुमला जिले में सुरक्षा बलों से मुठभेड़ में बुधवार की सुबह माओवादी संगठन झारखंड जन मुक्ति परिषद (जेजेएमपी) के तीन कुख्यात माओवादी ढेर हो गए।

    मुठभेड़ की यह घटना गुमला जिले के बिशुनपुर थाना क्षेत्र स्थित केचकी, रोगरी टोली जंगल में तब घटी, जब गुप्त सूचना पर छापेमारी को निकली गुमला जिला बल व झारखंड जगुआर की टीम पर अचानक माओवादियों ने हमला कर दिया।

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    मारे गए माओवादियों में लोहरदगा जिले के सेन्हा थाना क्षेत्र के बसरटोली निवासी लालू लोहरा, लोहरदगा जिले के चैनपुर निवासी सुजीत उरांव व लातेहार जिले के होसिर निवासी छोटू उरांव उर्फ सत्येंद्र उरावं उर्फ रवींद्र उरांव  हैं।

    मुठभेड़ में जेजेएमपी सुप्रीमो ब्रजेश यादव और सब-जोनल कमांडर विशाल भाग निकला। पुलिस ने इन दोनों को घेरने का प्रयास किया, लेकिन ये घने जंगल का लाभ उठाते हुए भाग निकले।

    मारे गए माओवादियों के पास से एक एके-56 रायफल, एक इंसास व एक एसएलआर रायफल तथा विभिन्न बोर के कारतूस की बरामदगी हुई है। मारे गए तीनों ही माओवादियों पर इनाम की घोषणा प्रक्रियाधीन थी।

    इनमें लालू लोहरा सब जोनल कमांडर रैंक का माओवादी था, जिसके विरुद्ध पांच लाख रुपये के इनाम की अनुशंसा, छोटू उरांव भी सब जोनल रैंक था, जिसके विरुद्ध पांच लाख रुपये के इनाम की अनुशंसा व सुजीत उरांव एरिया कमांडर रैंक का था।

    उसके विरुद्ध दो लाख रुपये के इनाम की अनुशंसा हुई थी। अभी इनाम की राशि राज्य सरकार के स्तर पर घोषणा के लिए विचाराधीन थी।

    सरेंडर के बाद बदल गई कमान, बिखर रहा संगठन

    कुछ दिन पहले ही जेजेएमपी सुप्रीमो रविंद्र यादव समेत चार माओवादियों ने लातेहार पुलिस के सामने आत्मसमर्पण किया था। इसके बाद संगठन में नेतृत्व का संकट गहरा गया था।

    इसी बीच ब्रजेश यादव ने खुद को नया सुप्रीमो घोषित कर दिया और कमान संभाल ली। लगातार दबिश और इस तरह की कार्रवाई से ब्रजेश का नेटवर्क अब कमजोर पड़ चुका है।

    पुलिस ने साफ संकेत दिया है कि ब्रजेश और उसके बचे सहयोगियों को किसी भी हाल में बख्शा नहीं जाएगा।

    घटना के बाद अधिकारियों के साथ गुमला पहुंचे डीजीपी अनुराग गुप्ता ने प्रेस वार्ता में कहा कि झारखंड के माओवादी 2026 का सूर्योदय नहीं देख पाएंगे।

    इनके पास एक मात्र उपाय है कि सरेंडर करें और सरकार की सरेंडर पालिसी का लाभ उठाएं। अन्यथा उनका हाल आज की घटना जैसा ही होगा।

    नौ माह में पुलिस के हाथों मारे गए कुल 32 माओवादी

    कहा कि झारखंड पुलिस का सूचना तंत्र इतना सशक्त है कि उग्रवादी क्या करते हैं इसकी पल-पल की खबर रहती है। इसी का परिणाम है कि हम उनके मांद में घुसकर उसका सफाया कर रहे हैं।

    डीजीपी ने कहा कि पुलिस के रिकार्ड में 45 माओवादी सक्रिय हैं। जिनको ठिकाने लगाने का काम चल रहा है। पिछले नौ माह में कुल 32 माओवादी पुलिस के हाथों मारे गए हैं।

    इस वर्ष में तीन माह बाकी हैं। यह तीन माह की रातें नक्सलियों के लिए कयामत की रात होगी। उन्होंने कहा कि जिन पुलिस अधिकारियों और जवानों ने ऐसे अभियान में बेहतर कार्य किया है, उन्हें सम्मानित किया जाएगा।

    उनका मनोबल बढ़ाया जाएगा। प्रेस वार्ता में आइजी एसटीएफ अनूप बिरथरे, आइजी अभियान एस माइकल राज, डीआइजी एसटीएफ इंद्रजीत महथा, एसपी हारिस बिन जमां आदि मौजूद थे।

    जेजेएमपी के ये माओवादी मारे गए

    • - लालू लोहरा : बसरटोली, सेन्हा, लोहरदगा। सब जोनल कमांडर। पांच लाख रुपये के इनाम की थी अनुशंसा।
    • - छोटू उरांव उर्फ सत्येंद्र उरांव उर्फ रवींद्र उरांव : होसिर, लातेहार। सब जोनल कमांडर। पांच लाख रुपये के इनाम की थी अनुशंसा।
    • - सुजीत उरांव : चैनपुर लोहरदगा। एरिया कमांडर। दो लाख रुपये के इनाम की थी अनुशंसा।

    जो मौके से भाग निकले

    • - ब्रजेश यादव : जेजेएमपी सुप्रीमो
    • - विशाल : सब जोनल कमांडर।

    बरामद हथियार

    एक एके-56, एक इंसास व एक एसएलआर रायफल तथा विभिन्न बोर के कारतूस।

    10 दिनों के भीतर सात माओवादी हो चुके हैं ढेर

    झारखंड पुलिस का मनोबल ऊंचा है। सुरक्षा बलों ने महज दस दिनों के भीतर सात माओवादियों को मुठभेड़ में मार गिराया है।

    इनमें 14 सितंबर को सुरक्षा बलों ने मुठभेड़ में पांच लाख के इनामी सब जोनल कमांडर मुखदेव यादव को मार गिराया था।

    इसके अगले ही दिन 15 सितंबर को हजारीबाग जिले के गोरहर थाना क्षेत्र के पातीतीरी जंगल में सुरक्षा बलों से मुठभेड़ में एक करोड़ का इनामी सहदेव सोरेन उर्फ प्रवेश मारा गया।

    साथ ही 25 लाख का इनामी स्पेशल एरिया कमेटी सदस्य रघुनाथ हेम्ब्रम व 10 लाख का इनामी जोनल कमांडर बिरसेन गंझू मारा गया था। बुधवार को जेजेएमपी के भी तीन माओवादी मारे गए।