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झारखंड में फिर बैन हुआ पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया, जानें-क्या है मामला

Popular Front of India. झारखंड हाई कोर्ट के आदेश पर करीब तीन माह पहले प्रतिबंध से मुक्‍त हुए पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया को बैन कर राज्‍य सरकार ने फिर से नकेल कसी है।

By Alok ShahiEdited By: Published: Tue, 12 Feb 2019 03:44 PM (IST)Updated: Tue, 12 Feb 2019 04:45 PM (IST)
झारखंड में फिर बैन हुआ पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया, जानें-क्या है मामला
झारखंड में फिर बैन हुआ पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया, जानें-क्या है मामला

रांची, राज्‍य ब्‍यूरो। झारखंड सरकार ने आतंकी कनेक्‍शन का हवाला देकर पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआइ) को एक बार फिर से बैन कर दिया है। मंगलवार को गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने पीएफआई को प्रतिबंधित करने का आदेश जारी कर दिया है। पीएफआई पर आतंकी साठगांठ का आरोप है। सरकार ने इस पर पहले भी बैन लगाया था। बाद में मामला हाइकोर्ट में चला गया था। तब उच्‍च न्‍यायालय के आदेश पर पीएफआई से बैन हटा लिया गया था। उस समय पुलिस मुख्‍यालय की ओर से दिए गए तर्क अदालत में नहीं टिक सके थे।

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बहरहाल, एक बार फिर से पीएफआई को बैन किया गया है। आतंकियों के स्लीपर सेल व आतंकी गतिविधियों के आरोप में पूर्व में प्रतिबंधित पीएफआइ को फिर से प्रतिबंधित करने के बारे में झारखंड सरकार के गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने कहा कि पाकुड़, साहिबगंज और जामताड़ा में इसकी गतिविधियां संदिग्‍ध हैं। पीएफआइ संगठन झारखंड में सबसे ज्यादा पाकुड़, साहिबगंज और जामताड़ा में सक्रिय है। इन तीनों जिलों में संगठन ने अपने हजारों सदस्य बनाए हैं। संगठन पर देश विरोधी गतिविधियों में संलिप्त होने का कई बार आरोप लग चुका है।

आइएस से प्रभावित है पीएफआइ
पाॅपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआइ) को प्रतिबंधित करने के लिए झारखंड के डीजीपी ने 22 दिसंबर 2017 को ही गृह विभाग के प्रधान सचिव को पत्र लिखकर अनुशंसा की थी। पुलिस की अनुशंसा की समीक्षा के बाद सरकार ने प्रतिबंधित करने का निर्णय लिया था। यह संगठन झारखंड के पाकुड़ जिले में सक्रिय है। इसकी शुरुआत केरल राज्य से हुई है। सरकार की रिपोर्ट में बताया गया है कि इसके सदस्य आतंकी संगठन आइएस से प्रभावित हैं। खुफिया रिपोर्ट के अनुसार, इस संगठन के कुछ सदस्य गोपनीय तरीके से दक्षिण भारत के राज्यों से सीरिया भी जा चुके हैं और आइएस के लिए कार्य कर रहे हैं।

अनुशंसा में डीजीपी ने जो दिया था तर्क
डीजीपी ने अनुशंसा पत्र में तर्क दिया था कि पीएफआइ पाकिस्तान के एजेंट के रूप में झारखंड सहित कई राज्यों में सक्रिय है। यह संगठन खुलेआम देश विरोधी बातें कर रहा है, संवैधानिक पदों पर बैठे हुए लोगों के खिलाफ बातें व सिर्फ एक समुदाय विशेष के युवाओं को संगठित कर उन्हें उत्प्रेरित कर रहा है। इससे विधि-व्यवस्था संभालने में परेशानी होने के साथ-साथ लोक शांति के लिए संकट उत्पन्न हो गया है। इस संगठन को प्रतिबंधित किया जाना अति आवश्यक है। डीजीपी ने अनुशंसा में बताया था कि यह संगठन झारखंड के पाकुड़, जामताड़ा व साहेबगंज में सक्रिय हैं।

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