Jharkhand में फूड सेफ्टी अफसरों की जल्द होगी बहाली, जेपीएससी जारी करेगा रिजल्ट, सचिव ने हाई कोर्ट को दी जानकारी
झारखंड हाई कोर्ट ने राज्य सरकार को फूड सेफ्टी अफसरों की नियुक्ति प्रक्रिया जल्द पूरी करने का आदेश दिया है। अदालत ने कहा कि विज्ञापन जारी करने से पहले सभी प्रक्रियाएं पूरी हों। सरकार ने अदालत को बताया कि कुछ औपचारिकताएं ही बाकी हैं और जल्द ही रिजल्ट जारी किया जाएगा। जेपीएससी ने बताया कि 2023 में विज्ञापन जारी किया गया था, लेकिन शैक्षणिक योग्यता में त्रुटि थी। सरकार ने कमेटी गठित की थी और जल्द ही निर्णय जेपीएससी को भेजा जाएगा।

होई कोर्ट में हाजिर हुए जेपीएससी के सचिव, नियुक्ति प्रक्रिया की दी जानकारी।
राज्य ब्यूरो, रांची। झारखंड हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस तरलोक सिंह चौहान और जस्टिस राजेश शंकर की खंडपीठ ने राज्य सरकार को फूड सेफ्टी अफसर सहित अन्य रिक्त पदों पर नियुक्ति प्रक्रिया जल्द पूरी करने का निर्देश दिया है।
इस निर्देश के साथ ही अदालत ने जनहित याचिका निष्पादित कर दी। अदालत ने कहा कि नियुक्ति का विज्ञापन जारी करने से पहले उससे संबंधित सभी प्रकार की प्रक्रियाओं को पूरा किया जाए। ऐसा नहीं करने से नियुक्ति प्रक्रिया में बेवजह बिलंब होता है।
सुनवाई के दौरान जेपीएससी के सचिव भी कोर्ट में हाजिर हुए थे। सुनवाई के दौरान सरकार की ओर से अदालत को बताया कि फूड सेफ्टी अफसर, फूड एनालिस्ट, लैब टेक्नीशियन सहित अन्य रिक्त पदों पर नियुक्ति की कुछ औपचारिकता ही बची है।
जल्द ही रिजल्ट जारी किया जाएगा। पिछली सुनवाई में जेपीएससी की ओर से नियुक्ति पर स्पष्ट जानकारी नहीं दिए जाने पर हाई कोर्ट ने सचिव को सशरीर हाजिर होने का निर्देश दिया था।
झारखंड लोक सेवा आयोग ने 2023 में निकाला था विज्ञापन
झारखंड लोक सेवा आयोग की ओर से दाखिल शपथ पत्र में बताया गया कि फूड सेफ्टी अफसर के पद पर नियुक्ति के लिए विज्ञापन 2023 में जारी किया गया था, लेकिन उसमें शैक्षणिक योग्यता से जुड़ी कुछ तकनीकी चूक रह गई थी।
इस संबंध में राज्य सरकार से दिशा-निर्देश मांगे गए थे। सरकार ने योग्यता तय करने के लिए एक कमेटी गठित की थी, जिसकी बैठक हो चुकी है, परंतु अब तक कोई अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है। सुनवाई के दौरान सरकार ने कहा कि निर्णय हो गया है।
जेपीएससी को भेज जल्द ही दिया जाएगा। बता दें कि राज्य में मिलावटी खाद्य पदार्थों की बिक्री को लेकर अखबारों में रिपोर्ट प्रकाशित होने के बाद हाई कोर्ट स्वत: संज्ञान लिया था।
इस पर अदालत ने राज्य सरकार को निर्देश दिया था कि सभी जिलों में फूड सेफ्टी अफसरों की नियुक्ति सुनिश्चित की जाए, ताकि मिलावटखोरी पर अंकुश लगाया जा सके।
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