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    इंदिरा गांधी को गिरफ्तार करने वाले अफसर एनके सिंह का निधन, जमशेदपुर से था गहरा नाता

    Updated: Mon, 06 Oct 2025 06:23 PM (IST)

    पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को गिरफ्तार करने वाले सीबीआई के पूर्व संयुक्त निदेशक एनके सिंह का 81 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। दिल्ली के अस्पताल में उन्होंने अंतिम सांस ली। वे झारखंड के पूर्व विधानसभा अध्यक्ष मृगेंद्र प्रताप सिंह के बहनोई थे। एनके सिंह ने जीप घोटाले में इंदिरा गांधी को गिरफ्तार किया था। उनकी ईमानदारी और कर्तव्यनिष्ठा के लिए उन्हें जाना जाता है।

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    पूर्व CBI संयुक्त निदेशक एनके सिंह का निधन। (जागरण)

    जागरण संवाददाता, जमशेदपुर। पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को गिरफ्तार कर देश की राजनीति में हलचल मचाने वाले सीबीआई के पूर्व संयुक्त निदेशक निर्मल कुमार सिंह (एनके सिंह) का 81 वर्ष की उम्र में निधन हो गया।

    दिल्ली के एक अस्पताल में उन्होंने रविवार की रात अंतिम सांस ली। कुछ दिन पहले गिरने के कारण उन्हें ब्रेन हैमरेज हो गया था। बिहार के मधेपुरा निवासी एनके सिंह का जमशेदपुर से भी गहरा नाता रहा। वे झारखंड के पूर्व विधानसभा अध्यक्ष स्वर्गीय मृगेंद्र प्रताप सिंह के बहनोई थे।

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    अपनी ईमानदारी, अनुशासन और कर्तव्यनिष्ठा के लिए चर्चित रहे 1961 बैच के आईपीएस अधिकारी एनके सिंह ने दिल्ली के मयूर विहार स्थित आवास पर रहते हुए रविवार रात करीब 10 बजे अंतिम सांस ली।

    दो दिन पूर्व टहलने के दौरान गिरने से वे गंभीर रूप से अस्वस्थ हो गए थे, जिसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था।

    एनके सिंह उस वक्त राष्ट्रीय फलक पर छा गए, जब उन्होंने 3 अक्टूबर, 1977 को जीप घोटाले के मामले में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी को गिरफ्तार किया था। उस समय केंद्र में मोरारजी देसाई की सरकार थी और चौधरी चरण सिंह गृह मंत्री थे।

    एनके सिंह तब सीबीआई में एसपी के पद पर तैनात थे। यह पहली बार था जब किसी पूर्व भारतीय प्रधानमंत्री को गिरफ्तार किया गया था। उन्होंने चर्चित 'किस्सा कुर्सी का' मामले में भी संजय गांधी और वीसी शुक्ला पर मुकदमा चलाया था।

    इंदिरा गांधी की गिरफ्तारी का उन्हें व्यक्तिगत तौर पर भारी खामियाजा भुगतना पड़ा। ऐसा आरोप है कि बदले की भावना से उनके बड़े बेटे दिलीप सिंह की एक ट्रक दुर्घटना में हत्या करवा दी गई थी। इस घटना को लेकर तत्कालीन विपक्ष के नेता चंद्रशेखर, चौधरी चरण सिंह, अटल बिहारी वाजपेयी और जॉर्ज फर्नांडिस ने लोकसभा में जोरदार विरोध प्रदर्शन किया था।

    जमशेदपुर से था गहरा नाता

    एनके सिंह का जमशेदपुर से गहरा जुड़ाव था। वे झारखंड के पूर्व वित्त मंत्री व विधानसभा अध्यक्ष रहे स्वर्गीय मृगेंद्र प्रताप सिंह और बिहार विधानसभा के अध्यक्ष रहे अमरेंद्र प्रताप सिंह के बड़े बहनोई थे।

    जुलाई 1996 में उनकी प्रसिद्ध पुस्तक 'द प्लेन ट्रूथ' (खरा सत्य) का लोकार्पण जमशेदपुर के बिष्टुपुर स्थित माइकल जान सभागार में हुआ था। इस कार्यक्रम में जार्ज फर्नांडिस, अरुण शौरी, मृगेंद्र प्रताप सिंह एवं मनोरंजन दास जैसी हस्तियां शामिल हुई थीं।

    राजनीति से लेकर लेखन तक सक्रिय

    एनके सिंह सीबीआई के संयुक्त निदेशक पद से सेवानिवृत्त हुए। वे बीएसएफ और बीपीआरडी के महानिदेशक भी रहे। अपनी उत्कृष्ट सेवा के लिए उन्हें पुलिस पदक और राष्ट्रपति पुलिस पदक से सम्मानित किया गया।

    वे जार्ज फर्नांडिस द्वारा बनाई गई समता पार्टी के संस्थापक सदस्यों में से एक थे और इसके राष्ट्रीय अध्यक्ष भी रहे। बाद में वे जनता दल यूनाइटेड (जदयू) की राष्ट्रीय कार्यकारिणी के सदस्य भी बने। उन्होंने 'द प्लेन ट्रूथ' और 'द होल ट्रूथ' नाम से दो किताबें भी लिखीं, जिनमें उन्होंने अपने अनुभवों और जीवन यात्रा को कलमबद्ध किया।