अपडेट : आज से खुल जाएंगे सभी धार्मिक स्थल, भजन-कीर्तन की अनुमति नहीं
राज्य में कंटेंनमेंट जोन के बाहर के सभी धार्मिक स्थल गुरुवार से आम श्रद्धालुओं के लिए खुल जाएंगे। गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने धार्मिक स्थलों के ...और पढ़ें

रांची : राज्य में कंटेंनमेंट जोन के बाहर के सभी धार्मिक स्थल गुरुवार से आम श्रद्धालुओं के लिए खुल जाएंगे। गृह कारा एवं आपदा प्रबंधन विभाग ने धार्मिक स्थलों के खोले जाने संबंधित दिशानिर्देश जारी कर दिया है। जारी निर्देश के अनुसार सभी धार्मिक स्थलों में दो श्रद्धालुओं के बीच की दूरी छह फीट होना अनिवार्य है। सामूहिक भजन-कीर्तन गायन की अनुमति नहीं दी गई है। मस्जिदों में नमाज अता करने पर रोक नहीं है। धार्मिक स्थलों पर पवित्र जल का छिड़काव नहीं होगा और प्रसाद व भोग भी नहीं मिलेंगे और न हीं किसी धार्मिक पुस्तक, मूर्ति, घंटी आदि छूने की अनुमति दी जाएगी। कहीं भी भीड़ लगाने की अनुमति नहीं दी गई है। धार्मिक स्थलों पर बैठने के लिए भी छह फीट की दूरी के नियम का पालन करना होगा।
दिशानिर्देश के अनुसार किसी धार्मिक स्थल पर ज्यादा भीड़ जुटने पर इसकी सूचना संबंधित जिलों के उपायुक्त को देना अनिवार्य होगा। ज्यादा भीड़ की स्थिति में संबंधित उपायुक्त ऑनलाइन एंट्री पास जारी करेंगे। देवघर के बाबा बैद्यनाथ मंदिर व दुमका के बासुकीनाथ मंदिर में भी अब राज्य सरकार का यही दिशा-निर्देश प्रभावी होगा। हालांकि ज्यादा भीड़ की स्थिति में वहां के उपायुक्त ऑनलाइन एंट्री पास की व्यवस्था को जारी रख सकते हैं। इतना ही नहीं, नवरात्र में दुर्गा मंदिरों में नौ दिन तक ऑनलाइन एंट्री पास की व्यवस्था की जा सकती है। शनिवार को शनि मंदिर में भी ऑनलाइन एंट्री पास जारी किया जा सकता है।
जारी दिशानिर्देश के मुताबिक धार्मिक स्थलों पर वैसे ही श्रद्धालुओं को जाने की अनुमति दी जाएगी, जिनके चेहरे पर फेस कवर या मास्क होगा। धार्मिक स्थल पर मास्क को अनिवार्य किया गया है। सामूहिक प्रार्थना के लिए मैट (चटाई) का उपयोग प्रतिबंधित रहेगा। श्रद्धालु अपना मैट लेकर जाएंगे और उसे लेकर वापस आ जाएंगे। धार्मिक स्थलों पर एक दूसरे से शारीरिक दूरी अनिवार्य है। श्रद्धालु और पुजारी एक-दूसरे को नहीं छू सकेंगे। हाथ सैनिटाइज करने और थर्मल स्क्रीनिग के बाद ही धार्मिक स्थलों पर प्रवेश मिलेगा। किसी भी धार्मिक स्थलों पर अधिकतम 50 श्रद्धालु से ज्यादा नहीं जा सकेंगे। बीमार श्रद्धालुओं को ऐसे स्थान पर जाने की अनुमति नहीं है। जूते-चप्पल अपनी गाड़ियों में ही रखकर जाना होगा। सभी जगहों पर आने व जाने के अलग-अलग रास्ते होंगे। प्रतिदिन एक निश्चित अंतराल पर उस धार्मिक स्थल का सैनिटाइजेशन होगा। फर्श नियमित साफ होगा। न मेला लगाने की अनुमति दी गई है और न हीं जुलूस निकालने की। ऐसे स्थलों के आसपास की दुकानों में भी शारीरिक दूरी का पालन अनिवार्य है। इन नियमों का पालन नहीं करने वालों के विरुद्ध कानूनन कार्रवाई होगी।

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