Jharkhand शराब घोटाला में आया अपडेट, पुख्ता सबूतों के साथ चार्जशीट करेगी एसीबी
राज्य में शराब घोटाले की जांच कर रही एसीबी जल्द ही पुख्ता सबूतों के साथ चार्जशीट दाखिल करेगी। पूर्व में एसीबी ने 11 आरोपियों को गिरफ्तार किया था, लेकिन चार्जशीट दाखिल न होने से वे रिहा हो गए थे। अब एसीबी ने जांच तेज कर दी है, जिसमें प्लेसमेंट एजेंसी के संचालकों की गिरफ्तारी और पूर्व सचिवों से पूछताछ शामिल है। अधिकारियों पर धोखाधड़ी और राजस्व हेराफेरी में सहयोग करने के आरोप हैं।

शराब घोटाले की जांच कर रही एसीबी जल्द ही पुख्ता सबूतों के साथ चार्जशीट दाखिल करेगी।
राज्य ब्यूरो, रांची। राज्य में शराब घोटाले की जांच कर रही भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो (एसीबी) बहुत जल्द पुख्ता सबूतों के साथ आरोपितों के विरुद्ध चार्जशीट दाखिल करेगी। किस आरोपित ने क्या गुनाह किए, इसका आकलन तेज है।
अब तक जब्त दस्तावेजों, डिजिटल उपकरणों से आरोपितों के विरुद्ध साक्ष्य जुटाए जा रहे हैं। पूर्व में एसीबी ने इस पूरे प्रकरण में उत्पाद एवं मद्य निषेध विभाग के पूर्व प्रधान सचिव विनय कुमार चौबे सहित 11 आरोपितों को गिरफ्तार कर जेल भेजा था।
गिरफ्तारी से निर्धारित समय सीमा 90 दिनों के भीतर चार्जशीट दाखिल नहीं करने के चलते सभी आरोपित जेल से बाहर हो गए थे। एक बार फिर एसीबी ने शराब घोटाले में जांच तेज की है।
पूर्व की उत्पाद नीति के तहत फर्जी बैंक गारंटी पर शराब दुकानों में मैनपावर आपूर्ति का ठेका लेने वाली प्लेसमेंट एजेंसी से जुड़े तीन संचालकों की गिरफ्तारी तथा नेक्सजेन आटोमोबाइल के संचालक विनय सिंह के ठिकानों पर छापेमारी कर 198 फाइलों की जब्ती जांच में आई तेजी का हिस्सा है।
एसीबी मुख्यालय में उत्पाद विभाग के दोनों पूर्व सचिवों से छह घंटे तक चली पूछताछ
एसीबी मुख्यालय में शुक्रवार को भी उत्पाद एवं मद्य निषेध विभाग के दोनों पूर्व सचिवों मनोज कुमार व मुकेश कुमार से छह घंटे तक पूछताछ हुई। दोनों ही आइएएस अधिकारी दोपहर करीब साढ़े बारह बजे एसीबी कार्यालय पहुंचे थे और करीब साढ़े छह बजे एसीबी के दफ्तर से बाहर निकले।
पूर्व सचिव मनोज कुमार से लगातार तीन दिनों तक व मुकेश कुमार से लगातार दो दिनों तक पूछताछ पूरी हो चुकी है। हालांकि, एसीबी की पूछताछ अभी पूरी नहीं हुई है। इन दोनों ही अधिकारियों को आने वाले दिनों में एसीबी फिर से पूछताछ के लिए बुलाएगी।
इन अधिकारियों से अब तक की जांच में मिले तथ्यों, जब्त साक्ष्यों से मिले इनपुट के आधार पर पूछताछ हो रही है। एसीबी को पूछताछ में क्या जानकारी मिली, यह फिलहाल स्पष्ट नहीं हो पाया है, लेकिन एसीबी ने पाया है कि दोनों ही अधिकारी पूछताछ में संतोषजनक जवाब नहीं दे रहे हैं।
इन अधिकारियों से शराब के कारोबार में फर्जीवाड़ा करने वालों के विरुद्ध कार्रवाई नहीं करने, राजस्व की हेराफेरी करने वालों को सहयोग करने सहित कई गंभीर आरोप हैं, जिसकी एसीबी जांच कर रही है।

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