Patratu Super Thermal Power Plant से 800 मेगावाट विद्युत उत्पादन शुरू, इन जगहों पर की जा रही आपूर्ति
स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर गुरुवार को झारखंड के पतरातू स्थित सुपर थर्मल पावर प्लांट की यूनिट नंबर एक से 800 मेगावाट की पूर्ण क्षमता के साथ बिजली उत्पादन शुरू हो गया। यह यूनिट वर्तमान में अपनी पूरी क्षमता के साथ काम कर रही है। उत्पादित बिजली पतरातू के कटिया ग्रिड के माध्यम से आपूर्ति की जा रही है।

राज्य ब्यूरो, रांची। स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर गुरुवार को झारखंड के पतरातू स्थित सुपर थर्मल पावर प्लांट की यूनिट नंबर एक से 800 मेगावाट की पूर्ण क्षमता के साथ बिजली उत्पादन शुरू हो गया।
यह यूनिट वर्तमान में अपनी पूरी क्षमता के साथ काम कर रही है। उत्पादित बिजली पतरातू के कटिया ग्रिड के माध्यम से हटिया-2, बुढ़मू, ललपनिया और पीजीसीआइएल (पावर ग्रिड कारपोरेशन आफ इंडिया लिमिटेड) के ग्रिड को आपूर्ति की जा रही है।
इसके अलावा, ललपनिया ग्रिड के जरिए गोविंदपुर और संताल परगना के इलाकों में भी बिजली पहुंचाई जा रही है। प्लांट से कामर्शियल उत्पादन शुरू करने के लिए केंद्र सरकार से सामान्य अनुमति (सीओडी - कोड आफ डिक्लेरेशन) की प्रक्रिया पूरी की जा रही है।
इसके लिए इस्टर्न रीजन पावर काउंसिल को आवेदन भेजा जाएगा। अनुमति मिलने के बाद झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड (जेबीवीएनएल) की बिलिंग शुरू होगी, जो लगभग तीन रुपये प्रति यूनिट के आसपास होगी।
चार हजार मेगावाट होगी प्लांट की क्षमता
पतरातू सुपर थर्मल पावर प्लांट में पहले चरण में 800-800 मेगावाट की तीन यूनिट्स स्थापित की जा रही हैं। कुल मिलाकर, इस प्लांट की क्षमता 4,000 मेगावाट होगी, जो सुपर क्रिटिकल थर्मल पावर तकनीक पर आधारित है।
पहले चरण में 2,400 मेगावाट का उत्पादन इसी वर्ष शुरू हो जाएगा। शेष 1,600 मेगावाट के लिए यूनिट निर्माण की प्रक्रिया अगले वर्ष से शुरू होगी। तीन यूनिट्स के चालू होने पर 80 प्रतिशत बिजली, यानी 1,960 मेगावाट झारखंड को उपलब्ध होगी।
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