Ramgarh कोयलांचल में हाथियों के आतंक से सीसीएल का उत्पादन प्रभावित, छह की जा चुकी है जान
रामगढ़ जिले में जंगली हाथियों के आतंक से सीसीएल कुजू क्षेत्र में कोयला उत्पादन और परिवहन प्रभावित हुआ है। सारुबेड़ा परियोजना में एक कर्मी की मौत के बा ...और पढ़ें

- वन विभाग के अधिकारी ग्रामीणों को जंगल की तरफ नहीं जाने का दे रहे हिदायत
राजेश्वर/राकेश, जागरण कुजू (रामगढ़) : जंगली हाथियों के कहर का प्रभाव सीसीएल कुजू क्षेत्र उत्पादन और परिवहन पर पड़ा है। सारूबेडा परियोजना में जंगली हाथियों द्वारा एक सीसीएल कर्मी के मारे जाने के बाद से तीन-चार दिनों से लोकल सेल बाधित है और उत्पादन भी कमोवेश बंद है।
गुरुवार की रात्रि करमा परियोजना में हाथियों द्वारा एक ग्रामीण को मारे जाने के बाद प्रथम पाली में उत्पादन कार्य बंद कर दिया गया और लोकल सेल में गालियों की बुकिंग नहीं की गई।
हाथियों के कहर के कारण सीसीएल कुजू क्षेत्र को आर्थिक नुकसान का सामना करना पड़ रहा है। हाथियों के कहर से ग्रामीण भयभीत हैं। वहीं वन विभाग के अधिकारियों ने ग्रामीणों को जंगल की और नहीं जाने के हिदायत दे रहे हैं।
रामगढ़ जिले इन दिनों जंगली हाथियों के आतंक से सहमा हुआ है। गत तीन दिनों के अंदर हाथियों के हमले से छह लोगों की दर्दनाक मौत हो चुकी है। तीन दिनों से घटित घटनाओं से ग्रामीणों में भारी आक्रोश और भय का माहौल व्याप्त है।
वहीं वन विभाग और प्रशासन की कार्यप्रणाली पर भी गंभीर सवाल उठ रहे हैं। बताया जा रहा कि कुजू वन क्षेत्र से सटे इलाकों में हाथियों का झुंड लगातार विचरण कर रहा है। भोजन और पानी की तलाश में जंगल से निकलकर हाथी रिहायशी इलाकों में प्रवेश कर रहे हैं।
खेत के अलावा घरों को भी बना रहे निशाना
खेतों में काम कर रहे किसान, घरों में सो रहे बुजुर्ग और सड़क से गुजरने वाले लोग अचानक हमलों का शिकार बन रहे हैं। आरा चार नंबर फिटर ब्रेकर के पास गत मंगलवार की देर शाम एक जंगली हाथी ने सीसीएल के 32 वर्षीय सुरक्षाकर्मी अमित कुमार रजवार को पटक-पटक कर मार डाला।
बताया गया कि वह बाइक से ड्यूटी पर जा रहा था, इसी दौरान हाथी देखने के लिए सड़क से नीचे उतर गया, जहां हाथी ने हमला कर दिया। घटना के बाद इलाके में अफरा-तफरी मच गई। इसी रात आरा चार नंबर के समीप हाथी ने जमकर उत्पात मचाया।
हाथी ने घर का दरवाजा तोड़कर 65 वर्षीय पार्वती देवी और 70 वर्षीय सावित्री देवी को घर से बाहर खींचकर मार डाला। वहीं सारूबेड़ा परियोजना में कार्यरत अमूल कुमार महतो को बाइक सहित उठाकर पटक दिया और कुचलकर उसकी जान ले ली।
कई घर क्षतिग्रस्त हुए, फसलें बर्बाद हुईं और कई लोग घायल हो गए। हाथियों के कहर से लगातार हो रही मौतों से आक्रोशित ग्रामीणों और मृतकों के परिजनों ने मुआवजा व सुरक्षा की मांग को लेकर आरा चार नंबर चौक पर करीब छह घंटे तक सड़क जाम किया था।
वार्ता के बाद मृतकों के स्वजनों को तत्काल 25-25 हजार रुपये की सहायता दी गई तथा शेष मुआवजा कागजी प्रक्रिया होने के बाद देने पर सहमति बनी, तब जाकर जाम हटाया गया था। अभी हाथियों के कहर का मामला शांत भी नहीं हुआ था कि गुरुवार की रात्रि हाथियों के झुंड ने करमा में लोकनाथ मुंडा व काजल देवी को कुचल कर मार दिया।
हाथियों के दहशत के कारण आरा-सारूबेड़ा कॉलोनी की अधिकांश दुकानें समय से पहले बंद हो रही हैं। वहीं बताया जा रहा है कि डीएवी आरा व बाल विद्या मंदिर स्कूल सहित कई स्कूलों में बच्चों को समय से पहले छुट्टी देनी पड़ी।
आरएफओ बटेश्वर पासवान ने कहा कि करीब 42 हाथियों का झुंड है। उन्हें जंगल का सही दिशा दिखाने के क्रम में खाना नहीं मिल पाया। इससे हाथियों का झुंड में तीन चार भागों में बंट गए हैं।
उन्हें सही दिशा देने के लिए तीनों रेंज के कर्मी लगे हैं। उन्होंने कहा कि जान माल की क्षति नहीं हो इसके लिए कुजू, गोला, रामगढ, हजारीबाग के एक्सपर्ट लगे हुए हैं।

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