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    सुनिए सरकार! मेडिकल कालेज अस्पताल में स्त्री व प्रसूति रोग के इलाज पर आफत

    By JagranEdited By:
    Updated: Sun, 07 Aug 2022 07:13 PM (IST)

    सुनिए सरकार! मेडिकल कालेज अस्पताल में स्त्री व प्रसूति रोग के इलाज पर आफत

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    सुनिए सरकार! मेडिकल कालेज अस्पताल में स्त्री व प्रसूति रोग के इलाज पर आफत

    सुनिए सरकार! मेडिकल कालेज अस्पताल में स्त्री व प्रसूति रोग के इलाज पर आफत

    संवाद सूत्र, मेदिनीनगर (पलामू) : पलामू जिला मुख्यालय मेदिनीनगर स्थित सदर अस्पताल को भले ही मेडिकल कालेज अस्पताल का दर्जा मिला हो, लेकिन चिकित्सकों की भारी कमी अब भी बरकरार है। सरकारी उदासीनता के कारण अब तो एमआरएमसीएच का स्त्री एवं प्रसूति विभाग पर आफत आन पड़ी है। सरकारी स्तर पर तबादला तो भी पलामू की अनदेखी की गई। यहां के चिकित्सकों का तबादला जरूर हुआ लेकिन अपेक्षित चिकित्सकों की पदस्थापना पलामू में नहीं की गई। मेदिनी राय मेडिकल कालेज अस्पताल का स्त्री एवं प्रसूति विभाग की स्थिति चिकित्सकों की कमी के कारण बदहाल होने वाली है। यहां सात सत्री एवं प्रसूति रोग विशेषज्ञ बतौर चिकित्सक सेवारत थे। लेकिन डा. कादिर परवेज और डा. एसएस होरो का तबादला हो चुका है। फिलहाल सेवारत दो सीनियर रेजिडेंट डा. प्रीति सिंह और डा. रानी हांसदा का भी कार्यकाल 11 अगस्त को समाप्त हो जाएगा। इसके बाद एचओडी डा. विजेता सिंह और चिकित्सा पदाधिकारी डा. अर्चना तिवारी के भरोसे पूरा विभाग का संचालन करने की चुनौती बनी रहेगी। यह चिंता अस्पताल प्रबंधन को भी सता रही है। चुनौती से उभरने के लिए अधीक्षक डा. डीके सिंह ने स्वास्थ्य चिकित्सा शिक्षा एवं परिवार कल्याण विभाग के अपर मुख्य सचिव से पत्राचार करते हुए जनहित व कार्यहित को देखते हुए वरीय रजिडेंट के अलावा स्त्री एवं प्रसूति विभाग में चिकित्सकों का पदस्थापन करने की मांग की है।

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    बाक्स...कब कितना हुआ सामान्य व सिजेरियन प्रसव

    माह - सामान्य प्रसव - सिजेरियन - पुत्र - पुत्री

    अप्रैल - 344 - 54 - 192 - 199

    मई - 277 - 79 - 178 - 172

    जून - 359 - 48 - 201 - 206

    जुलाई - 372 - 51 - 203 - 220

    बाक्स..

    अमूमन ओपीडी में आती हैं हर दिन 80 महिला मरीज :

    एमआरएमसीएच के डायग्नोस्टिक सेंटर में स्त्री एवं प्रसूति रोग विभाग का ओपीडी चलता है। अमूमन हर दिन 80 महिला मरीज यहां इलाज के लिए पहुंचती हैं। आंकड़ा बताता है कि अस्तपाल में हर दिन 11 सामान्य प्रसव और दो से तीन सिजेरियन आपरेशन भी होता है। कहने का मकसद है कि आखिर दो चिकित्सक के भरोसे ओपीडी, सामान्य प्रसव और आपरेशन करना कैसे संभव हो सकता है। अगर 12 अगस्त से पहले चिकित्स्क नहीं आए तो भारी परेशानी हो सकती है।