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    Latehar: गर्ल्स हॉस्टल में लगी भीषण आग, सबकुछ जलकर राख; छात्राओं ने बयां किया अपना दर्द

    Updated: Mon, 18 Aug 2025 10:01 AM (IST)

    लातेहार के बारियातू में झारखंड बालिका आवास विद्यालय के छात्रावास में सोलर सर्किट से आग लग गई। छात्राओं ने बताया कि कमरे में 40-50 बेड होने से परेशानी होती है। आग लगने से कमरे के बेड पंखे किताबें जल गए। शिक्षिका ने बताया कि जर्जर भवन के बारे में विभाग को सूचित किया गया था। जिला परिषद सदस्य ने भी समस्या उठाई थी।

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    लातेहार के बारियातू में झारखंड बालिका आवास विद्यालय के छात्रावास में सोलर सर्किट से आग लग गई। जागरण

    जागरण संवाददाता, लातेहार। बारियातू प्रखंड मुख्यालय स्थित झारखंड बालिका आवास विद्यालय बारियातू के छात्रावास में सोलर सर्किट से आग लग गई। बड़ा हादसा टल गया। जानकारी देते हुए छात्राओं ने बताया कि सोमवार की सुबह छह बजे हम सभी रोज की तरह खेलने के लिए अपने कमरों से बाहर निकलीं। थोड़ी ही देर में छात्रावास के कमरे से आग की लपटें उठती दिखीं।

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    हम सभी चिल्लाईं तो गार्ड अंकित कुमार दौड़कर आया और हमें भगाया। फिर अपनी सूझबूझ से हम सभी ने बाल्टी में पानी भरकर किसी तरह आग बुझाई। आग की लपटें इतनी तेज थीं कि कमरे के सभी बेड, पंखे, किताबें कुछ ही देर में जलकर राख हो गए।

    अगर यह घटना रात में होती तो सभी छात्राओं की जान जा सकती थी। साथ ही छात्राओं ने बताया कि हम सभी को जानवरों की तरह रखा जाता है। एक कमरे में चालीस से पचास बेड हैं। गर्मी के दिनों में हम सभी को सांस लेने में दिक्कत होती है। जिस कमरे में हम सभी को रखा गया है, उसमें अधिकतम दस बेड हो सकते हैं। लेकिन एक कमरे में चालीस से पचास बेड लगा दिए गए हैं, एक ऊपर और दूसरा ऊपर।

    हम सभी जानवरों की तरह रहने को विवश हैं। हमारी सुध लेने वाला कोई नहीं है। छात्राओं ने रोते हुए कहा कि अगर हम लोग सोते समय आग लग जाती तो हम सब जलकर मर जाते। विद्यालय की शिक्षिका मालती कुमारी ने बताया कि विद्यालय के छात्रावास में पांच कमरों में 225 छात्राओं को रखना पड़ता है, भवन भी जर्जर हो चुका है।

    छत का प्लास्टर टूटकर गिरता रहता है। हम लोगों ने कई बार विभाग को इस बारे में सूचित किया लेकिन आज तक कोई सार्थक पहल नहीं की गई। ज्ञात हो कि सरकार करोड़ों रुपए की लागत से कस्तूरबा विद्यालय भवन का निर्माण करवा रही है। लेकिन ठेकेदार की लापरवाही के कारण आज तक भवन अधूरा है।

    ठेकेदार द्वारा पांच वर्षों से निर्माण कार्य कराया जा रहा है, लेकिन यह अब तक अधूरा है। ठेकेदार की लापरवाही के कारण आज दर्जनों छात्राओं की जान जा सकती थी। जिला परिषद सदस्य रमेश राम ने कहा कि कस्तूरबा विद्यालय की समस्या को कई बार जिला की बैठक में उठाया गया लेकिन आज तक कोई सार्थक पहल नहीं की गई और न ही भवन बनाने वाले ठेकेदार पर कोई कार्रवाई की गई।

    प्रखंड विकास पदाधिकारी अमित कुमार पासवान ने कहा कि यह ठेकेदार की घोर लापरवाही है और उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। स्कूल के छात्रों और ग्रामीणों ने उपायुक्त से भवन निर्माण करा रहे ठेकेदार ज्योति कंस्ट्रक्शन के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है।

    घटना की सूचना मिलने पर बरियातू थाने के एएसआई मिथलेश कुमार दल-बल के साथ मौके पर पहुँचे और घटना की जाँच कर रहे हैं।