छोटे उद्यमियों की भी अंतरराष्ट्रीय बाजार में धमक, डाक निर्यात केंद्र बन रहा सहायक
डाक विभाग द्वारा शुरू किए गए डाक निर्यात केंद्र छोटे व्यापारियों कारीगरों और एमएसएमई इकाइयों के लिए एक बेहतरीन अवसर बनकर उभरे हैं। यह केंद्र उन्हें अंतरराष्ट्रीय बाजार से जोड़ने में मदद कर रहे हैं जिससे अब सीमित संसाधनों के बावजूद छोटे उद्यमी भी अपने उत्पाद विदेश भेज सकते हैं।

संवाद सहयोगी, झुमरीतिलैया (कोडरमा)। डाक विभाग द्वारा शुरू किए गए डाक निर्यात केंद्र छोटे व्यापारियों, कारीगरों और एमएसएमई इकाइयों के लिए एक बेहतरीन अवसर बनकर उभरे हैं।
यह केंद्र उन्हें अंतरराष्ट्रीय बाजार से जोड़ने में मदद कर रहे हैं, जिससे अब सीमित संसाधनों के बावजूद छोटे उद्यमी भी अपने उत्पाद विदेश भेज सकते हैं।
आनलाइन कस्टम क्लियरेंस और दस्तावेजीकरण की सुविधा के साथ यह केंद्र व्यापारियों को समय और ऊर्जा दोनों की बचत कराते हैं। अब उन्हें विभागों के चक्कर नहीं लगाने पड़ते।
कोडरमा के डाक निरीक्षक विकास रंजन ने बताया कि झुमरीतिलैया मुख्य डाकघर में यह सुविधा उपलब्ध है। इसके माध्यम से अधिकतम 35 किलोग्राम तक का माल विदेश भेजा जा सकता है।
उन्होंने बताया कि विदेशी डाक शुल्क देश अनुसार निर्धारित है और विशेष बात यह है कि इस सेवा के तहत भेजे गए पार्सल की आनलाइन ट्रैकिंग की जा सकती है। इसके लिए विभाग ने 40 से अधिक देशों के साथ समझौता किए हैं।
इससे व्यापारियों को पारदर्शिता के साथ ट्रैकिंग की सुविधा मिलती है। स्टार्टअप और छोटे उद्यमों को भी इस सुविधा से लाभ मिलेगा। बुकिंग पर फ्री पिकअप, आनलाइन मॉनिटरिंग और कस्टम से जुड़ी समस्याओं का ऑनलाइन समाधान भी इसमें शामिल है। इसके अलावा, डाकघर की ओर से डॉक्यूमेंटेशन में भी सहयोग किया जा रहा है।
डाक विभाग का बचत खाता जोड़ो अभियान भी जारी
साथ ही, डाक विभाग 1 सितंबर से 15 सितंबर तक एक विशेष अभियान चला रहा है, जिसका उद्देश्य अधिक से अधिक लोगों को डाकघर की बचत योजनाओं से जोड़ना है।
डाक निरीक्षक विकास रंजन ने बताया कि अभियान के तहत लोगों को बचत खाता खोलने के लाभ और योजनाओं की जानकारी दी जा रही है।
यह पहल लोगों को सुरक्षित और सुनियोजित बचत की ओर प्रेरित कर रही है। डाक विभाग चाहता है कि आम नागरिक उसकी योजनाओं का लाभ उठाकर आर्थिक रूप से सशक्त बनें।
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