Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Ghatshila Upchunav : जादूगोड़ा मंडल में JMM ने किया 665 वोटों का उलटफेर, BJP की परंपरा टूटी

    Updated: Sat, 15 Nov 2025 09:35 PM (IST)

    घाटशिला विधानसभा उपचुनाव में झामुमो उम्मीदवार सोमेश चंद्र सोरेन ने रिकॉर्ड मतों से जीत दर्ज की। जादूगोड़ा मंडल में, जिसे भाजपा का गढ़ माना जाता था, जेएमएम ने 665 वोटों का उलटफेर किया। ग्रामीण इलाकों में जेएमएम की पकड़ मजबूत हुई, जबकि शहरी क्षेत्रों में भाजपा का प्रभाव बना रहा। यह जीत झामुमो के लिए एक बड़ी राजनीतिक और मनोवैज्ञानिक उपलब्धि है।

    Hero Image

    फाइल फोटो।

    संवाद सूत्र, जादूगोड़ा। घाटशिला विधानसभा उपचुनाव में झारखंड मुक्ति मोर्चा (जेएमएम) के उम्मीदवार सोमेश चंद्र सोरेन ने रिकॉर्ड मतों से जीत दर्ज कर राजनीतिक इतिहास में नई इबारत लिख दी है। यह जीत केवल आंकड़ों में बड़ी नहीं है, बल्कि कई परंपरागत चुनावी समीकरणों को भी चुनौती देने वाली साबित हुई है। 
     
    खासकर जादूगोड़ा मंडल में, जिसे अब तक भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) का मजबूत गढ़ माना जाता था।  जादूगोड़ा मंडल में कुल 24 बूथ हैं, जिनमें 202 से 225 नंबर तक के बूथ शामिल हैं। 
     
    पिछले विधानसभा चुनाव (2024) में बीजेपी को इन बूथों से 345 वोटों की बढ़त मिली थी। लेकिन इस उपचुनाव में जेएमएम ने इन 24 बूथों पर 320 वोटों की बढ़त हासिल की।  

    ग्रामीण समर्थन से बदल गए समीकरण 

    ग्रामीण इलाकों में जेएमएम की पकड़ ने परिणाम को प्रभावित किया। शहरी और औद्योगिक क्षेत्रों में बीजेपी का असर अब भी था, लेकिन ग्रामीण वोटों ने 665 वोटों का उलटफेर कर पूरा खेल बदल दिया। 

    इसका मतलब कुल अंतर

    345 (बीजेपी की पिछली बढ़त) + 320 (जेएमएम की इस बार की बढ़त) = 665 वोटों का उलटफेर।

    यहां बीजेपी ने कुछ हद तक बढ़त बनाए रखी। व्यापारियों और यूसील कर्मचारियों का मतदान भाजपा के पक्ष में रहा, जो शहरी इलाकों में उनकी पकड़ को दर्शाता है।

    ग्रामीण बूथों में बीजेपी को भारी नुकसान हुआ। ग्रामीण जनता ने जेएमएम का जबरदस्त समर्थन किया, जिससे पूरे मंडल का चुनावी समीकरण बदल गया।

    घाटशिला उपचुनाव में जेएमएम की यह जीत सिर्फ सीट जीतना नहीं है, बल्कि उस इलाके में इतिहास बदलने के समान है। यहां बीजेपी हर बार बढ़त बनाती रही। जादूगोड़ा मंडल में मिली यह सफलता जेएमएम के लिए राजनीतिक और मनोवैज्ञानिक दोनों दृष्टिकोण से बड़ी उपलब्धि मानी जा रही है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें