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    Ghatshila Upchunav: घाटशिला में उपचुनाव के एलान के बाद प्रशासन सख्त, इन नियमों का पालन करना जरूरी

    Updated: Wed, 08 Oct 2025 10:58 AM (IST)

    घाटशिला विधानसभा उपचुनाव की घोषणा के साथ ही आचार संहिता लागू हो गई है। जिला निर्वाचन पदाधिकारी कर्ण सत्यार्थी ने निष्पक्ष चुनाव सुनिश्चित करने के लिए कई निर्देश जारी किए हैं। सरकारी संपत्तियों से राजनीतिक विज्ञापन 24 घंटे में हटाने और सरकारी वाहनों के दुरुपयोग पर रोक लगाने के आदेश दिए गए हैं। निजी वाहनों पर भी नियमों का पालन अनिवार्य है।

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    घाटशिला में उपचुनाव के एलान के बाद प्रशासन सख्त

    जागरण संवाददाता, जमशेदपुर। घाटशिला विधानसभा उपचुनाव की घोषणा होते ही आचार संहिता तत्काल प्रभाव से लागू हो गई है। जिला निर्वाचन पदाधिकारी कर्ण सत्यार्थी ने चुनाव की निष्पक्षता और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए पहले 72 घंटों की मानक संचालन प्रक्रिया के संबंध में कड़े निर्देश जारी किए हैं।

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    इन निर्देशों में सरकारी और सार्वजनिक संपत्तियों से राजनीतिक विज्ञापनों को हटाने और चुनावी गतिविधियों पर कड़ी निगरानी रखने पर जोर दिया गया है। प्रशासन ने साफ कर दिया है कि आचार संहिता का उल्लंघन करने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी।

    24 घंटे में हटेंगे सरकारी संपत्तियों से विज्ञापन

    आदेश के अनुसार, चुनाव घोषणा के 24 घंटे के भीतर सरकारी संपत्तियों से सभी प्रकार के राजनीतिक विज्ञापन हटा दिए जाएंगे। इसमें दीवारों पर लिखे नारे, पोस्टर, कटआउट, होर्डिंग्स, बैनर और झंडे शामिल हैं। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि कोई भी सरकारी इमारत या संपत्ति राजनीतिक प्रचार का माध्यम न बने।

    सरकारी वाहनों का दुरुपयोग प्रतिबंधित

    जिला निर्वाचन पदाधिकारी ने स्पष्ट किया है कि किसी भी राजनीतिक दल, उम्मीदवार या चुनाव से जुड़े व्यक्ति द्वारा सरकारी वाहनों का दुरुपयोग पूरी तरह प्रतिबंधित है। नियमों का उल्लंघन पाए जाने पर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।

    वाणिज्यिक वाहनों पर झंडे या स्टीकर नहीं

    वाणिज्यिक वाहनों (टैक्सी, बस, ट्रक आदि) पर चुनाव से संबंधित झंडे या स्टीकर लगाने की अनुमति नहीं होगी, जब तक कि वह वाहन वैध रूप से चुनाव प्रचार के लिए उपयोग में न लाया गया हो और संबंधित अधिकारियों से अनुमति न ली गई हो।

    निजी वाहनों पर नियमों का पालन जरूरी

    निजी वाहनों में झंडे या स्टिकर लगाने के संबंध में भी सख्त हिदायत दी गई है। यदि झंडे और स्टिकर का उद्देश्य किसी विशेष पार्टी को आकर्षित करना पाया जाता है, तो मामला दर्ज किया जाएगा।

    यह सुनिश्चित किया जाएगा कि निजी वाहन भी आदर्श आचार संहिता का उल्लंघन न करें।

    48 घंटे में सार्वजनिक स्थलों की होगी सफाई

    चुनाव घोषणा के 48 घंटे के भीतर सार्वजनिक संपत्तियों और स्थानों को राजनीतिक विज्ञापनों से मुक्त कराया जाएगा।

    इसमें रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड, हवाई अड्डे, रेलवे पुल, सड़क मार्ग, सरकारी बसें, बिजली/टेलीफोन के खंभे और नगर निगम/स्थानीय निकायों की इमारतें शामिल हैं।

    इन सभी स्थानों से अनधिकृत दीवार लेखन, पोस्टर, कटआउट, होर्डिंग्स, बैनर और झंडे हटा दिए जाएंगे।

    72 घंटे में निजी संपत्तियों पर भी नजर

    घोषणा के 72 घंटे के भीतर निजी संपत्तियों पर भी राजनीतिक विरूपण को हटाने की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। इसके अलावा, निर्वाचन आयोग ने विकास और निर्माण संबंधी गतिविधियों की सूची प्राप्त करने के निर्देश दिए हैं।

    मतदान केंद्रों का भौतिक सत्यापन

    उपचुनाव के मद्देनजर, सहायक न्यूनतम सुविधाएं की पुष्टि के लिए मतदान केंद्रों का भौतिक सत्यापन भी किया जाएगा। प्रत्येक मतदान केंद्र पर सुविधाओं के लिए एक नोडल अधिकारी की नियुक्ति होगी। यह प्रक्रिया भी घोषणा के 72 घंटे के भीतर पूरी की जाएगी।

    संवेदनशील मतदान केंद्रों की पहचान

    निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार, संवेदनशील और अतिसंवेदनशील मतदान केंद्रों की पहचान का कार्य भी इसी अवधि में पूरा किया जाएगा, ताकि इन केंद्रों पर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए जा सकें।

    निष्पक्ष चुनाव सुनिश्चित करने की प्रतिबद्धता

    जिला निर्वाचन पदाधिकारी कर्ण सत्यार्थी ने जोर देकर कहा कि भारत निर्वाचन आयोग द्वारा समय-समय पर जारी किए गए सभी आदेशों, निर्देशों और मैनुअल के आलोक में नियमानुसार कार्रवाई सुनिश्चित की जाएगी।

    उन्होंने दोहराया कि प्रशासन की प्राथमिकता निर्वाचन की पूरी प्रक्रिया को स्वच्छ, निष्पक्ष और पारदर्शी बनाए रखना है। इसके लिए सभी आवश्यक कदम उठाए जाएंगे और नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ तत्काल कार्रवाई की जाएगी।

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