27 स्वतंत्रता सेनानियों की सूची में से मात्र एक हैं जीवित
हजारीबाग : नेताजी सुभाष चंद्र बोस से लेकर राष्ट्रकवि र¨वद्रनाथ टैगोर, फणीश्वर नाथ रेणु क
हजारीबाग : नेताजी सुभाष चंद्र बोस से लेकर राष्ट्रकवि र¨वद्रनाथ टैगोर, फणीश्वर नाथ रेणु के साथ साथ अमर स्वतंत्रता सेनानी जय प्रकाश नारायण से प्रसिद्ध हजारबागों के शहर हजारीबाग में भी कई माताओं ने देश की आजादी में अपने कलेजे के टूकड़े को समर्पित कर दिया। जिले में ऐसे भी कई गुमनाम सिपाही हुए जिन्होंने आजादी की लड़ाई में अपना सर्वस्व न्यौछावर कर दिया, जिनके नाम ज्ञात है उनके सम्मान में भारत सरकार ने ऐतिहासिक जिला स्कूल परिसर में उनके नाम से शिलापट्ट लगाकर उन्हें सम्मान देने की कोशिश की। देश में आजादी के 25 साल पूरे होने के उपलक्ष्य में 1973 में शिलापट्ट लगाया गया था।
जहां आज भी स्वतंत्रता सेनानियों के नाम शिलालेख में सुव्यवस्थित अक्षरों में स्पष्ट देखा जा सकता है।
इनमें से एक स्वतंत्रता सेनानी आज भी जीवित हैं। इन्हें लोग लक्ष्मी बाबू उर्फ लक्ष्मी प्रसाद दूबे के नाम से जानते हैं। महादेव दूबे के पुत्र लक्ष्मी बाबू कटकमदाग थाना क्षेत्र के मयातू निवासी है। वयोवृद्ध हो चुके लक्ष्मी बाबू अभी 92 वर्ष के है। राज्य के एकमात्र जीवित सेनानी हैं। राष्ट्रपति ने उन्हें 2018 में दिल्ली में बुलाकर सम्मानित किया है।
जिला स्कूल में लगी स्वतंत्रता सेनानियों की सूची
कर्मवीर ¨सह, मदन लाल शर्मा, सुनील कुमार मल्लिक, श्रीधर नारायण लाल, सीताराम अग्रवाल, घनश्याम राम, कस्तूर मल अग्रवाल, सरस्वती देवी, भैया राम शरण लाल, राम प्रकाश लाल, गो¨वद साहू, चौधरी शिवनंदन प्रसाद, मो. अब्दूल गफ्फूर, छेदी लाल जैन, श्यामलाल भारती, जानकी महतो, बाली महतो, केदान नाथ सिन्हा, शिव मंगल प्रसाद, डा. त्रिवेणी प्रसाद, राधा गो¨वद प्रसाद, मो. अब्दूल हई, भैया द्वारिका नाथ सहाय, मो. सालेह, बालमुकूंद सहाय व रुपू महतो।
जीवित बचे स्वतंत्रता सेनानी और उनके आश्रित
जिले में सुल्तान निवासी महादेव दूबे जी एक मात्र जिले के स्वतंत्रता सेनानी है। इसके अलावा छह अन्य सेनानियों के परिजन जीवित बचे हैं। इनमें स्वतंत्रता सेनानी मदन लाल शर्मा की पत्नी भानुमति शर्मा कृष्णदेव प्रसाद की पत्नी हीरा रानी, कस्तूरीमल अग्रवाल की पत्नी रामदुलारी देवी, दिनेश्वर प्रसाद की पत्नी कलावती देवी, रामजन्म ¨सह की पत्नी वेला देवी, राजेश्वर ¨सह की पत्नी इंदूमंति ¨सह,
वीरगति प्राप्त इन सेना जवानों के आश्रितों को मिलेगा सम्मान
शहीद राजेश कुमार ¨मज लोटवा इचाक के आश्रित उनकी पत्नी बंसती देवी, शहीद मंडल टोप्पो चरही सदबाहा के आश्रित उनकी पत्नी बिरसी देवी, कुम्हारटोली हजारीबाग के शहीद सरजू राम के आश्रित पत्नी सरस्वती देवी, शहीद रघुवीर प्रसाद इचाक कुरहा के आश्रित शांति देवी, शहीद दीपक उंराव, लखनू कटकमसांडी के आश्रित एतवारी देवी तथा शहीद सुभाष बारला की मां पूनम बारला शामिल है।
इन पुलिस जवानों के परिजनों को भी मिलेगा सम्मान
शहीद जवान मणिभूषण मिश्रा के आश्रित वीणा मिश्रा, लत्तू बानरा के आश्रित सुकूमति, विजय कुमार ठाकुर के आश्रित मंजू कुमारी, बालेश्वर राम की पत्नी रीता देवी, कृष्णा ¨सह की पत्नी पवित्री देवी, रामप्रमोद कुमार ¨सह की पत्नी किरण देवी, गमानुएल टूडू की पत्नी सुशीला हेम्ब्रम, संजय कुमार की पत्नी रेखा देवी, संदीप कुमार झा की पत्नी पूजा कुमारी झा, सुलेमान कुजूर की पत्नी पुष्पलता टूटी, फागू मुख्यियार की पत्नी मोनिका देवी, शिव कुमार पासवान की पत्नी अनिता देवी, विनोद कुमार की पत्नी अंजू देवी तथा विश्वनाथ सोरेन की पत्नी फुलकी मुर्मू शामिल है। जीवित स्वतंत्रता सेनानियों को 27 हजार रुपए पेंशन के रूप में मिलता है।
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