Move to Jagran APP

बेटियों की शिक्षा पर कोरोना का दंश... लाकडाउन में बंद हुए स्कूल तो 55 छात्राओं की घरवालों ने कर दी शादी

जिले में संचालित कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों से एक साल के अंदर 234 छात्राएं ड्राप आउट हो गई हैं।

By JagranEdited By: Published: Tue, 09 Aug 2022 10:10 PM (IST)Updated: Tue, 09 Aug 2022 10:10 PM (IST)
बेटियों की शिक्षा पर कोरोना का दंश... लाकडाउन में बंद हुए स्कूल तो 55 छात्राओं की घरवालों ने कर दी शादी
बेटियों की शिक्षा पर कोरोना का दंश... लाकडाउन में बंद हुए स्कूल तो 55 छात्राओं की घरवालों ने कर दी शादी

बेटियों की शिक्षा पर कोरोना का दंश... लाकडाउन में बंद हुए स्कूल तो 55 छात्राओं की घरवालों ने कर दी शादी

loksabha election banner

जागरण विशेष

ज्ञान ज्योति, गिरिडीह : जिले में संचालित कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालयों से एक साल के अंदर 234 छात्राएं ड्राप आउट हो गई हैं। कोरोना संक्रमण के बाद स्कूल खुलने पर ये बच्चियां वापस विद्यालय नहीं पहुंची। लाकडाउन अवधि में कई छात्राओं की शादी हो गई तो कई छात्राओं ने दूसरे स्कूलों में दाखिला ले लिया है। कई छात्राएं ऐसी भी हैं, जिन्हें छात्रावास की व्यवस्था रास नहीं आई। ऐसी छात्राओं ने छात्रावास में रहकर शिक्षार्जन करने के बजाय पढ़ाई ही छोड़ दी। घर की परेशानियों, माता-पिता के बीमार रहने के कारण भी कई बेटियां बीच में ही पढ़ाई छोड़ने को विवश हुई हैं।

55 बेटियों की हो गई शादी :

सरिया के कवडिया टोला की ललीता कुमारी आठवीं कक्षा की छात्रा थी। उसने मैट्रिक तक की भी पढ़ाई पूरी नहीं की और माता-पिता ने उसकी शादी कर दी। इसी प्रखंड के कंचनपुर की आश्मीन खातून 10वीं कक्षा में पढ़ रही थी। अन्य किशोरियों की तरह उसके भी कुछ अरमान और सपने थे। पढ़-लिखकर अपने पैरों पर खड़ा होने और भविष्य संवारने का समय था, लेकिन उसके सारे सपने और अरमान धरे के धरे रह गए। कोरोना संक्रमण काल में माता-पिता ने उसकी शादी कर दी। पीरटांड़ के मधुबन की राधा कुमारी 12वीं कक्षा में पढ़ती थी। उसकी भी शादी हो चुकी है। इसी तरह जिले के कस्तूरबा विद्यालयों में पढ़ने वाली 55 छात्राओं की शादी गत एक साल के अंदर हुई है। इन सभी की शादी से इनकी पढ़ाई बीच में ही छूट गई।

बीमारी ने भी दूर किया पढ़ाई से :

जिले में कुल 12 कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय और एक झारखंड आवासीय बालिका विद्यालय संचालित हैं। इन विद्यालयों से गत एक साल में 234 छात्राओं का ड्राप आउट हुआ। इनमें से कुछ छात्राएं दूसरे विद्यालय में तो पढ़ रही हैं, लेकिन अधिकांश बेटियों की पढ़ाई विभिन्न कारणों से बीच में ही छूट गई है।

प्रशासन ने लिया है संज्ञान :

कस्तूरबा विद्यालयों से बड़ी संख्या में छात्राओं के ड्राप आउट होने का मामला संज्ञान में आने पर प्रशासन ने इसे गंभीरता से लिया है। उप विकास आयुक्त शशि भूषण मेहरा ने विभागीय व अन्य पदाधिकारियों के साथ बैठक कर ड्राप आउट हुईं छात्राओं वापस विद्यालय लाने का निर्देश दिया है। कहा है कि अधिक से अधिक छात्राओं को विद्यालय वापस लाएं और उनकी पढ़ाई नियमित कराएं।

वर्जन...

कस्तूरबा विद्यालयों से 234 छात्राओं का ड्राप आउट हो जाना गंभीर मामला है। विभिन्न विभागों से इसकी जांच कर रिपोर्ट मांगी गई है। रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई होगी। जांच के बाद ही यह स्पष्ट हो पाएगा कि छात्राएं अभी कहां हैं और क्या कर रही हैं।

-शशि भूषण मेहरा, उप विकास आयुक्त, गिरिडीह

--------------

कस्तूरबा विद्यालयों से ड्राप आउट हुईं छात्राओं को ट्रेस किया जा रहा है। उन्हें वापस स्कूल लाने का पूरा प्रयास रहेगा। जिन छात्राओं की शादी हो गई होगी, वे इन स्कूलों में अब नहीं पढ़ पाएंगी। शेष छात्राओं को स्कूल से जोड़ने की पहल की जाएगी।

-विनय कुमार, जिला शिक्षा अधीक्षक, गिरिडीह


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.